संस्कृत भाषा के उत्थान के लिए उप्र की योगी सरकार की अनूठी पहल के तहत अब प्रदेश सरकार का सूचना विभाग हिंदी, अंग्रेजी के अलावा संस्कृत भाषा में भी मुख्यमंत्री के भाषण और आवश्यक संदेश मीडिया के लिये जारी करेगा।
मुख्यमंत्री के निर्देश पर मुख्यमंत्री कार्यालय तथा सूचना विभाग ने कवायद शुरू कर दी। पिछले दिनों नीति आयोग में दिया गया मुख्यमंत्री का भाषण संस्कृत में अनुवाद कर सोमवार को एक नमूना जारी करते हुए उसे मीडिया को भेजा गया।
सूचना विभाग के निदेशक शिशिर ने मंगलवार को 'भाषा' को बताया ''मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये हैं कि भाषण और आवश्यक संदेश हिंदी, अंग्रेजी के अलावा संस्कृत में भी तैयार किये जाएं। इसके लिए संस्कृत भाषा के विशेषज्ञ रखे जाएं।'' उत्तर प्रदेश संस्कृत संस्थान के अधिकारियों से बात कर मुख्यमंत्री के प्रमुख भाषणों और आवश्यक संदेशों का संस्कृत में अनुवाद करने का काम शुरू हो गया है।
संस्कृत संस्थान में अनुवाद करने वाले संस्कृत के जानकारों को सरकार की ओर से उचित मानदेय दिये जाने की व्यवस्था की गयी है। हालांकि अधिकारियों ने यह स्पष्ट किया है कि संस्कृत में भाषण और संदेश जारी करने का अर्थ यह नहीं है कि हिंदी और अंग्रेजी में विज्ञप्ति जारी नहीं की जाएगी।
नीति आयोग की बैठक में मुख्यमंत्री के भाषण का प्रेस नोट संस्कृत में भी जारी किया गया। सूचना विभाग के निदेशक ने कहा कि अब मीडिया को हिंदी अंग्रेजी के अलावा संस्कृत भाषा में भी मुख्यमंत्री के भाषण और संदेशों की प्रेस विज्ञप्तियां नियमित मिलेंगी।