Bihar Teacher Transfer-Posting Policy: पुराने आवेदन रद्द, नए सिरे से स्क्रूटनी?, बिहार में सरकारी शिक्षकों के ट्रांसफर-पोस्टिंग को लेकर अहम निर्णय
By एस पी सिन्हा | Updated: November 21, 2024 18:30 IST2024-11-21T18:29:38+5:302024-11-21T18:30:50+5:30
Bihar Teacher Transfer-Posting Policy: बिहार के प्राथमिक शिक्षा निदेशक पंकज कुमार की ओर से जारी पत्र में कहा गया है कि राज्य सरकार ने पहले बनाए गए ट्रांसफर/पोस्टिंग पॉलिसी को रद्द कर दिया है। इसलिए उस पॉलिसी के तरह जितने भी शिक्षकों ने आवेदन किए थे।

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Bihar Teacher Transfer-Posting Policy: बिहार में सरकारी शिक्षकों के ट्रांसफर/पोस्टिंग को लेकर राज्य सरकार ने फिर से नया आदेश निकाला है। शिक्षा विभाग ने इसको लेकर आदेश जारी कर दिया है। लेकिन सरकार कुछ खास शिक्षकों की ही ट्रांसफर/पोस्टिंग करेगी। नीतीश सरकार ने शिक्षक ट्रांसफर नीति को नए सिरे से लागू करने का निर्णय लिया है। 1 दिसंबर से 15 दिसंबर तक शिक्षक ई-शिक्षा कोष पोर्टल के जरिए ऑनलाइन आवेदन कर सकेंगे। शिक्षा विभाग ने स्पष्ट कर दिया है कि पहले किए गए सभी आवेदन रद्द कर दिए जाएंगे। बिहार के प्राथमिक शिक्षा निदेशक पंकज कुमार की ओर से जारी पत्र में कहा गया है कि राज्य सरकार ने पहले बनाए गए ट्रांसफर/पोस्टिंग पॉलिसी को रद्द कर दिया है। इसलिए उस पॉलिसी के तरह जितने भी शिक्षकों ने आवेदन किए थे।
उन सारे आवेदनों को भी रद्द कर दिया गया है। सरकार ने अब ट्रांसफर पोस्टिंग के लिए नया आदेश जारी किया है। पत्र में कहा गया है कि सरकार को विभिन्न श्रोतों से ये अनुरोध प्राप्त हो रहे हैं कि कुछ शिक्षक विशेष समस्या से ग्रसित हैं और इसके कारण अपना ट्रांसफर कराना चाहते हैं। ऐसे तमाम शिक्षक जो किसी विशेष समस्या के कारण अपना ट्रांसफर कराना चाहते हैं, सरकार ने उन्हें मौका दिया है।
पत्र में कहा गया है कि ऐसे शिक्षक 1 दिसंबर से 15 दिसंबर तक ई-शिक्षा कोष पोर्टल पर जाकर ऑनलाइन आवेदन दे सकते हैं। सरकार उनके ट्रांसफर/पोस्टिंग पर विचार करेगी। बता दें कि करीब 1,20,000 शिक्षकों ने ट्रांसफर के लिए आवेदन किया था, जो अब अमान्य माने जाएंगे। नए दिशा-निर्देशों के अनुसार शिक्षकों को अपनी समस्या का उल्लेख करते हुए फिर से आवेदन करना होगा।
यह ट्रांसफर सुविधा उन शिक्षकों के लिए होगी, जो किसी विशेष समस्या से ग्रस्त हैं। शिक्षा विभाग ने कहा है कि इसका उद्देश्य योग्य और जरूरतमंद शिक्षकों को राहत देना है। पिछले दिनों मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शिक्षकों का ट्रांसफर रोकने की बात कही थी। इसके बाद शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने नीति स्थगित करने का निर्णय लिया। यह कदम बिहार सरकार की ओर से शिक्षकों की समस्याओं को हल करने और शिक्षा व्यवस्था को बेहतर बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण माना जा रहा है।