मध्य प्रदेशः सीएम चौहान बोले-कमलनाथ भाजपा विधायकों को फोन कर रहे हैं, जोड़-तोड़ और खरीदने की कोशिश...
By शिवअनुराग पटैरया | Published: November 7, 2020 05:51 PM2020-11-07T17:51:58+5:302020-11-07T17:53:19+5:30
कमलनाथ ने निर्वाचन आयोग पर कांग्रेस की शिकायतों पर संज्ञान लेने का आरोप लगाया. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने संवाददाताओं से बातचीत करते हुए कहा कि भाजपा उपचुनावों में शानदार सफलता प्राप्त करेगी. उसीके पूर्वाभास के कारण कमलनाथ और कांग्रेस बौखला गई है.
भोपालः उपचुनाव के नतीजों के पूर्व मध्यप्रदेश में आरोपों-प्रत्यारोपों का दौर जारी हो गया है. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पूर्व मुख्यमंत्री और पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ पर आरोप लगाया कि कमलनाथ राजनीतिक गंदगी लेकर आए हैं. वे भाजपा विधायकों को खरीदने की कोशिश कर रहे हैं.
वहीं कमलनाथ ने निर्वाचन आयोग पर कांग्रेस की शिकायतों पर संज्ञान लेने का आरोप लगाया. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने संवाददाताओं से बातचीत करते हुए कहा कि भाजपा उपचुनावों में शानदार सफलता प्राप्त करेगी. उसीके पूर्वाभास के कारण कमलनाथ और कांग्रेस बौखला गई है.
उन्होंने पहले से ही भूमिका बनाना प्रारंभ कर दी है. कमलनाथ म.प्र. में जोड़-तोड़ खरीद फरोख्त की राजनीति कर रहे हैं. उन्होंने ही इसकी शुरुआत की है. कमलनाथ और दिग्विजय सिंह भाजपा पर जोड़-तोड़ की राजनीति का आरोप लगाते हैं, पर हम किसी के पास नहीं गए थे. कांग्रेस नेतृत्व से परेशान लोग हमारे पास आए.
कमलनाथ ने निर्वाचन आयोग पर साधा निशाना और कहा हिंसक घटनाओं को संज्ञान में न लेना दु:खद: पूर्व मुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमल नाथ ने विधानसभा उपचुनावों की मतगणना के पूर्व निर्वाचन आयोग पर आरोप लगाते हुए कहा है कि सुमावली, मुरैना, मेहगांव सहित अन्य उप-चुनाव वाले क्षेत्रों में भाजपा के लोगों ने हिंसक घटनाओं के माध्यम से और गोली चलाकर बूथ कैप्चरिंग की. उन्हें इसके लिए खुलेआम पुलिस और प्रशासन का संरक्षण मिला. इसके बाद भी निर्वाचन आयोग द्वारा संज्ञान न लिया जाना दु:खद है.
नाथ ने कहा कि इन सारी घटनाओं की वीडियो और खबरें विभिन्न प्रचार माध्यमों से सामने आई हैं लेकिन दुख:द है कि चुनाव आयोग ने शिकायतों और प्रमाणों के बाद भी ऐसे बूथों पर पुनर्मतदान करवाना उचित नहीं समझा. इस तरह की घटनाओं के प्रमाणित तथ्य, शिकायतों के साथ प्रत्याशियों द्वारा चुनाव आयोग के समक्ष प्रस्तुत भी किये गये किंतु पुनर्मतदान का निर्णय नहीं लिया जाना दुर्भाग्यपूर्ण है. इस तरह की घटनाओं पर अपराधिक मामले भी दर्ज नहीं किये गये.
राजनीतिक संरक्षण स्थाई नहीं : नाथ ने कहा कि मैने पहले भी कहा है कि पुलिस और प्रशासन के अधिकारी निष्पक्ष तरीके से चुनाव को संपन्न करायें और अपने पदीय दायित्वों को ईमानदारी व निष्पक्षता से निभायें परन्तु ऐसे पुलिस और प्रशासनिक अधिकारी जिन्होंने अपने दायित्वों का निष्पक्ष निर्वहन नहीं करते हुए चुनावों को भाजपा के पक्ष में प्रभावित करने का किया है, उनकी संपूर्ण गतिविधियां रिकार्डेड है . पुलिस और प्रशासन के अधिकारी यह जान लें कि कोई भी राजनैतिक संरक्षण कभी स्थाई नहीं होता है. 10 तारीख के बाद जनता के सामने यह सब प्रमाण रखा जायेगा