नई दिल्लीः स्वास्थ्य मंत्रालय के संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने कहा कि देश में बीते 24 घंटे में कोविड-19 से आठ लोगों की मौत हुई है। देश में अभी तक कुल 4,421 लोगों के कोरोना वायरस से संक्रमित होने की पुष्टि हुई है। बीते 24 घंटे में 354 नए मामले सामने आए।
स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक देश में मंगलवार को कोरोना वायरस के संक्रमण के मामले बढ़कर 4421 हो गये जबकि इससे हुयी मौत का आंकड़ा 117 पर पहुंच गया है। मंत्रालय के संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने मंगलवार को नियमित संवाददाता सम्मेलन में बताया कि पिछले 24 घंटों में संक्रमण के 354 नये मामले सामने आये हैं, जबकि इस दौरान आठ लोगों की मौत हुयी।
स्वास्थ्य मंत्रालय के संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने संवाददाता सम्मेलन में बताया कि ‘वायरस से 4,421 लोग संक्रमित हुए हैं।’ इनमें से 326 लोग ठीक हो चुके हैं। हालांकि, सोमवार रात राज्यों से मिली सूचना के आधार पर पीटीआई की तालिका के मुताबिक देश में कम से कम 138 लोगों की मौत हुई है जबकि संक्रमित लोगों की संख्या 4,683 हो चुकी है।
इनमें से 359 लोग ठीक हो चुके हैं और उन्हें अस्पतालों से छुट्टी मिल चुकी है । अग्रवाल ने बताया कि महामारी को रोकने के लिए क्लस्टर नियंत्रण रणनीति से आगरा, गौतमबुद्धनगर, भीलवाड़ा, पूर्वी दिल्ली और मुंबई जैसे कुछ इलाकों में नतीजे मिल रहे हैं। उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस से प्रभावित अन्य जिलों में ये रणनीति अपनायी जा रही है। भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के एक अध्ययन के मुताबिक अगर लॉकडाउन या दूरी बरतने के नियमों का पालन नहीं हो तो कोरोना वायरस का एक मरीज 30 दिन में 406 लोगों को संक्रमित कर सकता है ।
उन्होंने संक्रमण के मामलों और मृतकों की संख्या में सोमवार की तुलना में मंगलवार को कमी आने पर संतोष व्यक्त किया। उल्लेखनीय है कि सोमवार को 24 घंटों के दौरान 693 नये मामले सामने आये थे और 30 मरीजों की मौत हुयी थी। अग्रवाल ने संक्रमण की गति को रोकने के लिये लागू लॉकडाउन को प्रभावी बताते हुये कहा कि संक्रमण से बुरी तरह प्रभावित इलाकों में लॉकडाउन का पालन सख्ती से कराने और सघन निगरानी तंत्र की मदद से संक्रमण पर नियंत्रण पाने में मदद मिल रही है।
उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण से सर्वाधिक प्रभावित इलाकों में चिन्हित किये गये आगरा, नोएडा, पूर्वी दिल्ली, भीलवाड़ा और मुंबई में लॉकडाउन के उपाय का असर दिखने लगा है और इन क्षेत्रों में स्थिति में सुधार आ रहा है। अग्रवाल ने कहा कि स्मार्ट सिटी परियोजना के तहत पुणे, भोपाल और सूरत सहित अन्य शहरों में प्रौद्योगिकी आधारित नयी सेवाओं का भी कोरोना नियंत्रण अभियान में प्रभावी सहयोग लिया जा रहा है। इसकी मदद से स्मार्ट सिटी से जुड़े इलाकों में संक्रमण पर निगरानी, रियल टाइम सिस्टम से एंबुलेंस सेवा का संचालन और आईटी प्रौद्योगिकी पर आधारित सूचनाओं के आदान-प्रदान से काफी मदद मिल रही है।
आगामी 14 अप्रैल को लॉकडाउन की समयसीमा समाप्त हाने के बाद इसके भविष्य को लेकर जारी अटकलों के बारे में अग्रवाल ने कहा कि सरकार लॉकडाउन के असर से जुड़े सभी पहलुओं पर विचार कर रही है। कोरोना संकट से निपटने के लिये भविष्य की रणनीति को लेकर जब भी फैसला किया जायेगा, उसी समय अवगत कराया जा सकेगा। संवाददाता सम्मेलन में गृह मंत्रालय की संयुक्त सचिव पुण्य सलिला श्रीवास्तव ने बताया कि मंत्रालय ने चिकित्सा संस्थाओं को कोरोना के इलाज में ऑक्सीजन की अबाध आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिये राज्य सरकारों को निर्देश दिये हैं।
इस दौरान भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के वैज्ञानिक रमन आर गंगाखेड़कर ने बताया कि देश में अब तक कोरोना संक्रमण की जांच के लिये 107006 परीक्षण हो चुके हैं। इनमें पिछले 24 घंटों के दौरान किये गये 11795 परीक्षण शामिल हैं। उन्होंने बताया कि देश में 136 सरकारी और 59 निजी प्रयोगशालाओं में कोविड-19 के परीक्षण की सुविधा सुचारू रुप से चल रही है।
केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अधिकारी ने बताया कि कोरोना वायरस संक्रमण के मद्देनजर दिल्ली, मुंबई, भीलवाड़ा, आगरा में छोटे-छोटे क्षेत्रों को चिह्नित कर उन्हें सील करने की रणनीति बनायी गयी है। अब तक 326 व्यक्तियों को ठीक होने के बाद छुट्टी दे दी गई है। भारतीय रेलवे ने 2,500 डिब्बों में 40,000 आइसोलेशन बेड तैयार किए हैं। वे प्रतिदिन 375 अलगाव बेड तैयार कर रहे हैं और यह देश भर में 133 स्थानों पर चल रहा है।
भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद के आर. गंगाखेडकर ने कहा कि अभी तक 107006 टेस्ट हो चुके है।पिछले दिन में 11795 टेस्ट हो गए है इसमें से 2530 टेस्ट निजी अस्पताल में हुए। अभी 136 सरकारी लैब काम कर रही हैं और 59 निजी लैब को परमिशन दी गई है।
आईसीएमआर ने अपने अध्ययन में स्पष्ट किया है कि कोविड-19 का एक मरीज अगर लॉकडाउन और सामाजिक मेलजोल से दूरी का पालन नहीं कर रहा है तो वह 30 दिन में 406 लोगों को संक्रमित कर सकता है। लॉकडाउन की अवधि बढ़ाने पर अभी तक कोई फैसला नहीं, कृपया अटकलें ना लगाएं।