वैज्ञानिकों का दावा है कि मधुमेह टाइप -2 की शुरुआत अग्नाशय कैंसर का आरंभिक संकेत हो सकती है जो कैंसर के सर्वाधिक घातक रूपों में से एक है।
अमेरिका की यूनिवर्सिटी ऑफ सदर्न कैलिफोर्निया के शोधकर्ताओं ने पाया कि अफ्रीकी - अमेरिकी और लातिन अमेरिकी लोगों में मधुमेह रोगियों में अग्नाशय कैंसर का खतरा दोगुने से अधिक होता है।
अग्नाशय कैंसर इस खतरनाक बीमारी के सबसे घातक रूपों में से एक है जिसमें पांच साल जीने वाले लोगों का प्रतिशत केवल आठ प्रतिशत है। यह इस वजह से है कि ऐसे करीब 80 फीसदी मरीजों में बीमारी का पता अंतिम चरण में लगता है।
इससे पहले हुए अध्ययनों में यह बात सामने आयी थी कि मधुमेह का संबंध अग्नाशय कैंसर के साथ रहा है।
बीते 14 वर्षों के दौरान निकाले गए औसत में 128 मरीज ऐसे सामने आये जिनमें अग्याशय कैंसर के साथ मधुमेह भी था। इसके अलावा 280 मरीज ऐसे थे जिन्हें अग्नाशय का कैंसर था, लेकिन मधुमेह नहीं था।
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डायबटीज टाइप 2 लक्षण
डाइबटीज टाइप 2 के लक्षण अगर महसूस हो तो तुरंत अपने खून की जांच कराएं। क्यूंकि इस टाइप 2 शुगर का एकमात्र इलाज है इसे कण्ट्रोल करना। अगर समय रहते टाइप 2 शुगर को कण्ट्रोल नहीं किया तो कई बीमारियां आपके शरीर में जन्म ले सकती हैं। टाइप 2 शुगर के लक्षण इस प्रकार हैं –
1. बार बार पेशाब का आना2. प्यास अधिक लगना3. अत्यधिक भूख लगना4. बिना वजह थकान होना5. हमेशा नींद जैसी आते रहना6. हाथ पैर कांपना7. पैरों में सुन्नता का अनुभव8. अचानक वजन घटना या बढ़ना9. धुंधला दिखाई देना10. गुप्तांग या बगल के आसपास लाल छिलने के निशान11. घावों का ना भरना12. रात को 3 से ज्यादा बार पेशाब जाना13. मुंह सूखना
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टाइप 2 डायबिटीज के कारण
1. अनुवांशिक (परिवार में पहले से किसी को है तो आपको भी हो सकती है)2. तनावभरी जिंदगी3. अनियमित खानपान4. मोटापा5. नींद पूरी ना लेना6. शारीरिक श्रम का अभाव7. ज्यादा एलोपैथी दवाइयों का सेवन8. गर्भावस्था में अधिक दवाइयों के खाने से बच्चे को मधुमेह हो सकता है।
(पीटीआई इनपुट के साथ)