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झारखंड के इस जिले में पिछले 6 साल में 53 के खिलाफ दर्ज हुए गोकशी के केस, किसी के खिलाफ साबित नहीं हुआ मामला

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: October 2, 2019 09:02 IST

झारखंड के खूंटी के ये मामले अपने आप में बेहद दिलचस्प और हैरान करने वाले हैं। कई मामलों में तो गवाह ही कोर्ट के सामने नहीं आये। इसमें दो केस में तो बजरंग दल के सदस्य गवाह थे।

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ठळक मुद्देझारखंड के खूंटी जिले में पिछले 6 साल में 53 लोगों के खिलाफ गोकशी के केसकोई भी आरोप साबित नहीं हो सका, कई मामलों में गवाह भी कोर्ट के सामने नहीं आये

पिछले हफ्ते झारखंड के खूंटी जिले में गोकशी की आशंका के बीच 40 साल के कालांतुस बारला को भीड़ द्वारा पीट-पीट कर मारे जाने के मामले में तीन लोगों की गिरफ्तारी के बाद एक हैरान करने वाला तथ्य सामने आया है। दरअसल, झारखंड के इस जिले में पिछले 6 सालों में गोकशी के 16 केस में 53 लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया लेकिन वे सभी दोषमुक्त पाये गये।

इनमें से कुछ आरोपियों को तब बरी किया गया जब स्थानीय कोर्ट ने पाया कि जब्त कथित गाय के मांस को जांच के लिए कभी एफएसएल भेजा ही नहीं गया तो वहीं, कुछ के मामलों में गवाह ही कभी कोर्ट के सामने पेश नहीं हुए। ऐसे दो केस में तो बजरंग दल के सदस्य ही गवाह थे। इंडियन एक्सप्रेस अखबार ने यह रिपोर्ट जिला अदालत के रिकॉर्ड की समीक्षा के बाद प्रकाशित की है।

बाली मुंडा ने जेल में बिताये 89 दिन, केस लड़ने के लिए रिश्तेदारों से लेना पड़ा कर्जा

अखबार की रिपोर्ट के अनुसार इन्हीं दोषमुक्त पाये गये लोगों में एक 63 साल के बाली मुंडा भी हैं। बाली मुंडा को गोकशी के आरोप में 89 दिन जेल में बिताने पड़े। उन्होंने 21 बार अपने गांव से खूटी जिला कोर्ट के चक्कर लगाने पड़े। यही नहीं, कानूनी खर्चों के लिए उन्हें अपने रिश्तेदारों तक से 14,000 रुपये लेने पड़े। बाली मुंडा को इसी साल जनवरी में सबूतों के अभाव में बरी किया गया और अब वह कहते हैं कि वे भाग्यशाली हैं कि अभी भी जिंदा हैं।

हालांकि, बाली मुंडा ऐसे अकेले नहीं हैं, जिनके साथ ऐसा हुआ। मुंडा को अगस्त-2017 में गोरक्षकों द्वारा जलटांडा बाजार के नजदीक पीटा गया और उन्हें तत्काल गिरफ्तार भी कर लिया गया। दो साल बाद इसी जगह से केवल 8 किलोमीटर दूर हाल में कालांतुस बारला को पीटने की घटना हुई। बारला की मौत हो गई और इस घटना में दो और लोग घायल भी हुए। बाली कहते हैं, 'मैं समझ सकता हूं कि क्या गुजरती है जब भीड़ हमला करती है। बजरंग दल के सदस्यों ने मुझे थप्पड़ मारा और मुझे पुलिस के हवाले कर दिया। मैं भाग्यशाली हूं कि आज जिंदा हूं।'

अखबार के अनुसार गोकशी से जुड़े 16 मामलो में आरोपियों के बरी होने के सवाल पर छोटानागपुर रेंज के डीआईडी अमोल होमकर ने कहा, 'मेरे पास कोर्ट का रिकॉर्ड या फैसला नहीं है, इसलिए मैं इस पर कोई टिप्पणी नहीं कर सकता। एक बार रिकॉर्ड देखने के बाद ही हम आगे की कार्यवाई कर सकते हैं।' अमोल ने साथ ही बताया कि बारला के मामले में तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है और चौथे संदिग्ध की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की जा रही है।

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