देश के पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा- हमारे लोकतंत्र में बुद्ध के संदेशों की झलक मिलती है

By एस पी सिन्हा | Published: September 15, 2023 05:36 PM2023-09-15T17:36:34+5:302023-09-15T17:38:53+5:30

नालन्दा विश्वविद्यालय में आयोजित 2 दिवसीय वैशाली उत्सव में पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने समारोह में मौजूद लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि हमारे लोकतंत्र में बुद्ध के संदेशों की झलक मिलती है।

Former President of the country Ramnath Kovind said- Buddha's messages are reflected in our democracy | देश के पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा- हमारे लोकतंत्र में बुद्ध के संदेशों की झलक मिलती है

देश के पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा- हमारे लोकतंत्र में बुद्ध के संदेशों की झलक मिलती है

Highlightsपूर्व राष्ट्रपति ने कहा, नालंदा पूर्व से ही ज्ञान की धरती रही है, भारत मदर ऑफ डेमोक्रेसी हैराज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आलेंकार के साथ असम के मुख्यमंत्री और विदेश राज्य मंत्री मीनाक्षी लेखी ने कार्यक्रम में हिस्सा लिया

पटना: नालन्दा विश्वविद्यालय में आयोजित 2 दिवसीय वैशाली उत्सव में देश के पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, बिहार के राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आलेंकार के साथ असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा और विदेश राज्य मंत्री मीनाक्षी लेखी ने हिस्सा लिया। 

इस दौरान पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने समारोह में मौजूद लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि हमारे लोकतंत्र में बुद्ध के संदेशों की झलक मिलती है। नालंदा पूर्व से ही ज्ञान की धरती रही है। भारत मदर ऑफ डेमोक्रेसी है। इसके लिए हम लोगों को देश दुनिया में प्रचार प्रसार करना चाहिए। 

उन्होंने कहा कि वैशाली गणतंत्र के महत्व के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि वैशाली पुरातन गणतंत्र है। पूर्व राष्ट्रपति ने कहा कि कई स्थानों पर लोकतंत्र और गणतंत्र की व्यवस्था है। उस व्यवस्था को बेहतर तरीके से ऑर्गेनाइज किया गया था। उन्होंने कहा कि ऋग्वेद में 40 और अथर्ववेद में नौ बार गणतंत्र शब्द का प्रयोग होता है। 

वहीं, इस कार्यक्रम में मौजूद राज्यपाल राजेन्द्र विश्वनाथ आर्लेकर ने कहा कि इस समारोह का महत्व बिहार में ही क्यों? क्योंकि लोकतंत्र की जननी भारत का बिहार ही है। जिसका जन्म वैशाली से हुआ। इसे गौरवशाली क्षण में बदलने के लिए यह समारोह का बिहार में होना सार्थक है। 

इस दौरान असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा कि भारत में लोकतंत्र का सफर 5000 साल पहले का है, लोकतंत्र की शुरुआत 1947 से नहीं हुई है। दिल्ली में बैठे कुछ लोग सोचते हैं की उन्होंने डेमोक्रेसी लाया। लेकिन हकीकत है ये डेमोक्रेसी यहां के लोगों ने लाया। हमें अपने टेक्स्ट बुक में इस बात का सुधार करना चाहिए कि 1947 से देश में लोकतंत्र आया लोगो को ये बताना होगा की भारत लोकतंत्र की जननी है। प्रधानमंत्री इस बात का जिक्र करते हैं।

Web Title: Former President of the country Ramnath Kovind said- Buddha's messages are reflected in our democracy

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