नीतीश के बाद अखिलेश भी आए केजरीवाल के समर्थन में, केंद्र के अध्यादेश को न्यायपालिका का अपमान बताया

By शिवेन्द्र कुमार राय | Published: May 21, 2023 06:08 PM2023-05-21T18:08:59+5:302023-05-21T18:11:04+5:30

अखिलेश ने केंद्र के अध्यादेश को न्यायपालिका का अपमान बताया है। अखिलेश यादव ने ट्वीट कर के कहा, "दिल्ली का अध्यादेश न्यायपालिका का अपमान है। ये भाजपा की नकारात्मक राजनीति का परिणाम है और लोकतांत्रिक-अन्याय का भी।"

After Nitish Akhilesh also came in support of Kejriwal calling Ordinance of the Center an insult to judiciary | नीतीश के बाद अखिलेश भी आए केजरीवाल के समर्थन में, केंद्र के अध्यादेश को न्यायपालिका का अपमान बताया

समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव (फाइल फोटो)

Highlightsअखिलेश यादव भी केजरीवाल के समर्थन में आए हैंअखिलेश ने केंद्र के अध्यादेश को न्यायपालिका का अपमान बतायाकहा- अध्यादेश के नाम पर ये जनादेश की हत्या है

नई दिल्ली: दिल्ली सरकार और केंद्र सरकार के बीच अधिकारियों के ट्रांसफर-पोस्टिंग के अधिकार को लेकर जारी विवाद के बीच उच्चतम न्यायालय ने राष्ट्रीय राजधानी में पुलिस, कानून-व्यवस्था और भूमि को छोड़कर अन्य सभी सेवाओं का नियंत्रण दिल्ली सरकार को सौंप दिया था। इसे केजरीवाल सरकार ने अपनी जीत के रूप में लिया था। बाद में सर्वोच्च न्यायलय के फैसले को निष्प्रभावी बनाने के लिए केंद्र सरकार 19 मई की रात को एक अध्यादेश लेकर आई। केंद्र के इस अध्यादेश पर केजरीवाल सरकार हमलावर है। केजरावाल को पहले बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का साथ मिला और अब समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव भी उनके समर्थन में आए हैं।

अखिलेश ने केंद्र के अध्यादेश को न्यायपालिका का अपमान बताया है। अखिलेश यादव ने ट्वीट कर के कहा, "दिल्ली का अध्यादेश न्यायपालिका का अपमान है। ये भाजपा की नकारात्मक राजनीति का परिणाम है और लोकतांत्रिक-अन्याय का भी। भाजपा जानती है कि लोकसभा चुनाव में दिल्ली की सभी सीटों पर उसकी करारी हार होगी, इसीलिए जनता से पहले से ही बदला ले रही है। अध्यादेश के नाम पर ये जनादेश की हत्या है।"

बता दें कि केंद्र सरकार ने ‘दानिक्स’ काडर के ‘ग्रुप-ए’ अधिकारियों के तबादले और उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही के लिए ‘राष्ट्रीय राजधानी लोक सेवा प्राधिकरण’ गठित करने के उद्देश्य से शुक्रवार को एक अध्यादेश जारी किया। अध्यादेश तीन सदस्यों वाले राष्ट्रीय राजधानी सिविल सेवा प्राधिकरण के गठन की बात करता है, जिसके अध्यक्ष मुख्यमंत्री होंगे और मुख्य सचिव एवं प्रमुख गृह सचिव इसके सदस्यों के रूप में काम करेंगे।

अखिलेश से पहले  बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी केजरीवाल को समर्थन दिया। उन्होंने कहा, "सुप्रीम कोर्ट का फैसला सही रहा लेकिन इसके बावजूद केंद्र सरकार द्वारा जो करने की कोशिश हो रही है वह विचित्र है। सभी को एकजुट होना होगा। हम इनके(केजरीवाल) साथ हैं, ज़्यादा से ज़्यादा विपक्षी पार्टी एक साथ मिल कर अभियान चलाना होगा। हम पूरे तौर पर केजरीवाल जी के साथ हैं।"

नीतीश ने आगे कहा, "जो परेशानी अरविंद केजरीवाल झेल रहे हैं हम उसके ख़िलाफ केजरीवाल जी को समर्थन देने आए हैं। अगर दिल्ली में भाजपा की सरकार होती तो उप राज्यपाल में हिम्मत होती इस प्रकार का काम करने की? दिल्ली में भाजपा कभी वापसी नहीं करेगी।"

Web Title: After Nitish Akhilesh also came in support of Kejriwal calling Ordinance of the Center an insult to judiciary

भारत से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे