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इसरो सेंटर से सुबह 8 बजे देश को संबोधित करेंगे पीएम मोदी, दे सकते हैं अहम जानकारी 

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: September 7, 2019 04:23 IST

लैंडर ऐतिहासिक ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ कर लेता तो रूस, अमेरिका और चीन के बाद भारत ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ करने वाला दुनिया का चौथा देश बन जाता। इसके साथ ही भारत चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव क्षेत्र में पहुंचने वाला दुनिया का पहला देश भी बन जाता। हालांकि, वैज्ञानिक पूरी तरह ‘ना-उम्मीद’ नहीं हैं और वे लैंडर से संपर्क हो जाने की उम्मीद लगाए बैठे हैं।

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ठळक मुद्देलैंडर को रात लगभग एक बजकर 38 मिनट पर चांद की सतह पर लाने की प्रक्रिया शुरू की गई, लेकिन चांद पर नीचे की तरफ आते समय 2.1 किलोमीटर की ऊंचाई पर जमीनी स्टेशन से इसका संपर्क टूट गया। इसरो अध्यक्ष के. सिवन इस दौरान कुछ वैज्ञानिकों से गहन चर्चा करते दिखे।

 चंद्रयान-2 के लैंडर ‘विक्रम’ का चांद पर उतरते समय जमीनी स्टेशन से संपर्क टूट गया। सपंर्क तब टूटा जब लैंडर चांद की सतह से 2.1 किलोमीटर की ऊंचाई पर था। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लैंडर का संपर्क टूट जाने के बाद इसरो के वैज्ञानिकों से कहा,‘‘देश को आप पर गर्व है। पीएम मोदी सात सितंबर की सुबह आठ बजे इसरो सेंटर से देश को संबोधित करेंगे। पीएम मोदी अपने संबोधन में  चंद्रयान-2 को लेकर ही ऐलान कर सकते हैं। प्रधानमंत्री चांद पर विक्रम की सॉफ्ट लैंडिंग का सीधा नजारा देखने के लिए यहां स्थित इसरो टेलीमेट्री, ट्रैकिंग एंड कमांड नेटवर्क (आईएसटीआरएसी) के ‘मिशन ऑपरेशंस कॉंप्लेक्स’ पहुंचे थे। 

लैंडर को रात लगभग एक बजकर 38 मिनट पर चांद की सतह पर लाने की प्रक्रिया शुरू की गई, लेकिन चांद पर नीचे की तरफ आते समय 2.1 किलोमीटर की ऊंचाई पर जमीनी स्टेशन से इसका संपर्क टूट गया। ‘विक्रम’ ने ‘रफ ब्रेकिंग’ और ‘फाइन ब्रेकिंग’ चरणों को सफलतापूर्वक पूरा कर लिया, लेकिन ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ से पहले इसका संपर्क धरती पर मौजूद स्टेशन से टूट गया। इसके साथ ही वैज्ञानिकों और देश के लोगों के चेहरे पर निराशा की लकीरें छा गईं।

इसरो अध्यक्ष के. सिवन इस दौरान कुछ वैज्ञानिकों से गहन चर्चा करते दिखे। उन्होंने घोषणा की कि ‘विक्रम’ लैंडर को चांद की सतह की तरफ लाने की प्रक्रिया योजना के अनुरूप और सामान्य देखी गई, लेकिन जब यह 2.1 किलोमीटर की ऊंचाई पर था तो तभी इसका जमीनी स्टेशन से संपर्क टूट गया। डेटा का अध्ययन किया जा रहा है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने चंद्रयान-2 के लैंडर विक्रम’ का चांद पर उतरते समय जमीनी स्टेशन से संपर्क टूट जाने के बाद इसरो वैज्ञानिकों के साथ एकजुटता दिखाई और कहा कि उन्हें निराश होने की कोई जरूरत नहीं है। मोदी ने कहा, 'संपर्क टूट गया है। मैं आपके चेहरों पर चिंता देख सकता हूं। निराश होने की कोई आवश्यकता नहीं है क्योंकि यह कोई छोटी उपलब्धि नहीं है। देश को आप पर गर्व है।' 

मोदी ने अंतरिक्ष वैज्ञानिकों से कहा, ‘‘आपके प्रयास से हमें बहुत कुछ सीखने की आवश्यकता है। जैसा कि वैज्ञानिकों ने मुझे बताया कि यदि संपर्क फिर से स्थापित हो जाता है तो यह डेटा भेजेगा। हमें सर्वश्रेष्ठ के लिए उम्मीद करनी चाहिए।’’ उन्होंने कहा, ‘‘मेरी आपको शुभकामनाएं। आपने राष्ट्र और विज्ञान की उत्तम सेवा की है। हम भी आप सभी से बहुत कुछ सीख रहे हैं।’’ प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘मैं पूरी तरह आपके साथ हूं। हमें हिम्मत के साथ आगे बढ़ना चाहिए। मुझे विश्वास है कि आपके प्रयासों की वजह से देश एक बार फिर जश्न शुरू कर देगा।’’

टॅग्स :चंद्रयाननरेंद्र मोदीभारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन
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