संजय राउत ने कहा, "एकनाथ शिंदे खुद 'हमास' जैसे हैं, भाजपा ने उनके दिमाग में गंदगी भर दी है"
By आशीष कुमार पाण्डेय | Published: October 25, 2023 03:14 PM2023-10-25T15:14:41+5:302023-10-25T15:17:00+5:30
संजय राउत ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे द्वारा उद्धव ठाकरे के 'हमास' या 'लश्कर-ए-तैयबा' के साथ गठबंधन के आरोप पर कहा कि एकनाथ शिंदे खुद 'हमास' हैं।
मुंबई: शिवसेना (यूबीटी) के नेता संजय राउत ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे द्वारा उद्धव ठाकरे के 'हमास' या 'लश्कर-ए-तैयबा' के साथ गठबंधन के आरोप पर बुधवार को कहा कि एकनाथ शिंदे खुद 'हमास' हैं। राउत ने कहा कि सीएम शिंदे का बयान बता रहा है कि वो किस तरह से भाजपा के प्रभाव में हैं।
राज्यसभा सांसद संजय राउत ने कहा, "एकनाथ शिंदे तो खुद हमास हैं, उनके बयान से पता चलता है कि बीजेपी ने उनके दिमाग में किस तरह की गंदगी भर दी है।"
बुधवार को एएनआई से बात करते हुए, राउत ने कहा, "शिंदे बीजेपी की भाषा बोल रहे हैं और अगर हम चाहें तो हम भी उनके स्तर तक गिर सकते हैं, लेकिन हम इन सब से बचते हैं क्योंकि हम उन मूल्यों से निर्देशित होते हैं जो शिव सेना में स्थापित किए गए थे।" बालासाहेब ठाकरे।”
राउत ने कहा, "लेकिन शिंदे दशहरे के शुभ अवसर पर भी ऐसी टिप्पणी करने से खुद को नहीं रोक सके, जो उनकी अपनी मानसिकता और उन पर भाजपा के प्रभाव को दर्शाता है।"
शिवसेना (यूबीटी) के सांसद ने पत्रकारों से बात करते हुए आगे कहा कि भारतीय जनता पार्टी द्वारा पिछले लगभग दशक के दौरान परिवारवाद, विभाजन और क्षेत्रवाद की ऐसी राजनीति की गई और उसी का नतीजा है कि आज पूरे देश में क्षेत्रवाद और जातिवाद का जहर फैल गया है।
राउत ने कहा, "बीजेपी केवल उन्हीं राज्यों को मजबूत करती है, जहां उसका शासन हैं। इसके अलावा वो उन राज्यों में क्षेत्रवाद और जातिवाद को बढ़ावा देती है, जहां वो सरकार बनाने में असमर्थ है। भाजपा तेलंगाना और पश्चिम बंगाल में यही तो कर रही है।"
राज्यसभा सांसद राउत ने आगे कहा कि महाराष्ट्र में भी बीजेपी का यही पैटर्न था, जब राज्य में उद्धव ठाकरे की सरकार थी तो सरकार को केंद्र से कोई मदद नहीं मिल रही थी लेकिन अब जब राज्य सरकार बदल गई है तो केंद्र सरकार ने महाराष्ट्र के लिए अपना खजाना खोल दिया है।
मालूम हो कि महाराष्ट्र के सीएम एकनाथ शिंदे ने बीते मंगलवार को कहा था कि उद्धव ठाकरे और उनका शिवसेना गुट सत्ता पाने के लिए 'हमास' और 'लश्कर-ए-तैयबा' जैसे आतंकवादी समूहों के साथ भी गठबंधन बना सकता है।