पटनाः बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव के द्वारा एक ओर जहां दस लाख से ज्यादा नौकरी देने का ऐलान किया जा रहा है, वहीं दूसरी ओर नीतीश सरकार के द्वारा बडे पैमाने पर पद समाप्त किये जा रहे हैं। नीतीश सरकार ने अंचल निरीक्षक, विजिलेंस उपाधीक्षक समेत कई पद खत्म एक झटके में समाप्त कर दिये हैं, जिससे इन पदों पर होने वाली बहालियां अब कभी नही होंगी।
कहा जा रहा है कि राज्य के 13 विभागों में कई पद समाप्त कर दिए गए हैं। इसको लेकर सामान्य प्रशासन विभाग ने पत्र जारी कर दिया है। प्राप्त जानकारी के अनुसार बिहार सरकार ने उद्योग विभाग, जल संसाधन विभाग, निगरानी अन्वेषण ब्यूरो, ग्रामीण और विकास कार्य विभाग, खान और भूतत्व समेत अन्य विभागों में पद समाप्त कर दिये हैं।
इनपदों के गैरजरूरी बताते हुए समाप्त किया गया है। 16 सितंबर 2021 को सामान्य प्रशासन विभाग की ओर से जारी संकल्प के मुताबिक यह निर्णय लिया गया है। उस समय निर्णय लिया गया था कि प्रशासी विभागों की समीक्षा के बाद विभिन्न विभागों, कार्यालयों के अधीन सेवा, संवर्ग के प्रोन्नति के पदों को विलोपित करने का प्रस्ताव दिया जाए।
जिसके बाद प्रोन्नति के पदों को 10 जुलाई 2015 के संकल्प की अनुसूची से विलोपित करने की कार्रवाई सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा की जाए। इस फैसले के बाद 13 विभागों ने विभिन्न सेवा, संवर्ग के कई पदों को विलोपित करने का प्रस्ताव सामान्य प्रशासन डिपार्टमेंट को दिया है।
इस प्रस्ताव में विजिलेंस उपाधीक्षक, अंचल निरीक्षक, बिहार सचिवालय सेवा के उप सचिव पद भी शामिल हैं। जिन विभागों के पद समाप्त किए गए हैं, उनमें लघु जल संसाधन विभाग के कार्यपालक अभियंता, पशु एवं मत्स्य संसाधन विभाग के मत्स्य निदेशालय के उप मत्स्य निदेशक, पीएचईडी के सहायक अभियंता और वरीय और कनीय लेखा लिपिक, खान और भूतत्व विभाग के सहायक और उप निदेशक, ग्रामीण विकास कार्य विभाग संवर्ग के संयुक्त सचिव और विशेष कार्य पदाधिकारी शामिल हैं।
इसके साथ ही राजस्व भूमि सुधार विभाग में अंचल निरीक्षक का पद अव्यवहारिक हो गया। अब सीओ के नीचे राजस्व पदाधिकारी नियुक्त हो गए हैं। उद्योग विभाग में अर्थ अन्वेषक का पद भी अव्यवहारिक बता दिया गया। जबकि कई विभागों में संविदा पर नियुक्ति भी की गई है। इस कारण इन पदों को खत्म किया गया है।