महाराष्ट्र मुद्दे पर कांग्रेस सहित विपक्षी सदस्यों के हंगामे के कारण सोमवार को लोकसभा की कार्रवाई स्थगित कर दी गई। लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कहा कि यह असभ्य मामला है।
महाराष्ट्र के मुद्दे के विरोध के दौरान कांग्रेस सांसदों और मार्शल के बीच टकराव पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कहा कि यह पहली बार है जब मैंने सदन को हंगामे के बाद स्थगित कर दिया है। मैं हमेशा चाहता हूं कि सदन चले और बहस होनी चाहिए। लेकिन इस तरह के कृत्य को बर्दाश्त नहीं किया जा सकता है।
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने सोमवार को कहा कि वे महाराष्ट्र में भाजपा नीत सरकार के शपथ ग्रहण के विरोध में सदन में आसन के समीप कांग्रेस सदस्यों के व्यवहार से आहत हैं जो अस्वीकार्य है और इसे बर्दाश्त नहीं किया जायेगा।
बिरला ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘संसद में आज जो हुआ, उससे मैं आहत हूं । यह अस्वीकार्य है और इसे बर्दाश्त नहीं किया जायेगा। ’’ सूत्रों ने बताया कि इस बात पर विचार किया जा रहा है कि कांग्रेस सांसद हिबी इडेन और टी एन प्रतापन को सदन में आसन के समीप आने और नारेबाजी करके कार्यवाही बाधित करने के लिये क्या पांच वर्षों के लिए निलंबित किया जा सकता है।
महाराष्ट्र मुद्दे पर लोकसभा में सोमवार को कांग्रेस सदस्यों के भारी हंगामे और पार्टी के दो सदस्यों हिबी इडेन एवं टी एन प्रतापन तथा मार्शलों के बीच धक्का-मुक्की के कारण सदन की कार्यवाही दो बार के स्थगन के बाद पूरे दिन के लिए स्थगित कर दी गई।
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने सोमवार को कहा कि संसदीय लोकतंत्र की सफलता विपक्ष की राय और विचारों को सुनने एवं उनका सम्मान करने पर निर्भर करती है। उन्होंने दिल्ली विधानसभा में आयोजित 10वीं राष्ट्रमंडल युवा संसद के उद्घाटन समारोह में कहा कि संवाद, बहस और इनके आधार पर निर्णय लेना संसदीय लोकतंत्र का मूल है। इस समारोह में राष्ट्रमंडल देशों के प्रतिनिधिमंडलों ने हिस्सा लिया। दिल्ली विधानसभा अध्यक्ष राम निवास गोयल और मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने भी इस समारोह को संबोधित किया।
महाराष्ट्र राजनीतिक गतिरोध: केंद्र के खिलाफ युवा कांग्रेस का विरोध प्रदर्शन
भारतीय युवा कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने महाराष्ट्र में सरकार बनाने के कथित ‘‘अवैध और अलोकतांत्रिक’’ तरीके को लेकर मोदी सरकार के खिलाफ सोमवार को संसद भवन के पास विरोध प्रदर्शन किया। युवा कांग्रेस के अध्यक्ष श्रीनिवास बी वी ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने महाराष्ट्र में जिस तरह से सत्ता हथियाने की कोशिश की और महाराष्ट्र में सरकार बनाने की अनुमति दी गई, उससे कई सवाल खड़े होते हैं।
यह स्पष्ट है कि नियमों और लोकतांत्रिक मानदंडों का उल्लंघन किया गया है। उच्चतम न्यायालय ने सोमवार को कहा कि वह देवेंद्र फड़नवीस को मुख्यमंत्री के तौर पर शपथ दिलाने के महाराष्ट्र के राज्यपाल के फैसले के खिलाफ शिवसेना-राकांपा-कांग्रेस गठबंधन की याचिका पर मंगलवार को सुबह साढ़े दस बजे अपना फैसला सुनाएगा।