अब भी विदेश में मौज कर रहे हैं ये मोस्ट वांटेड अपराधी, मोदी सरकार ने किया था वापस लाने का वादा

By पल्लवी कुमारी | Updated: May 29, 2018 07:25 IST2018-05-29T07:25:17+5:302018-05-29T07:25:17+5:30

साल 2017 में बीजेपी ने एक मीडिया रिपोर्ट का हवाला देते हुए दावा किया था कि संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) में भारत के सर्वाधिक वांछित अपराधियों में से एक दाऊद इब्राहिम की करीब 15,000 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त कर ली गई है।

5 Indian fugitive still living luxury abroad, Modi government promise to get back | अब भी विदेश में मौज कर रहे हैं ये मोस्ट वांटेड अपराधी, मोदी सरकार ने किया था वापस लाने का वादा

अब भी विदेश में मौज कर रहे हैं ये मोस्ट वांटेड अपराधी, मोदी सरकार ने किया था वापस लाने का वादा

नई दिल्ली, 29 मई: मोदी सरकार ने अपने कार्यकाल के चार साल पूरे कर लिए हैं। इन चार सालों में पीएम नरेन्द्र मोदी और बीजेपी ने आम जनता से कई वादे किए लेकिन उनमें से पूरे कुछ ही वादे हुए हैं। 2014 के लोकसभा चुनाव से पहले मोदी सरकार ने जनता को इस बात का भी भरोसा दिलाया था कि वह सत्ता में आते विदेशों में जितने भी भारत के कुख्यात अपराधी हैं, उनको सलाखों के अंदर करवाएंगे। लेकिन कार्यकाल के चार साल साल पूरे होने के बाद भी अब भी कुछ ऐसा होता दिख नहीं रहा है।

साल 2017 में बीजेपी ने एक मीडिया रिपोर्ट का हवाला देते हुए दावा किया था कि संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) में भारत के सर्वाधिक वांछित अपराधियों में से एक दाऊद इब्राहिम की करीब 15,000 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त कर ली गई है।  यह संपत्ति भारत सरकार द्वारा मुहैया कराए गए एक डोजियर के आधार पर जब्त की गई है। लेकिन बाद में यह भी खबर आई कि ये झूठ था। बरहाल सच्चाई जो भी लेकिन आज हम आपको भारत के उन  सर्वाधिक वांछित अपराधियों के बारे में बताने जा रहे हैं, जिनको मोदी सरकार ने सलाखों के पीछे कराने का वादा किया था। 

1- दाऊद इब्राहिम:  इस लिस्ट में पहला नाम आता है मोस्ट वांटेड आतंकी दाऊद इब्राहिम का। मोदी सरकार हमेशा ये दावा करती है कि दाऊद पाकिस्तान में ही है और उसे हर हाल में वापस लाया जाएगा। लेकिन दाऊद कहां है, इसकी पुख्ता जानकारी किसी के पास नहीं है। दाऊद के आपराधिक जीवन की शुरुआत एक बिजनेसमैन के साथ लूटपाट से हुई थी। इसके बाद से दाऊद मुंबई के अंडरवर्ल्ड डॉन करीम लाला के गैंग के लिए काम करने लगा। 1980 के दशक में दाऊद का नाम मुंबई अपराध जगत में बहुत तेजी से सामने आने लगा। उसकी पहुंच फिल्म जगत से लेकर सट्टे और शेयर बाजार तक हो गई थी। 1990 के आसपास भारत छोड़कर दुबई भाग गया था। लेकिन वहां से बैठकर भी वह मुंबई में के कई आपराधिक घटनाओं को अंजाम देता था। 1993 मुंबई ब्लास्ट पूरे देश को हिला कर रख दिया था। जांच के बाद सामने आया कि इसमें दाऊद का हाथ है। मुंबई पुलिस का कहना था कि पाकिस्तान के साथ मिलकर दाऊद ने इसकी साजिश रची थी। 

2- टाइगर हनीफ-  इस कड़ी में दूसरा नाम आता है  गुजरात में 1993 में हुए दो बम धमाके का आरोपी टाइगर हनीफ का। ये अंडरवर्ल्ड डॉन दाउद इब्राहिम का करीबी माना जाता है। कुछ दिनों पहले ऐसी खबरें आई थी कि टाइगर हनीफ को जल्द भारत लाया जा सकता है। ब्रिटेन के एक कोर्ट ने हनीफ को भारत प्रत्यर्पित करने का आदेश दिया है। लेकिन अभी तक यह वापस नहीं लाया जा सका है। हनीफ टाइगर बाबरी विध्वंस कांड के बाद सूरत में 1993 में हुए 2 बम विस्फोटों के सिलसिले में वॉन्टेड है। ब्लास्ट के फौरन बाद वह हनीफ यूके भाग गया था, उसके बाद से वह वहीं है। 55 वर्षीय हनीफ के मार्च 2010 में ग्रेटर मैनचेस्टर के एक दुकान में होने का पता चला था और उसे वहीं से गिरफ्तार भी कर लिया गया था। इससे ज्यादा अभी किसी के पास कोई सूचना नहीं है। 

3- रवि शंकरन: भारतीय भगोड़े रवि शंकरन नेवी वॉर रूम लीक मामले का मुख्य आरोपी है। अक्टूबर 2005 के नेवी वॉर के दौरान शंकरन पर इंडियन वॉर रूम की गुप्त जानकारी आर्म डीलर्स को लीक करने का आरोप लगा था। जिसके बाद वह सीबीआई के पूछताछ बचकर यूके भाग गया। खबरों के मुताबिक 2010 में इंटरपोल रेड कॉर्नर नोटिस के बाद शंकरन ने लंदन में सरेंडर कर दिया था। मोदी सरकार इसे वापस लाने के प्रयास में जुटी थी लेकिन जून 2015 में भारत के प्रयासों गहरा झटका लगा था, जब ब्रिटिश अदालत ने रवि शंकरन के प्रत्यर्पण की भारत की मांग खारिज कर दी थी। 

4-टाइगर मेमन: इसका पूरा नाम अब्दुल रज्जाक नादिम मेमन उर्फ टाइगर मेमन है। यह मुंबई ब्लास्ट का मुख्य आरोपी है। टाइगर मेमन इंटरपोल और सीबीआई दोनों की  मोस्ट वॉन्टेड लिस्ट में शामिल है। सीबीआई के मुताबिक टाइगर मेमन और उसके भाई दाऊद के भाई अनीस इब्राहिम के साथ मिलकर कंस्ट्रक्शन बिजनेस का काम करते हैं। आईएसआई द्वारा कथित रूप से पाकिस्तानी आइडेंटिटी दिए जाने के बाद उनका पाकिस्तान के कराची लाहौर में भी आना-जाना लगा रहता है। 


5- छोटा शकील:  इसको दाऊद इब्राहिम का दायां हाथ बोला जाता है। छोटा शकील दक्षिण एशियाई देशों दाउद के गैरकानूनी धंधे चलाता है। कुछ समय पहले मीडिया रिपोर्ट्स में ऐसा दावा किया गया था कि छोटा शकील की मौत हो चुकी है। हालांकि इस मामले में अभी तक कोई पुख्ता सबूत हाथ नहीं लगा है। 000 में शकील ने छोटा राजन पर हमले की योजना बनाने की बात कबूली थी।

6- नदीम सैफी: ये हिन्दी फिल्मों में एक संगीतकार है। इनकी जोड़ी संगीतकार श्रवण के साथ थी।  नदीम-श्रवण की जोड़ी काफी फेमस थी। ये दोनों पहली बार 1973 में एक दुसरे से मिले थे। इन दोनों ने 1989 तक 16 फिल्मो में संगीत दिया था लेकिन ये फिल्में 'B' ग्रेड की थी। फिर इनकी मुलाकात टी सीरिज कंपनी के निर्माता गुलशन कुमार से हुई। गुलशन कुमार ने इन्हे अपनी कंपनी में गाने का मौका दिया, तब इन्हें बॉलीवुड में एक अलग पहचान मिली।

12 अगस्‍त 1997 को मुंबई में एक मंदिर के बाहर गुलशन कुमार की गोली मारकर हत्‍या कर दी गई थी। गुलशन कुमार की हत्‍या में सह-संदिग्‍ध के तौर पर नदीम सैफी को नामजद किया गया था। हालांकि नदीम सैफी ने हमेशा खुद को निर्दोष बताते हुए यह कहा है कि उनका गुलशन कुमार हत्‍याकांड से किसी भी तरह का कोई लेना-देना नहीं है। इसके बाद वह लंदन चले गए। 
 

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Web Title: 5 Indian fugitive still living luxury abroad, Modi government promise to get back

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