पीएनबी घोटाला: अदालत ने सीबीआई को आरोपी का नार्को टेस्ट करने की इजाजत नहीं दी
By भाषा | Published: September 3, 2019 11:02 PM2019-09-03T23:02:35+5:302019-09-03T23:02:35+5:30
बैंक के पूर्व अधिकारी गोकुलनाथ शेट्टी पर आरोप है कि जब वह पीएनबी की ब्रैडी हाऊस शाखा में उप प्रबंधक था तब उसने 13,700 करोड़ रूपये की धोखाधड़ी मामले में अहम भूमिका निभायी थी।
मुम्बई की एक विशेष अदालत ने मंगलवार को केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) के घोटाले के मामले में बैंक के पूर्व अधिकारी गोकुलनाथ शेट्टी का पोलीग्राफ और नार्को एनालिसिस परीक्षण करने की अनुमति नहीं दी। शेट्टी को मार्च, 2018 में गिरफ्तार किया गया था।
शेट्टी पर आरोप है कि जब वह पीएनबी की ब्रैडी हाऊस शाखा में उप प्रबंधक था तब उसने 13,700 करोड़ रूपये की धोखाधड़ी मामले में अहम भूमिका निभायी थी। सीबीआई ने उसका नार्को और पोलीग्राफ टेस्ट करने की अनुमति मांगी थी। उसने कहा था कि इस धोखाधड़ी से शेट्टी को हुए मौद्रिक लाभ के बारे में पता करने के लिए वह ये टेस्ट करना चाहता है।
शेट्टी के वकीलों ने सीबीआई की अर्जी का यह कहते हुए विरोध किया कि वह विभिन्न बीमारियों से ग्रस्त वरिष्ठ नागरिक है और इन परीक्षणों का उसकी सेहत पर असर पड़ेगा। विशेष न्यायाधीश (सीबीआई मामले) वी सी बारदे ने यह कहते हुए जांच एजेंसी की अर्जी खारिज कर दी कि आरोपी ने परीक्षण के लिए हामी नहीं भरी है और ऐसे परीक्षण के लिए सहमति जरूरी है।
यह घोटाला तब सामने आया था जब मुख्य आरोपी नीरव मोदी और मेहुल चौकसी ने आपूर्तिकर्ताओं को भुगतान के लिए गारंटीपत्र की मांग करते हुए जनवरी, 2018 में पीएनबी की ब्रैडी रोड शाखा से संपर्क किया था। बैंक को अहसास हो गया था कि उसके कोर बैंकिंग प्रणाली को दरकिनार करते हुए सात सालों के लिए फर्जी तरीके से इन कपंनियों को गारंटी पत्र जारी किये जा रहे हैं । इस काम में शेट्टी कथित रूप से अहम भूमिका में थे। नीरव मोदी और चोकसी पर मुकदमा चलाने के लिए उन्हें विदेश से भारत लाने की कोशिश चल रही है।