'सीएम डायलॉग बोल रहे, अपराधी हत्या कर रहे...', यूपी विधानसभा में अखिलेश यादव ने योगी सरकार पर साधा जमकर निशाना
By राजेंद्र कुमार | Published: February 28, 2023 06:25 PM2023-02-28T18:25:39+5:302023-02-28T18:27:19+5:30
अखिलेश यादव ने योगी आदित्यनाथ सरकार पर विधानसभा में जमकर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि महंगाई और बेरोजगारी जैसे मुद्दों को दबाने के लिए भाजपा जबरन विपक्षी नेताओं को फर्जी केस में फंसा रही है.
लखनऊ: उत्तर प्रदेश की विधानसभा सत्र में समाजवादी पार्टी (सपा) के मुखिया अखिलेश यादव ने मंगलवार को योगी आदित्यनाथ सरकार को हर मोर्चे पर असफल रहने वाली सरकार बता दिया. यहीं नहीं अखिलेश यादव ने योगी सरकार द्वारा पेश किए गए करीब सात लाख करोड़ रुपए के बजट को दिशाहीन बताते हुए कहा कि प्रदेश में कानून व्यवस्था बदहाल हालत में है. किसानों की हालत दयनीय हो गई है. इसके बाद भी मुख्यमंत्री सिर्फ डायलॉग ही बोल रहे हैं और अपराधी खुलेआम हत्या कर रहे हैं.
अखिलेश यादव ने आठ माह से अधिक समय होने के बाद भी यूपी में स्थायी डीजीपी ना होने का मुद्दा भी उठाया और कहा कि प्रदेश में डीजीपी कार्यवाहक हैं, उनके पास इंटेलिजेंस की जिम्मेदारी भी है. ऐसे में डीजीपी कैसे सही जानकारी मुख्यमंत्री तक पहुंचाएंगे.
भाजपा भी कांग्रेस के रास्ते चल रही
विधानसभा में बजट पर चर्चा करते हुए नेता प्रतिपक्ष के रूप में अखिलेश यादव ने यह सवाल उठाया. फिर उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री माफियाओं को मिट्टी में मिलाने का दावा करते हैं, लेकिन वह प्रदेश के माफियाओं की सूची मांगने पर भी नहीं देते. जबकि प्रदेश की जनता यूपी के माफियाओं के बारे में यह जानना चाहती है.
यह दावा करते हुए अखिलेश यादव ने कि भाजपा भी अब कांग्रेस के रास्ते पर चल रही है. कांग्रेस अपने शासन काल के दौरान विपक्षी नेताओं पर छापे पड़वाती थी. अब भाजपा भी वही काम कर रही है. भाजपा देश के बड़े विपक्षी नेताओं के खिलाफ तमाम तरह की साजिश कर रही है. षडयंत्र कर ईडी और सीबीआई का प्रयोग कर लोकसभा चुनाव 2024 को प्रभावित करने का प्रयास किया जा रहा है. महंगाई और बेरोजगारी जैसे मुद्दों को दबाने के लिए भाजपा जबरन विपक्षी नेताओं को फर्जी केस में फंसा रही है. भाजपा लोकतंत्र को खत्म करना चाहती है. भाजपा के इन हथकंड़ों से संघर्षशील नेता और कार्यकर्ता डरने वाले नहीं है.
'एक ट्रिलियन डॉलर इकोनॉमी का सपना दिखाया जा रहा'
बजट में योगी सरकार द्वारा किए गए दावों को लेकर नेता प्रतिपक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि यूपी में सिर्फ 4 प्रतिशत बेरोजगारी दर बताई जा रही है, इसका मतलब क्या 90 प्रतिशत बेरोजगारों को रोजगार मिल गया है? अखिलेश के अनुसार प्रदेश सरकार के बजट में किसान छला गया है, उसको न तो एमएसपी मिली नहीं उसकी आय दोगुनी हुई. गन्ना किसान को बकाया भुगतान भी नहीं मिला. गैस सिलेंडर, दूध, आटा, दाल की कीमतें आसमान छू रही हैं. महंगाई से लोग त्राहि-त्राहि कर रहे हैं. फिर भी महंगाई कम करने का कोई भी जवाब नहीं दिया जा रहा.
यह दावा करते हुए अखिलेश ने सरकार से पूछा कि आगरा में लेदर, अलीगढ़ के ताले, अंबेडकरनगर के बुनकर के लिए बजट में क्या घोषणाएं हुईं? औरैया और बलरामपुर में फूड प्रोसेसिंग, अयोध्या में जैविक खेती, भदोही में कालीन कारोबार, फिरोजाबाद में ग्लास कारोबार के लिए बजट क्या था? फिर खुद ही उन्होने कहा कि पूरे देश और प्रदेश की जनता को एक ट्रिलियन डॉलर इकोनॉमी का सपना दिखाया जा रहा है. जबकि हकीकत यह है कि गरीबी की रेखा से नीचे वाले 28 राज्यों की सूची में उत्तर प्रदेश नीचे से चौथे नंबर पर है. भुखमरी समाप्त करने में प्रदेश पांचवें नंबर पर है. गुड हेल्थ में नीचे से दूसरे नंबर पर है और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा में 18वें नंबर पर है.
एसएडएम तैनाती का मसला भी उठा
योगी सरकार के बजट की खामियों का जिक्र करते हुए अखिलेश यादव ने सदन में आठवे दिन यह भी कहा कि शूद्र यदि ढाल न बने तो आप सत्ता में कभी नहीं आ सकते थे. नेता सदन बताएं कि शूद्र क्या हैं? ये लड़ाई आज की नहीं है, वर्षों पुरानी है. फिर उन्होने गत शनिवार को एसडीएम की नियुक्ति को लेकर सीएम योगी के लगाए आरोप का जिक्र किया और कहा वर्ष 2011 में 86 में से 56 नहीं केवल पाँच एसडीएम यादव जाती के चुने गए थे. और वर्ष 2012 में केवल चार यादव तथा वर्ष 2013 में छह यादव तथा 2015 में तीन यादव चुने गए थे.
इन आंकड़ों का जिक्र करते हुए अखिलेश यादव ने सीएम योगी की तरफ इशारा करते हुए कहा कि उन्हे अपनी बात को साबित करने के लिए सदन में 86 में से 56 यादवों वाली सूची रखी चाहिए. और कहा यह मामला विशेषाधिकार का भी बनाता है.