Private trains: प्रोजेक्ट ने पकड़ी रफ्तार, बैठक में बॉम्बार्डियर, एल्स्टॉम समेत 23 कंपनियां ने दिखाई दिलचस्पी
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: August 12, 2020 08:48 PM2020-08-12T20:48:38+5:302020-08-12T20:48:54+5:30
बारह खंडों में निजी रेलगाड़ियां चलाने को लेकर हुई इस बैठक में बीईएमएल, आईआरसीटीसी, भेल, सीएएफ, मेधा ग्रुप, स्टरलाइट, भारत फोर्ज, जेकेबी इंफ्रास्ट्रक्चर और तीतागढ़ वैगन्स लिमिटेड भी शामिल हुईं।
नई दिल्लीः भारत में निजी रेलगाड़ियों के परिचालन में बॉम्बार्डियर, एल्सटॉम, सीमेंस और जीएमआर सहित 23 कंपनियों ने रुचि दिखायी है। रेलवे ने बुधवार को इसकी जानकारी दी।
रेलवे ने कहा कि इन कंपनियों ने आवेदन प्रक्रिया से पूर्व बुधवार को इस संबंध में हुई एक बैठक में हिस्सा लिया। बारह खंडों में निजी रेलगाड़ियां चलाने को लेकर हुई इस बैठक में बीईएमएल, आईआरसीटीसी, भेल, सीएएफ, मेधा ग्रुप, स्टरलाइट, भारत फोर्ज, जेकेबी इंफ्रास्ट्रक्चर और तीतागढ़ वैगन्स लिमिटेड भी शामिल हुईं।
रेलवे ने 151 आधुनिक रेलगाड़ियों (रेक) के माध्यम से 109 मार्गों पर यात्री सेवा के परिचालन में निजी भागीदारी के लिये अनुरोध आमंत्रित किये हैं। ये नयी रेलगाड़ियां नेटवर्क पर पहले से चल रही रेलगाड़ियों के अतिरिक्त होंगी। रेलवे नेटवर्क पर यात्री रेलगाड़ियां चलाने के लिये निजी निवेश की यह पहली पहल है। इस परियोजना से लगभग 30 हजार करोड़ रुपये का निजी निवेश प्राप्त होने का अनुमान है।
निजी ट्रेनों में स्लाइडिंग दरवाजे, टॉक-बैक तंत्र, कोच निगरानी, अलार्म होने चाहिए: रेलवे मसौदा
निजी रेलगाड़ियों के लिए एक मसौदा विनिर्देश के अनुसार इन रेलगाड़ियों में इलेक्ट्रॉनिक स्लाइडिंग दरवाजे, सुरक्षा कांच के साथ खिड़कियां, आपातकालीन टॉक-बैक तंत्र, यात्री निगरानी प्रणाली और सूचना एवं गंतव्य बोर्ड होने चाहिए। ये कुछ ऐसी विशेषताएं हैं जो रेलवे ने निजी ऑपरेटरों से इन रेलगाड़ियों के लिए मांग की है। इस मसौदे को रेलवे ने बुधवार को साझा किया।
इसमें कहा गया है कि ये रेलगाड़ियां यात्रियों को शोर-मुक्त यात्रा प्रदान करेंगी और 160 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चलने में सक्षम होंगी। इसमें कहा गया है, ‘‘ट्रेन को ऐसे डिजाइन किया जाएगा ताकि वे परीक्षण के दौरान 180 किलोमीटर प्रति घंटे की अधिकतम गति से सुरक्षित रूप से संचालित हो सकें। ’’ इसमें कहा गया है कि इन रेलगाड़ियों में आपातकालीन ब्रेक लगाये जायेंगे जिससे 160 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से यात्रा करते समय 1,250 मीटर से कम दूरी पर उन्हें रोका जा सकता है।