संसद में भ्रष्टाचार, हिन्दी और कावेरी मुद्दे पर डीएमके और बीजेपी सदस्यों के बीच नोकझोंक
By भाषा | Published: June 25, 2019 02:08 PM2019-06-25T14:08:12+5:302019-06-25T14:08:12+5:30
राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा में भाग लेते हुए द्रमुक के दयानिधि मारन ने कहा कि भाजपा की ताकत उसकी वजह से नहीं बल्कि विपक्ष की कमजोर की वजह से है। सत्तारूढ़ पार्टी को विजय के उल्लास के बजाय इसे विनम्रता से स्वीकार करना चाहिए।
द्रमुक के दयानिधि मारन ने सोमवार को लोकसभा में तमिलनाडु में कथित भ्रष्टाचार और कावेरी मुद्दे को उठाया और मांग की कि मोदी सरकार को जिन राज्यों के लोगों ने वोट दिया और जिन राज्यों के लोगों ने वोट नहीं दिया..सभी को साथ लेकर चलना चाहिए।
द्रमुक सदस्य की कुछ टिप्पणियों को लेकर भाजपा और द्रमुक सदस्यों के बीच तीखी नोकझोंक की स्थिति उत्पन्न हो गई। राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा में भाग लेते हुए द्रमुक के दयानिधि मारन ने कहा कि भाजपा की ताकत उसकी वजह से नहीं बल्कि विपक्ष की कमजोर की वजह से है। सत्तारूढ़ पार्टी को विजय के उल्लास के बजाय इसे विनम्रता से स्वीकार करना चाहिए।
उन्होंने साथ ही कहा कि तमिलनाडु के लोगों ने भाजपा एवं उनके सहयोगियों को वोट नहीं दिया और उन्हें सोचना एवं विचारना चाहिए कि वहां के लोगों ने केंद्र में सत्तारूढ़ पार्टी को वोट क्यों नहीं दिया। मारन ने कहा कि मोदी सरकार को जिन राज्यों के लोगों ने वोट दिया और जिन राज्यों के लोगों ने वोट नहीं दिया..सभी को साथ लेकर चलना चाहिए।
Dayanidhi Maran: ... then Karunanidhi decided to set up a desalination unit & UPA govt sanctioned 1000 crores for a desalination plant to be implemented in Chennai. But central's ally AIADMK is complacent. Yesterday MK Stalin was protesting for the people. (2/2) https://t.co/XHU53G2I8Z
— ANI (@ANI) June 25, 2019
द्रमुक नेता ने कहा कि राष्ट्रपति ने अपने अभिभाषण में भ्रष्टाचार की बात की थी और आज ‘‘देश में सर्वाधिक भ्रष्टाचार तमिलनाडु में है जहां राजग के सहयोगी दल (अन्नाद्रमुक) की सरकार है।’’ द्रमुक सदस्य के इस बयान पर भाजपा के निशिकांत दुबे और राजीव प्रताप रूड़ी ने व्यवस्था का प्रश्न उठाया और कहा कि सदन में राज्य सरकार और विधानसभा के खिलाफ आपत्तिजनक शब्द नहीं बोला जा सकता।
सदन में अन्नाद्रमुक के एकमात्र सदस्य रवींद्रनाथ कुमार भी विरोध जताते हुए देखे गये। हालांकि मारन ने कहा कि भ्रष्टाचार पर बात की जा सकती है। उन्होंने कहा कि देश में जल संकट गहरा रहा है और खासतौर पर तमिलनाडु समेत दक्षिण भारत में विकट स्थिति है।
ऐसे में सरकार को ध्यान देना होगा। मारन ने कहा कि एक तरफ तमिलनाडु पर हिन्दी थोपने का प्रयास किया जा रहा है, जो ठीक नहीं है। इस पर भाजपा के राजीव प्रताप रूडी ने विरोध किया और मांग कि उनके (मारन के) भाषण के उस शब्द हो हटाया जाए जिसमें यह कहा गया है कि तमिलनाडु के लोगों पर हिन्दी थोपने का प्रयास किया जा रहा है।
रूडी ने कहा कि किसी पर हिन्दी थोपने का प्रयास नहीं किया जा रहा है और उनकी टिप्पणी ठीक नहीं है । संसदीय कार्य राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने भी मारन के भाषण के कुछ शब्दों को हटाने की मांग की और कहा कि ये असंसदीय हैं और इन्हें रिकार्ड से हटाया जाना चाहिए।
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने इस पर विचार करने का आश्वासन दिया। बहरहाल द्रमुक नेता दयानिधि मारन ने सदन में कावेरी नदी जल बंटवारे से संबंधित विषय को भी उठाया। इसका कर्नाटक के भाजपा सदस्यों ने कड़ा विरोध किया। भाजपा नेता शोभा करंदलाजे ने कहा कि यह मुद्दा उच्चतम न्यायालय में है और अदालत के अधीन किसी विषय पर बोलना ठीक नहीं है।