छत्तीसगढ़ की सियासत ने आज एक और करवट बदली है। अजीत जोगी और रेणु जोगी के नाम पर नामांकन फार्म खरीदे गए हैं। बिलासपुर के जिला निर्वाचन अधिकारी के यहां से खरीदे गए दोनों फार्म जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ के नाम से लिए गए हैं। अजीत जोगी का तो समझ में आता है कि वे मरवाही से चुनाव लड़ेंगे। लेकिन उनकी पत्नी डॉ। रेणु जोगी ने अब तक न तो कांग्रेस छोड़ी है और न ही कांग्रेस प्रत्याशियों की सूची में उनका नाम कटने का कोई संकेत है।
अपुष्ट सूत्रों के अनुसार कोटा विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस की जो सूची आज-कल में जारी होने वाली है, उसमें रेणु जोगी का नाम नहीं है बल्कि उनके बदले किसी शैलेष पांडे का नाम बताया जाता है।
इस संबंध में डॉ. रेणु जोगी से जब पूछा गया तो उन्होंने कहा कि उनके नाम से फार्म खरीदा गया है, इसकी उन्हें कोई जानकारी नहीं है। इस पर न तो उनकी सहमति है, न ही असहमति। जनता कांग्रेस छत्तीगसढ़ के सूत्रों ने बताया है कि अजीत जोगी मरवाही से और डॉ। रेणु जोगी कोटा विधानसभा क्षेत्र से जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ की टिकट पर चुनाव लड़ सकती हैं। कांग्रेस यदि उन्हें टिकट नहीं देती है तो संभावना यही है कि उन्हें जोगी कांग्रेस से मैदान में उतार दिया जाए।
रेणु जोगी कोटा विधानसभा क्षेत्र से तीन बार लगातार कांग्रेस की टिकट पर विजयी होती आई हैं। यह उनका चौथा चुनाव होगा। रेणु जोगी की बातचीत से ऐसा लगता है कि वे कांग्रेस छोड़ना नहीं चाहती हैं। कांग्रेस के टिकट न देने पर हो सकता है कि वे जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ से भी चुनाव न लड़ें और राजनीति से ही किनारा कर लें। कांग्रेस त्याग कर जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ पार्टी का गठन करने के मामले में भी रेणु जोगी से कोई सलाह-मशविरा नहीं किया गया था। वे नए दल के गठन के पक्ष में नहीं थीं।
उन्होंने अजीत जोगी से भी यह बात स्पष्ट कह दिया था कि आपने मुझसे पूछकर फैसला नहीं लिया था। रेणु जोगी के मामले में कांग्रेस भी संशय की स्थिति में चल रही है। संभवत: कांग्रेस चाहती है कि रेणु जोगी स्वयं कांग्रेस से अलग हो जाएं। दो दिनों पूर्व ही नेता प्रतिपक्ष टीएस सिंहदेव ने संकेत दिया था कि रेणु जोगी की स्थिति खराब है। इसका साफ अर्थ निकलता है कि उन्हें कांग्रेस टिकट नहीं देने जा रही है। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि रेणु जोगी यह तो कहती हैं कि अगली सरकार भाजपा की नहीं बनेगी लेकिन यह स्पष्ट नहीं कहती कि कांग्रेस की सरकार बनेगी।
रेणु जोगी और अजीत जोगी के नाम पर जो नामांकन फार्म खरीदे गए हैं, वे जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ के नेता विशंभर गुल्हरे द्वारा खरीदे गए हैं। एक नामांकन फार्म की कीमत दस हजार रुपए होती है। निर्वाचन अधिकारी ने जोगी का फार्म लेते वक्त जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ के नेता से जोगी का जाति प्रमाण पत्र भी मांगा लेकिन वे दे नहीं पाए। इसके बाद जोगी के वकील की बहस के बाद जोगी के नाम से फार्म दिया गया। जोगी के वकील ने कहा कि नामांकन जमा करने के साथ जाति प्रमाण पत्र जमा कर दें। तब जाकर मरवाही सीट से अजीत जोगी के नाम पर नामांकन फार्म जारी किया गया।