आंध्र प्रदेश सरकार खुद बेचेगी 3500 दुकानों पर शराब, इस वजह से उठाया यह महत्वपूर्ण कदम
By रामदीप मिश्रा | Published: October 3, 2019 07:48 AM2019-10-03T07:48:50+5:302019-10-03T07:48:50+5:30
आंध्र प्रदेश: उपलब्धता और खपत में धीरे-धीरे कटौती करने के लिए शराब की दुकानें सुबह 10 बजे से रात 9 बजे तक खुली रहेंगी और बाद में घटकर सिर्फ 3-4 घंटे रह जाएंगी।
आंध्र प्रदेश सरकार ने शराबबंदी की दिशा में कदम उठाया है और उसने पहल करते हुए राज्य भर में 3,500 से अधिक शराब की दुकानों को अपने कब्जे में ले लिया है, जिन्हें आंध्र प्रदेश स्टेट बेवरेजेस कॉरपोरेशन द्वारा संचालित किया जाएगा। नई आबकारी नीति ने गांधी जयंती पर बुधवार को भी प्रभाव डाला क्योंकि सरकार ने कहा कि वह एक साल के भीतर पूर्ण शराबबंदी चाहती है।
उपलब्धता और खपत में धीरे-धीरे कटौती करने के लिए शराब की दुकानें सुबह 10 बजे से रात 9 बजे तक खुली रहेंगी और बाद में घटकर सिर्फ 3-4 घंटे रह जाएंगी। पिछले चार महीनों से सरकार ने शराब की दुकानों को बंद करना शुरू कर दिया और वर्तमान में यह संख्या 4,380 से घटकर 3,500 दुकानों तक पहुँच गई। पिछले चार महीनों में मुख्यमंत्री वाई जगन मोहन रेड्डी के सत्ता में आने के बाद शराब की बिक्री और खपत में 18 प्रतिशत की कमी आई है।
खबरों के अनुसार, उपमुख्यमंत्री (आबकारी) के नारायण स्वामी ने कहा कि एक साल के भीतर राज्य में कुल शराबबंदी लागू होगी। हमने पिछले महीने 475 से अधिक शराब की दुकानों को अपने कब्जे में लिया था। अब हमने सभी शराब की दुकानों के लाइसेंस 1 अक्टूबर को समाप्त कर दिए हैं। चूंकि वाईएस जगन मोहन रेड्डी ने 30 मई को सीएम के रूप में पदभार संभाला है, इसलिए हमारी सरकार ने सभी 43,000 अवैध शराब की दुकानों को बंद कर दिया है, जो ज्यादातर ग्रामीण इलाकों में चलाई जा रही थीं।
उन्होंने कहा कि अपनी पदयात्रा के दौरान लोगों से जगन ने वादा किया था कि वे धीरे-धीरे शराब को कम करेंगे। इसके बाद राज्य में इसकी बिक्री और खपत पर पूर्ण प्रतिबंध लगा देंगे। मंत्री ने कहा कि पिछली तेलुगू देशम पार्टी की सरकार ने अवैध शराब की दुकानों को बंद नहीं किया था, जिसके कारण शराब की खपत बढ़ गई थी।
उपमुख्यमंत्री ने कहा कि शराब की वजह से लोगों ने अपनी आजीविका खो दी और शराब ने घरों को बर्बाद कर दिया। जगन की पदयात्रा के दौरान लाखों महिलाओं ने उनसे शराब की सभी दुकानों को बंद करने और शराबबंदी लागू करने का अनुरोध किया था। हमने अपना चुनावी वादा पूरा करना शुरू कर दिया है।