लद्दाख में तनावः इंडियन आर्मी ने जारी किया वीडियो, चीनी सैनिक हट रहे पीछे, जानें पूरा मामला
By सतीश कुमार सिंह | Published: February 17, 2021 12:38 PM2021-02-17T12:38:07+5:302021-02-17T12:39:08+5:30
भारत और चीन के बीच बनी सहमति के तहत पूर्वी लद्दाख में पैंगांग सो (झील) के आसपास के इलाकों से चीनी सेना द्वारा अपने सैनिकों की संख्या में कम करने की सूचना है। भारतीय सेना ने तस्वीरें जारी की हैं।
नई दिल्लीः भारतीय सेना ने पूर्वी लद्दाख से कुछ वीडियो और तस्वीरें जारी की हैं। तस्वीरों में पैंगोंग झील के उत्तर और दक्षिण दोनों तटों से पीपुल्स लिबरेशन आर्मी को पीछे हटते हुए दिखाया गया है।
इन वीडियो में चीन के पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) द्वारा कुछ संरचनाओं को समतल करने के लिए बुलडोजर का उपयोग करते हुए दिखाया है। साथ ही इसमें चीन के सैनिकों को उपकरण, वाहनों के साथ पीछे हटने की तैयारी करते दिखाया गया है।
तस्वीरों और वीडियो में पैंगांग झील के उत्तरी और दक्षिण दोनों ही किनारों से सैनिकों के पीछे हटने की तेज प्रक्रिया दिखायी गई है। साथ ही इसमें सैनिकों को पीछे जाते, मशीनें हटाने तथा बंकर, चौकी और तंबू जैसी अस्थायी संरचनाओं को ध्वस्त करते दिखाया गया है।
#Diengagement at #LAC#PLA Reeling back... pic.twitter.com/J0cC5xedo2
— PRO Kohima, Ministry Of Defence (@prodefkohima) February 16, 2021
रक्षा और सुरक्षा प्रतिष्ठान के सूत्रों ने कहा कि पीछे हटने की प्रक्रिया में तेजी आ रही है और इसके सप्ताह के अंत तक पूरी होने की उम्मीद है। सूत्रों ने कहा कि पिछले कुछ दिनों में, दोनों पक्षों ने क्षेत्र में कई बंकर, अस्थायी चौकियों और अन्य संरचनाओं को हटाया है।
वहीं दोनों पक्ष अपने सैनिकों की संख्या भी कम कर रहे हैं। सूत्रों ने कहा कि दोनों ओर के फील्ड कमांडर लगभग रोजाना आधार पर बैठक कर रहे हैं ताकि उच्च स्तरीय सैन्य वार्ता के नौ दौर के बाद पीछे हटने पर बनी सहमति के अनुसार इसकी प्रक्रिया को आगे बढ़ाया जा सके।
#Disengagement at #LAC#PLA reeling back. pic.twitter.com/2sXibcxDGZ
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भारतीय सेना द्वारा जारी किए गए वीडियो में पीएलए के सैनिकों को वापस मार्च करते हुए भी दिखाया गया है। वहीं इसमें कुछ वाहन इन सैनिकों को निकटतम ठिकानों पर वापस ले जाने के लिए खड़े नजर आ रहे हैं। सूत्रों ने कहा कि सेना प्रमुख जनरल एम एम नरवणे पीछे हटने की प्रक्रिया पर कड़ी नजर रखे हुए हैं।
सैनिकों के पीछे हटने की प्रक्रिया गत बुधवार को शुरू हुई थी। बृहस्पतिवार को रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने संसद में इस संबंध में हुए समझौते के बारे में एक विस्तृत वक्तव्य दिया था। उन्होंने कहा था, ‘‘चीन अपनी सेना की टुकड़ियों को उत्तरी किनारे में फिंगर आठ के पूरब की दिशा की तरफ रखेगा।
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इसी तरह भारत भी अपनी सेना की टुकड़ियों को फिंगर तीन के पास अपने स्थायी ठिकाने धन सिंह थापा पोस्ट पर रखेगा।’’ उन्होंने कहा कि इसी तरह की कार्रवाई दक्षिणी किनारे वाले क्षेत्र में भी दोनों पक्षों द्वारा की जाएगी। उन्होंने कहा, ‘‘ये कदम आपसी समझौते के तहत बढ़ाए जाएंगे तथा जो भी निर्माण आदि दोनों पक्षों द्वारा अप्रैल 2020 से उत्तरी और दक्षिणी किनारों पर किया गया है, उन्हें हटा दिया जाएगा और पुरानी स्थिति बना दी जाएगी।’’ ज्ञात हो कि पिछले नौ महीने से पूर्वी लद्दाख में सीमा पर दोनों देशों के बीच गतिरोध बना हुआ है। इस गतिरोध को समाप्त करने के लिए सितम्बर, 2020 से लगातार सैन्य और कूटनीतिक स्तर पर दोनों पक्षों में कई बार बातचीत हुई।