अविश्वास प्रस्ताव स्वीकार हो जाने के बाद कोई विधायी कार्य नहीं होना चाहिए: राघव चड्ढा
By मनाली रस्तोगी | Published: July 28, 2023 12:25 PM2023-07-28T12:25:30+5:302023-07-28T12:26:56+5:30
उन्होंने कहा, "लोकसभा अध्यक्ष द्वारा अविश्वास प्रस्ताव स्वीकार किए जाने के बाद संसद में कोई विधेयक पेश नहीं किया जाता है, लेकिन हम देख रहे हैं कि कई विधेयक संसद में पेश और पारित किए जाते हैं। मैं अध्यक्ष से अपील करता हूं कि अब लोकसभा में कोई विधायी कार्य नहीं होना चाहिए।"
नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी के सांसद राघव चड्ढा ने कहा है कि अविश्वास प्रस्ताव स्वीकार हो जाने के बाद लोकसभा में कोई विधायी कार्य नहीं होना चाहिए। मणिपुर मुद्दे पर लगातार हंगामे के बीच निचले सदन में पारित होने वाले विधेयकों के बारे में बात करते हुए चड्ढा ने कहा कि वह अध्यक्ष से अपील करते हैं कि विश्वास मत हासिल होने तक किसी भी विधेयक पर चर्चा न करें।
समाचार एजेंसी एएनआई से बात करते हुए उन्होंने कहा कि 'इंडिया' गठबंधन के नेताओं का एक प्रतिनिधिमंडल मणिपुर का दौरा करेगा।
उन्होंने कहा, "लोकसभा अध्यक्ष द्वारा अविश्वास प्रस्ताव स्वीकार किए जाने के बाद संसद में कोई विधेयक पेश नहीं किया जाता है, लेकिन हम देख रहे हैं कि कई विधेयक संसद में पेश और पारित किए जाते हैं। मैं अध्यक्ष से अपील करता हूं कि अब लोकसभा में कोई विधायी कार्य नहीं होना चाहिए। 'इंडिया' का एक प्रतिनिधिमंडल मणिपुर के लोगों को समर्थन प्रदान करने और उनके साथ एकजुटता दिखाने की आशा के साथ मणिपुर का दौरा करेगा।"
केंद्र द्वारा मणिपुर वायरल वीडियो मामले को केंद्रीय जांच ब्यूरो को सौंपने पर आप नेता ने कहा कि 85 दिनों के बाद मामले को केंद्रीय एजेंसी को सौंपने के लिए बहुत कम, बहुत देर हो चुकी है। केंद्र ने हिंसाग्रस्त मणिपुर में दो महिलाओं को निर्वस्त्र किए जाने संबंधी घटना की जांच केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) को सौंप दी है। केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को यह जानकारी दी।
मालूम हो, सुप्रीम कोर्ट ने 20 जुलाई को घटना पर संज्ञान लिया था और कहा था कि वह वीडियो से "बहुत व्यथित" है और हिंसा को अंजाम देने के हथियार के रूप में महिलाओं का इस्तेमाल "किसी भी संवैधानिक लोकतंत्र में पूरी तरह अस्वीकार्य है।"