अमरनाथ गुफा में ‘छड़ी मुबारक’ की स्थापना, यह यात्रा करीब 150 साल पुरानी

By सुरेश एस डुग्गर | Published: August 3, 2020 04:15 PM2020-08-03T16:15:20+5:302020-08-03T16:15:20+5:30

भगवान शिव से कोरोना संकट से निजात दिलाने की प्रार्थना भी की गई। महंत दीपेंद्र गिरि ने इस अवसर पर एक संदेश में यात्रा की प्राचीन परंपरा और इतिहास से भी अवगत कराया। उन्होंने कहा कि यह यात्रा करीब 150 साल पुरानी है।

COVID19 Shri Amarnath Ji Shrine from Srinagar helicopter Mahant Deependra Giri custodian of the holy mace of Lord Shiva | अमरनाथ गुफा में ‘छड़ी मुबारक’ की स्थापना, यह यात्रा करीब 150 साल पुरानी

कई दिनों तक इस पर चर्चा चली थी। जिसमें भक्तों के लिए नियमों को बनाया गया था। सुरक्षाबलों की तैनाती कर दी गई थी।

Highlightsपवित्र छड़ी मुबारक आज श्रावण पूर्णिमा के दिन अमरनाथ गुफा में पहुंची। वहां सभी धार्मिक अनुष्ठान वैदिक मंत्रों और पूजा अर्चना से संपन्न किए गए।अमरनाथ श्राइन बोर्ड ने 21 जुलाई को वार्षिक अमरनाथ यात्रा शुरू करने को लेकर अपनी स्थिति स्पष्ट कर दी थी। बढ़ते कोरोना के मामलों को देखते हुए इस साल वार्षिक अमरनाथ यात्रा को रद करने का फैसला लिया था।

जम्मूः कोरोना के कारण स्थगित की गई अमरनाथ यात्रा की प्रतीक पवित्र छड़ी मुबारक के अमरनाथ गुफा में आज श्रावण पूर्णिमा के दिन स्थापित करते ही संपन्न हो गई। छड़ी मुबारक को कुछेक साधुओं के साथ ही हेलिकाप्टर से गुफा तक ले जाया गया था ताकि यात्रा को सांकेतिक तौर पर संपन्न करवाया जा सके।

पवित्र छड़ी मुबारक आज श्रावण पूर्णिमा के दिन अमरनाथ गुफा में पहुंची। वहां सभी धार्मिक अनुष्ठान वैदिक मंत्रों और पूजा अर्चना से संपन्न किए गए। इसके बाद भगवान शिव से कोरोना संकट से निजात दिलाने की प्रार्थना भी की गई। महंत दीपेंद्र गिरि ने इस अवसर पर एक संदेश में यात्रा की प्राचीन परंपरा और इतिहास से भी अवगत कराया। उन्होंने कहा कि यह यात्रा करीब 150 साल पुरानी है।

अमरनाथ श्राइन बोर्ड ने 21 जुलाई को वार्षिक अमरनाथ यात्रा शुरू करने को लेकर अपनी स्थिति स्पष्ट कर दी थी। बढ़ते कोरोना के मामलों को देखते हुए इस साल वार्षिक अमरनाथ यात्रा को रद करने का फैसला लिया था। हालांकि कई दिनों तक इस पर चर्चा चली थी। जिसमें भक्तों के लिए नियमों को बनाया गया था। सुरक्षाबलों की तैनाती कर दी गई थी।

कैंपों को लगाया गया था। आधार शिविर को तैयार किया गया था। भक्तों के लिए सभी इंतजाम करके दिए गए थे क्योंकि अंतिम समय तक यही बात कही जा रही थी। प्रतिदिन पांच सौ भक्तों को जाने की अनुमति दी जाएगी। इसके लिए कठुआ में कैंप बनाया गया। तमाम इंतजाम किए गए थे।

लेकिन बोर्ड की तरफ से कई दिनों तक कोई फैसला नहीं लिया गया था। बाद में 21 जुलाई को एक दम से बोर्ड की तरफ से यात्रा को ना चलाने का फैसला लिया गया था। प्रशासन की तरफ से कहा गया था कि सिर्फ पवित्र छड़ी मुबारक को जाने की अनुमति है। जोकि पूरे रीति रिवाज से हर साल की तरह पूजा अर्चना करेगी और उसके बाद इस साल की यात्रा को समाप्त कर दिया जाएगा।

Web Title: COVID19 Shri Amarnath Ji Shrine from Srinagar helicopter Mahant Deependra Giri custodian of the holy mace of Lord Shiva

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