महाराष्ट्र: राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने मांगी माफी, कहा- मेरा मराठियों को कम करके आंकने का कोई इरादा नहीं था
By मनाली रस्तोगी | Published: July 30, 2022 02:33 PM2022-07-30T14:33:35+5:302022-07-30T14:34:21+5:30
महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के भाषण की भारी आलोचना हुई थी। ऐसे में अब उनकी ओर से इसपर सफाई पेश की गई।
मुंबई: राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के एक भाषण पर भारी आलोचना के बीच महाराष्ट्र में एक और विवाद देखने को मिल रहा है। उनपर पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और अन्य ने "मराठियों की भावनाओं को आहत करने" का आरोप लगाया। कोश्यारी ने कहा था कि अगर महाराष्ट्र खासकर मुंबई और ठाणे से गुजरातियों और राजस्थानियों को हटा दिया जाता है, तो यहां कोई पैसा नहीं बचेगा। मुंबई देश की आर्थिक राजधानी नहीं रह पाएगी।
"Marathi people's contribution is the most in bringing up Maharashtra. Mumbai is the pride of Maharashtra. It is also the financial capital of the country", says Maharashtra Governor Bhagat Singh Koshyari';s office clarifying his position regarding his speech in Andheri, Mumbai
— ANI (@ANI) July 30, 2022
उनके भाषण ने मराठी बनाम गुजराती विवाद को जन्म दिया क्योंकि राज्य के शीर्ष नेताओं ने दावा किया कि यह "स्थानीय लोगों का अपमान" था। इस बीच महाराष्ट्र के राज्यपाल कार्यालय की ओर से सफाई पेश की गई। कार्यालय की ओर से कहा गया कि महाराष्ट्र को आगे बढ़ाने में मराठी लोगों का सबसे ज्यादा योगदान है। मुंबई महाराष्ट्र की शान है। यह देश की आर्थिक राजधानी भी है।
"I had no intention of underestimating Marathi people. I spoke only on the contribution made by Gujaratis & Rajasthanis. Marathi people built Maharashtra by working hard, this is why many Marathi entrepreneurs are famous today", clarifies Maharashtra Governor's Office
— ANI (@ANI) July 30, 2022
समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार, महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने कहा कि मेरा मराठी लोगों को कम आंकने का कोई इरादा नहीं था। मैंने केवल गुजरातियों और राजस्थानियों के योगदान पर बात की। मराठी लोगों ने मेहनत करके महाराष्ट्र का निर्माण किया, यही कारण है कि आज कई मराठी उद्यमी प्रसिद्ध हैं। वहीं, तमाम विपक्षी नेताओं ने राज्यपाल के बयान को महाराष्ट्र का अपमान बताते हुए माफी की मांग की थी।