मध्य प्रदेश चुनावः रिश्तेदारों के चक्कर में परेशान हैं बीजेपी-कांग्रेस के ये कद्दावर नेता, इज्जत डूबने का सता रहा डर
By शिवअनुराग पटैरया | Published: November 22, 2018 06:32 AM2018-11-22T06:32:07+5:302018-11-22T06:32:07+5:30
मध्यप्रदेश विधानसभा के चुनावी मैदान में दोनों ही बड़े दलों भाजपा और कांग्रेस ने बात भले ही आम कार्यकार्ताओं की हो, लेकिन टिकट देते वक्त कुनबों का खूब ध्यान रखा. इसके कारण दोनों दलों ने लगभग चार-पांच दर्जन ऐसे लोगों को मैदान में उतारा है जो किसी न किसी बड़े नेता के परिजन है. पढ़िए पूरी रिपोर्ट-
मध्यप्रदेश के विधानसभा चुनाव के मैदान में तमाम प्रत्याशी रिश्तों की ड़ोर के सहारे चुनाव के मैदान में है. कोई किसी का बेटा और भाई है, तो कोई किसी बेटी या पत्नी है. ऐसे प्रत्याशी अपने स्थान पर अपने परिवार की प्रतिष्ठा को भुनाने के हर संभव प्रयास कर रहे हैं.
मध्यप्रदेश विधानसभा के चुनावी मैदान में दोनों ही बड़े दलों भाजपा और कांग्रेस ने बात भले ही आम कार्यकार्ताओं की हो, लेकिन टिकट देते वक्त कुनबों का खूब ध्यान रखा. इसके कारण दोनों दलों ने लगभग चार-पांच दर्जन ऐसे लोगों को मैदान में उतारा है जो किसी न किसी बड़े नेता के परिजन है. कांग्रेस ने दिग्विजय सिंह के बेटे भाई और भातीजे तीनों को प्रत्याशी बनाया है.
बेटे जयवर्धन सिंह राघोगढ़ तो भाई लक्ष्मण सिंह चांचौड़ा से चुनाव लड़ रहे है तो भातीजे प्रियव्रत सिंह खीलचीपुर से. कुछ इसी तरह पूर्व उपमुख्यमंत्री सुभाष यादव के दोनों बेटे अरुण यादव और सचिन यादव दोनों चुनाव लड़ रहे हैं. भारतीय जनता पार्टी भी नेताओं के परिजनों को टिकट देने में पिछे नहीं है. पूर्व मुख्यमंत्री स्वर्गीय सुंदर लाल पटवा के भातीजे भोजपुर तो पूर्व मुख्यमंत्री कैलाश जोशी के बेटे दीपक जोशी हाटपीपल्या से भाजपा के प्रत्याशी हैं.
भाजपा में ऐसे तीन दर्जन से ज्यादा प्रत्याशी है जो किसी न किसी बड़े नेता के परिवार से आते हैं. बड़े नेताओं के परिवार जनों के टिकट को लेकर भाजपा में विरोध भी हुआ. राजधानी की गोविंदपुर सीट से जब पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल गौर के स्थान पर उनकी बहू कृष्णा गौर को प्रत्याशी बनाया गया तो भाजपा कार्यकार्ताओं के एक समूह ने परिवार वाद का आरोप लगते हुए प्रर्दशन तक कर दिया था.
छतरपुर जिले के छतरपुर विधानसभा क्षेत्र से दूसरों प्रत्याशियों के दवों को दर किनार कर जब जिलाभाजपा अध्यक्ष जब पुष्पेद्र प्रताप सिंह की पत्नी अर्चना सिंह को प्रत्याशी बनाया गया तब भी ऐसी ही आरोप लगे.
विधानसभा चुनाव में बड़े नेताओं के परिजनों के मैदान में होनें कारण तमाम बड़े नेताओं का संकेद्रण अपने परिवारजनों के प्रचार पर केंद्रित होकर रह गया है इस कारण से उन नेताओं की गतिविधियां सिमट कर रह गई है जिनकी पार्टी को दूसरें क्षेत्रों में भी जरुरतें थीं.
मतदान की तारीख करीब आते-आते बड़े नेताओं के परिजन प्रत्याशी अपनी अपने काम से ज्यादा अपने परिवार की दुहाई देते हुए नजर आ रहे हैं. ऐसे में जो भी नतीजे होगें वह प्रत्याशियों से ज्यादा परिवारों की राजनीतिक प्रतिष्ठा को प्रभावित करेंगे.
कुछ महत्वपूर्णा रिश्तेदार प्रत्याशी 1ः कांग्रेस में रिश्तेदार
विधानसभा प्रत्याशी किससे रिश्ता
इंदौर अश्विन जोशी पूर्व मंत्री महेश जोशी के भतीजे
राधौगढ़ जयवर्धन सिंह दिग्विजय सिंह के बेटे
चांचौड़ा लक्ष्मण सिंह दिग्विजय सिंह के भाई
खिलचीपुर प्रियव्रत सिंह दिग्विजय सिंह के भतीजे
चुरहट अजय सिंह पूर्व मुख्यमंत्री स्व.अर्जुन सिंह के बेटे
बुधनी अरुण यादव पूर्व उपमुख्यमंत्री स्व. सुभाष यादव के बेटे
सबल गढ़ सरला रावत विधायक मेहरबान सिंह रावत की बहू
कसरावद सचिन यादव पूर्व प्रदेश अध्यक्ष अरुण यादव के भाई और स्व. सुभाष यादवके बेटे
बैतूल निलय ड़ागा पूर्व विधायक विनोद ड़ागा के बेटे
जावरा के के सिंह पूर्व मंत्री स्व.महेंद्र सिंह कालूखेड़ा के भाई
सिंहावल कमलेश्वर पटेल पूर्व मंत्री इंद्रजीत पटेल के बेटे
केवलारी रजनीश सिंह पूर्व मंत्री स्व.हरवंश सिंह के बेटे
लखनादौन योगेंद्रसिंह बाबा पूर्व राज्यपाल स्व.उर्मिला सिंह के बेटे
लांजी हिना कांवरे पूर्व मंत्री स्व.लिखीराम कांवरे की बेटी
गधवानी उमंग सिंघार पूर्व नेता प्रतिपक्ष जमुना देवी के भतीजे
गुढ़ सुंदरलाल तिवारी पूर्व विस अध्यक्ष स्व.श्रीनिवास तिवारी के बेटे
अटेर हेमंत कटारे पूर्व नेता प्रतिपक्ष स्व.सत्यदेव कटारे के बेटे
बदनावर राजवर्द्वन दत्तीगांव पूर्व विधायक प्रेमसिंह दत्तीगांव के बेटे
कुक्षी सुरेंद्र सिंह बघेल पूर्व मंत्री प्रताप सिंह बघेल के बेटे
कुछ महत्वपूर्णा रिश्तेदार प्रत्याशी 2 भाजपा में रिश्तेदार
भोजपुर सुरेंद्र पटवा पूर्व मुख्यमंत्री स्व. सुंदरलाल पटव के भतीजे
नरेला विश्वास सारंग पूर्व सांसद कैलाश सारंग के बेटे
इंदौर-4 मालिनी गौड़ पूर्व मंत्री स्व.लक्ष्मणसिंह गौड़ की पत्नी
जावद ओमप्रकाश सकलेचा पूर्व मुख्यमंत्री वीरेंद्रकुमार सकलेचा के बेटे
धार नीना वर्मा पूर्व केंद्रीय मंत्री विक्रम सिंह वर्मा की पत्नी
हाटपीपल्या दीपक जोशी पूर्व मुख्यमंत्री कैलाश जोशी के बेटे
शिवपुरी यशोधराराजे सिंधिया राजमाता स्व.विजयाराजे सिंधिया की बेटी
सुरखी सुधीर यादव सागर सांसद लक्ष्मीनारायण यादव के बेटे
बंड़ा हरवंश राठौर पूर्व मंत्री स्व.हरनाम सिंह राठौर के बेटे
चंदला राजेश प्रजापति विधायक आरड़ी प्रजापति के बेटे
छतरपुर अर्चना सिंह जिला भाजपा अध्यक्ष पुष्पेद्र प्रताप सिंह की पत्नी
रामपुर बघेलान विक्रम सिंह राज्यमंत्री हर्षसिंह के बेटे
सिरमौर दिव्यराज सिंह पूर्व विधायक पुष्पराज सिंह के बेटे
बांधवगढ़ शिवनारायण सिंह पूर्व मंत्री और सांसद ज्ञानसिंह के बेटे
बहोरीबंद प्रणय पांड़े पूर्व विधायक स्व.प्रभात पांड़े के बेटे
जबलपुर कैंट अशोक रोहाणी पूर्व विस अध्यक्ष स्व.ईश्वरदास रोहाणी के बेटे
लांजी रमेश भटेरे पूर्व विधायक स्व.दिलीप भटेरे के बेटे
नरसिंहपुर जालमसिंह पटेल सांसद प्रहलाद पटेल के भाई
बैतूल हेमंत खंड़ेलवाल पूर्व सांसद विजय खंड़ेलवाल के बेटे
टिमरनी संजय शाह मंत्री विजय शाह के भाई
भैंसदेही महेंद्रसिंह चौहान पूर्व विधायक केशरसिंह चौहान के बेटे
सिरोंज उमाकांत शर्मा पूर्व मंत्री लक्ष्मीकांत शर्मा के भाई
सारंगपुर कुंवर कोठार पूर्व विधायक अमरसिंह कोठार के बेटे
देवास गायत्री पवार पूर्व मंत्री स्व.तुकोजीराव की पत्नी
खातेगांव आशीष शर्मा पूर्व विधायक गोविंद शर्मा के बेटे
खंड़वा देवेंद्र वर्मा पूर्व मंत्री स्व.किशोरीलाल वर्मा के बेटे
नेपानगर मंजू दादू पूर्व विधायक स्व.राजेंद्र दादू की बेटी
बुरहानपुर अर्चना चिटनीस पूर्व अध्यक्ष ब्रजमोहन मिश्र की बेटी
तराना अनिल फिरोजिया पूर्व विधायक भूरेलाल फिरोजिया के बेटे
जावरा ड़ा. राजेंद्र पांड़े पूर्व सांसद स्व.लक्ष्मीनारायण पांड़े के बेटे
सुवासरा राधेश्याम पाटीदार पूर्व विधायक नानालाल पाटीदार के बेटे
मंदसौर यशपाल सिसौदिया विधायक किशोर सिसौदिया के बेटे
गोविंदपुरा कृष्णा गौर पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल गौर की बहू