राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद मंगलवार को संसद के केंद्रीय कक्ष में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के चित्र का अनावरण किया। इस दौरान उप राष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और विभिन्न दलों के अन्य नेताओं के मौजूद रहे। पीएम मोदी ने वाजपेयी को याद करते हुए कहा 'अटल जी के जीवन पर बहुत से बातें की जा सकती है। घंटो तक कहा जा सकता है फिर भी पूरा नहीं हो सकता। ऐसे व्यक्तित्व बहुत कम होते है'।
उन्होंने आगे कहा 'व्यक्तिगत जीवन के हित के लिए कभी अपना रास्ता न बदलना, ये अपने आप में सार्वजनिक जीवन में हम जैसे कई कार्यकर्ताओं के लिए बहुत कुछ सीखने जैसा है'।
राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश ने उच्च सदन में इस आशय की सूचना सदस्यों को दी। संसद की पोट्रेट समिति की अध्यक्ष एवं स्पीकर सुमित्रा महाजन ने 12 तारीख को अटलजी का तैल चित्र लगाये जाने की तिथि का फैसला किया। इस तैल चित्र को चित्रकार कृष्ण कन्हाई ने तैयार किया है ।
उल्लेखनीय है कि पिछले साल दिसंबर के अंत में पोट्रेट समिति की बैठक में अटल बिहारी वाजपेयी का तैल चित्र केंद्रीय कक्ष में लगाने का निर्णय लिया गया था । बैठक में गृहमंत्री राजनाथ , वित्त मंत्री अरुण जेटली और ग्रामीण विकास एवं संसदीय कार्य मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने प्रस्ताव किया था कि संसद के केन्द्रीय कक्ष में दिवगंत पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का तैलचित्र लगाया जाना चाहिए। बैठक में सभी नेताओं ने सर्वसम्मति से इस प्रस्ताव को मंजूरी दी थी ।
उस बैठक में लोकसभा उपाध्यक्ष एम थंबीदुरै, गृहमंत्री राजनाथ सिंह, संसदीय कार्य मंत्री तोमर, कांग्रेस के नेता एम. मल्लिकार्जुन खडग़े, तृणमूल कांग्रेस के नेता सुदीप बंद्योपाध्याय, तेलंगाना राष्ट्र समिति के नेता ए पी जितेन्द्र रेड्डी तथा शिवसेना नेता एवं केन्द्रीय भारी उद्योग मंत्री अनंत गीते उपस्थित थे।