DRDO ने एमबीटी अर्जुन टैंक से लेजर गाइडेड एंटी टैंक मिसाइल का किया सफल परीक्षण, रक्षामंत्री ने कहा- भारत को आप पर गर्व
By रामदीप मिश्रा | Published: September 23, 2020 02:28 PM2020-09-23T14:28:31+5:302020-09-23T14:29:35+5:30
डीआरडीओ का कहना है कि मिसाइल विस्फोटक प्रतिक्रियाशील कवच (ईआरए) संरक्षित बख्तरबंद वाहनों से भी लोहा लेने में सक्षण है। इसको कई-प्लेटफॉर्म से लॉन्च करने की क्षमता के साथ विकसित किया गया है।
नई दिल्लीः पूर्वी लद्दाख में भारत-चीन सीमा पर तनाव बरकरार है। इस रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (डीआरडीओ) ने मंगलवार को एक और बड़ी सफलता हासिली की है। दरअसल, डीआरडीओ ने एमबीटी अर्जुन टैंक से लेजर गाइडेड एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल (एटीजीएम) का सफल परीक्षण किया है। इस परीक्षण के बाद रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने डीआरडीओ को बधाई दी है।
रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) ने महाराष्ट्र के अहमदनगर स्थित फायरिंग रेंज से देश में विकसित लेजर निर्देशित एक टैंक विध्वंसक मिसाइल का सफल प्रायोगिक परीक्षण किया है। अधिकारियों ने बुधवार को यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि मिसाइल चार किलोमीटर की दूरी तक मार कर सकती है।
आर्म्ड कोर सेंटर एंड स्कूल स्थित केके रेंज में एक एमबीटी अर्जुन टैंक से इस मिसाइल को दागा गया
प्रयोगिक परीक्षण के तहत मंगलवार को अहमदनगर में स्थित आर्म्ड कोर सेंटर एंड स्कूल स्थित केके रेंज में एक एमबीटी अर्जुन टैंक से इस मिसाइल को दागा गया। अधिकारियों ने कहा कि लेजर निर्देशित टैंक विध्वंसक मिसाइल (एटीजीएम) से भारतीय सेना की युद्ध शक्ति महत्वूपर्ण रूप से बढ़ने की संभावना है, खासकर पाकिस्तान और चीन से लगती सीमाओं पर। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने एटीजीएम के सफल प्रायोगिक परीक्षण पर डीआरडीओ को बधाई दी।
उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘अहमदनगर में केके रेंज से एमबीटी अर्जुन टैंक से लेजर निर्देशित टैंक विध्वंसक मिसाइल का सफल प्रायोगिक परीक्षण करने के लिए बधाई, डीआरडीओ ! भारत को डीआरडीओ की टीम पर गर्व है जो निकट भविष्य में आयात निर्भरता कम करने की दिशा में कड़ा परिश्रम कर रही है।’’
अधिकारियों ने कहा कि एटीजीएम पूर्ण सटीकता के साथ लक्ष्यों को निशाना बनाती है। अर्जुन टैंक डीआरडीओ द्वारा विकसित तीसरी पीढ़ी का मुख्य युद्धक टैंक है। पुणे स्थित आयुध अनुसंधान एवं विकास प्रतिष्ठान ने उच्च ऊर्जा पदार्थ अनुसंधान प्रयोगशाला तथा उपकरण अनुसंधान एवं विकास प्रतिष्ठान के सहयोग से इस मिसाइल का विकास किया है।
रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने ट्वीट कर कहा, 'अहमदनगर में केके रेंज (एसीसीएंडएस) में एमबीटी अर्जुन से लेजर गाइडेड एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल के सफलतापूर्वक परीक्षण करने के लिए डीआरडीओ को बधाई। भारत को डीआरडीओ पर गर्व है जो निकट भविष्य में आयात निर्भरता को कम करने की दिशा में काम कर रहा है।'
Congratulations to @DRDO_India for successfully conducting test firing of Laser Guided Anti Tank Guided Missile from MBT Arjun at KK Ranges (ACC&S) in Ahmednagar.
— Rajnath Singh (@rajnathsingh) September 23, 2020
India is proud of Team DRDO which is assiduously working towards reducing import dependency in the near future. pic.twitter.com/WuBivV7VYU
डीआरडीओ का कहना है कि मिसाइल विस्फोटक प्रतिक्रियाशील कवच (ईआरए) संरक्षित बख्तरबंद वाहनों से भी लोहा लेने में सक्षण है। इसको कई-प्लेटफॉर्म से लॉन्च करने की क्षमता के साथ विकसित किया गया है और वर्तमान में एमबीटी अर्जुन टैंक से तकनीकी मूल्यांकन के लिए परीक्षण किया जा रहा है।
The missile employs a tandem HEAT warhead to defeat Explosive Reactive Armour (ERA) protected armoured vehicles. It has been developed with multiple-platform launch capability and is currently undergoing technical evaluation trials from a gun of MBT Arjun: DRDO https://t.co/6CqggD8chi
— ANI (@ANI) September 23, 2020
इससे पहले ओडिशा के बालासोर में भारत ने अभ्यास लड़ाकू ड्रोन का सफल परीक्षण किया और डीआरडीओ की ओर से अभ्यास का फ्लाइट टेस्ट किया गया। अभ्यास का परीक्षण डीआरडीओ ने चांदीपुर के पास इंटीग्रेटेड टेस्ट रीजन (आईटीआर) में किया। ट्रायल के दौरान दो प्रदर्शनकारी वाहनों का भी सफलतापूर्वक परीक्षण किया गया।