देश के पहले एमआरएनए टीके के मानव परीक्षण की अनुमति मिली : जैव प्रौद्योगिकी विभाग

By भाषा | Updated: December 11, 2020 21:21 IST2020-12-11T21:21:55+5:302020-12-11T21:21:55+5:30

Human testing of country's first mRNA vaccine allowed: Department of Biotechnology | देश के पहले एमआरएनए टीके के मानव परीक्षण की अनुमति मिली : जैव प्रौद्योगिकी विभाग

देश के पहले एमआरएनए टीके के मानव परीक्षण की अनुमति मिली : जैव प्रौद्योगिकी विभाग

नयी दिल्ली, 11 दिसंबर जैव प्रौद्योगिकी विभाग (डीबीटी) ने शुक्रवार को कहा कि कोविड-19 रोधी पहले स्वदेशी एमआरएनए टीके ‘एचजीसीओ19’ को भारतीय औषधि नियामक से पहले और दूसरे चरण के मानव परीक्षण की अनुमति मिल गई है।

इस टीके का विकास पुणे स्थित बायोफार्मा कंपनी जेनोवा ने किया है।

डीबीटी ने कहा कि भारतीय औषधि महानियंत्रक ने इस टीके के पहले और दूसरे चरण के मानव परीक्षण की मंजूरी दे दी है।

एमआरएनए टीके में रोग प्रतिरोधक क्षमता विकसित करने के लिए पारंपरिक मॉडल का इस्तेमाल नहीं किया जाता। इसमें वायरस के सिंथेटिक आरएनए के जरिए शरीर में प्रोटीन उत्पन्न करने के लिए आण्विक विधि का इस्तेमाल किया जाता है।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

Web Title: Human testing of country's first mRNA vaccine allowed: Department of Biotechnology

भारत से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे