आईसीसी द्वारा जिम्बाब्वे क्रिकेट को सस्पेंड करने से जिम्बाब्वे के अगले साल जनवरी में भारत दौरे पर खेली जाने वाली सीमित ओवरों की सीरीज पर भी संकट के बादल मंडराने लगे हैं।
आईसीसी बोर्ड ने अपनी सालाना बैठक में गुरुवार को अपने संविधान का उल्लंघन करने का हवाला देते हुए जिम्बाब्वे क्रिकेट को सस्पेंड कर दिया था।
जिम्बाब्वे को जनवरी में भारत दौरे पर तीन टी20 मैच खेलन हैं, जिसके मैच 5 जनवरी को गुवाहाटी, 7 जनवरी इंदौर और 10 जनवरी को पुणे में खेला जाने हैं।
अक्टूबर तक इंतजार के मूड में बीसीसीआई
बीसीसीआई ने कहा है कि वह इस मुद्दे पर अक्टूबर तक इंतजार करेगा और उसके बाद फैसला लेगा। बीसीसीआई के एक सीनियर अधिकारी ने पीटीआई से कहा, 'अभी हम किसी भी बैक-अप योजना के बारे में नहीं सोच रहे हैं। हम 16 अक्टूबर को होने वाली आईसीसी की त्रैमासिक बैठक का इंतजार करेंगे। उनको (जिम्बाब्वे) सब कुछ ठीक करने के लिए तीन महीने के समय दिया गया है, ऐसे में इंतजार करने में ही समझदारी है।'
हालांकि इस अधिकारी ने माना कि अगर अक्टूबर में जिम्बाब्वे क्रिकेट को आईसीसी से हरी झंडी नहीं मिल पाती है तो परिस्थिति थोड़ी मुश्किल हो सकती है। उन्होंने कहा, 'हां, ये हमारा समर्पित घरेलू विंडो है। उम्मीद है कि वे (जिम्बाब्वे) चीजें ठीक कर लें या फिर हमें कोई योजना बनानी होगी।'
जिम्बाब्वे पर बैन न हटने की स्थिति में बीसीसीआई को देखना होगा कि क्या उस समय कोई पूर्ण सदस्य देश (अफगानिस्तान, श्रीलंका, वेस्टइंडीज) भारत दौरे के लिए उपलब्ध है।
इस बैन से अब जिम्बाब्वे क्रिकेट टीम को आईसीसी से मिलने वाली फंडिंग रुक गई है और साथ ही इस देश की कोई भी टीम आईसीसी इवेंट्स में हिस्सा नहीं ले पाएगी।