Farmer Protest: "प्रधानमंत्री जी, यह देश आपकी सरकार को माफ नहीं करेगा", किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने 'दिल्ली चलो' विरोध पर नरेंद्र मोदी को सरकार को दी चेतावनी
By आशीष कुमार पाण्डेय | Published: February 21, 2024 09:31 AM2024-02-21T09:31:24+5:302024-02-21T09:36:24+5:30
'दिल्ली चलो' का नारा दे रहे किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने पीएम मोदी से अपील करते हुए कहा कि सरकार के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसानों का "उत्पीड़न" बंद किया जाए।
नई दिल्ली: नरेंद्र मोदी सरकार के साथ फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) सहित अन्य मागों पर वार्ता फेल होने के बाद 'दिल्ली चलो' का नारा दे रहे किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने बुधवार को पीएम मोदी से अपील करते हुए कहा कि सरकार के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसानों का "उत्पीड़न" बंद किया जाए।
किसान नेता ने कहा कि नरेंद्र मोदी को इस देश के किसानों ने ही प्रधानमंत्री बनाया, अगर ऐसे ही उनके राज में किसानों का दमन होता रहा तो यह देश भाजपा के नेतृत्व वाले केंद्र सरकार को कभी माफ नहीं करेगा।
समाचार वेबसाइट हिंदुस्तान टाइम्स के अनुसार सरवन सिंह पंढेर ने कहा, "हमने सरकार से कहा है कि आप हमें मार सकते हैं लेकिन कृपा करके किसानों पर अत्याचार न करें। हम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अनुरोध करते हैं कि वह आगे आएं और किसानों के लिए एमएसपी गारंटी पर कानून की घोषणा करके इस विरोध को समाप्त करें।"
किसान आंदोलन में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन का समन्वय कर रहे किसान नेता पंढेर ने दावा किया कि उनके मार्च को रोकने के लिए हरियाणा के गांवों में अर्धसैनिक बलों को तैनात किया गया है।
उन्होंने कहा, ''देश ऐसी सरकार को कभी माफ नहीं करेगा। हरियाणा के गांवों में अर्धसैनिक बलों को भेजा गया हैं। आखिर हमने क्या अपराध किया है? हमने आपको प्रधानमंत्री बनाया है, लेकिन हमने कभी नहीं सोचा था कि आपकी ये सेनाएं किसानों पर इस तरह से अत्याचार करेंगी। हम अपील करते हैं कृपया संविधान की रक्षा करें और हमें शांतिपूर्वक दिल्ली की ओर जाने दें। यह हमारा अधिकार है।''
पंढेर ने शांतिपूर्वक विरोध प्रदर्शन का वादा करते हुए कहा, "हमने अपनी तरफ से पूरी कोशिश की। हमने बैठकों में भाग लिया, हर बिंदु पर चर्चा हुई और अब फैसला केंद्र सरकार को लेना है। हम शांतिपूर्ण विरोध-प्रदर्शन करेंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को खुद आगे आना चाहिए और हमारी मांगों को स्वीकार करना चाहिए। सरकार के लिए 1.5- 2 लाख करोड़ कोई बड़ी रकम नहीं है। हमें इन बाधाओं को हटाने और दिल्ली की ओर मार्च करने की अनुमति दी जानी चाहिए।''
मालूम हो कि बीते मंगलवार को किसान नेताओं ने घोषणा की कि किसान पंजाब-हरियाणा शंभू सीमा से अपना 'दिल्ली चलो' विरोध प्रदर्शन फिर से शुरू करेंगे। उन्होंने यह टिप्पणी किसानों द्वारा पांच साल के लिए सरकारी एजेंसियों द्वारा एमएसपी पर दलहन, मक्का और कपास की खरीद के केंद्र के प्रस्ताव को खारिज करने के कुछ घंटों बाद की।
इस संबंध में केंद्र सरकार का अनुमान है कि शंभू बॉर्डर पर लगभग 1200 से ज्यादा ट्रैक्टर हैं और 14000 से ज्यादा किसानों ने घेराबंदी कर रखी है। हरियाणा में पिछले हफ्ते पुलिस द्वारा छोड़े गए आंसू गैस के गोले का सामना करने वाले किसान बैरिकेड तोड़ने के लिए पूरी तरह से तैयार हो गए हैं। किसान पुलिस घेरा तोड़ने के लिए बुलडोजर, जेसीबी मशीनें और भारी मशीनरी लेकर आए हैं।
उन्होंने बुलडोजरों को इस तरह से डिजाइन किया है कि मशीनों को चलाने वालों को पुलिस द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली पैलेट गन की चपेट में न आना पड़े। इसके साथ ही किसान आंसूगैस के हमलों से निपटने के लिए गैस मास्क भी साथ लाए हैं।
वहीं किसानों को रोकने के लिए पुलिस भी पूरी तैयारी है। लोडेड ट्रकों, बसों, बैरिकेड्स, लोहे के कंटीले तारों और कीलों के अलावा पुलिस किसानों को रोकने के लिए लोडेड शिपिंग कंटेनरों का भी उपयोग कर रही है।