नई दिल्लीः कोरोना वायरस महामारी की स्थिति को देखते हुए विपक्ष की ओर से मेडिकल और इंजीनियरिंग कॉलेजों में प्रवेश के लिए ली जाने वाली नीट और जेईई की परीक्षाएं स्थगित करने की मांग लगातार की जा रही है। इस बीच शुक्रवार को गैर बीजेपी शासित राज्यों के छह मंत्रियों ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है। उन्होंने कोर्ट से केंद्र को इस साल नीट, जेईई परीक्षाएं कराने की अनुमति देने वाले उसके आदेश पर पुनर्विचार करने अनुरोध किया है।
इंजीनियरिंग के लिए संयुक्त प्रवेश परीक्षा (मुख्य) या जेईई एक से छह सितंबर के बीच होगी जबकि राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (नीट-स्नातक) 13 सितंबर को कराने की योजना है। नीट के लिए 15.97 लाख विद्यार्थियों ने पंजीकरण कराया है। जेईई मेन्य के लिये करीब 8.58 लाख छात्रों ने पंजीकरण कराया था।
कोरोना वायरस के कारण ये परीक्षाएं पहले ही दो बार टाली जा चुकी हैं। जेईई मेन्स परीक्षा मूल रूप से 7-11 अप्रैल को आयोजित होनी थी लेकिन इसे 18-23 जुलाई के लिये टाल दिया गया। नीट परीक्षा मूल रूप से 3 मई को आयोजित होनी थी लेकिन इसे 26 जुलाई के लिये टाल दिया गया था। इन परीक्षाओं को एक बार फिर सितंबर के लिये टाल दिया गया।
उन्होंने कहा था कि छात्रों के शैक्षणिक जीवन को लंबे समय तक जोखिम में नहीं डाला जा सकता। जीवन चलते रहना है। जीवन को आगे बढ़ना है। छात्रों का कीमती साल बर्बाद नही किया जा सकता।