क्या है एस-400 मिसाइल, भारत-रूस के सौदे पर क्यों बौखलाए हैं अमेरिका-चीन
By जनार्दन पाण्डेय | Published: October 4, 2018 03:51 PM2018-10-04T15:51:45+5:302018-10-04T17:41:01+5:30
S 400 missile system Russia and India deal: भारत की सीमाओं पर महज तीन एस 400 ट्रायम्स लगाकर पूरे पाकिस्तान पर नजर रखी जा सकती है। ना केवल नजर रखी जा सकती है बल्कि जरूरत पड़ने पर यहीं से उनपर निशाना लगा सकती है।
नई दिल्ली, 4 अक्टूबरः रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन बृहस्पतिवार को भारत आ रहे हैं। उनकी यात्रा कई आयामों सबसे अहम मकसद करीब 75 अरब रुपये की एस-400 मिसाइलें भारत को बेचना भी है। वह भारत यात्रा के दौरान ही इस सौदे पर हस्ताक्षर करेंगे।
लेकिन अमेरिका ने सीधे पर कह दिया है कि अगर भारत ऐसा करता है तो वह भारत पर कई तरह की पाबंदी लगा देगा। मामले में सीधी दखल डोनाल्ड ट्रंप दे रहे हैं। दूसरी ओर चीन भी भारत-रूस के इस सौदे पर नाखुशी जाहिर कर चुका है।
पर क्यों? आखिर दुनिया के दो सबसे बड़ी शक्तियां इस सौदे से क्यों घबरा रही हैं। असल में एस 400 ट्रायम्फ एयर डिफेंस सिस्टम एक सुरक्षा प्रणाली है, जिसके तहत एस 400 मिसाइलें हवा में ही दुश्मनी कार्रवाई को निशाना बनाकर उन्हें ध्वस्त कर देंगी।
इसमें कुल 8 मिसाइल लॉन्चर होते हैं। इससे 400 मिसाइलों को दागा जा सकता है। जबकि इसमें मस्ट प्रणाली होने चलते एक साथ 72 मिसाइलें लॉन्च कर सकते हैं। सोशल मीडिया में भी इस मिसाइल सिस्टम को लेकर कई तरह की चर्चाएं हैं। नीचे कुछ प्रमुख बिंदुओं में जानें, इस मिसाइल के भारत आने के क्या असर होंगे-
1. भारत की सीमाओं पर महज तीन एस 400 ट्रायम्स लगाकर पूरे पाकिस्तान पर नजर रखी जा सकती है। ना केवल नजर रखी जा सकती है बल्कि जरूरत पड़ने पर यहीं से उनपर निशाना लगा सकती है।
2. यह एक साथ 100 से 300 लक्ष्यों पर खयाल रख सकता है। इसमें इतनी संवेदनशील तकनीक का प्रयोग किया गया है कि बारीक हवाई खतरों को भी भांप सकता है।
3. यह अमेरिका निर्मित एफ-35 जैसे 6 लड़ाकू विमानों का अकेले सामना कर सकता है।
4. इसमें मोबाइल कमांडर लगाने की सुविधा है। ताकि कमांड पोस्ट अधिकारी अपने धरती पर मौजूद सुरक्षा अधिकारी से लगातार संपर्क में रहे।
5. इंडियन एक्सप्रेस की एक खबर के अनुसार इसकी इसकी रफ्तार 17000 किलोमीटर प्रति घंटे तक हो सकती है।
6. धरती से 30 किलोमीटर ऊपर उड़ते हुए धरती पर किसी लक्ष्य को निशाना बना सकता है। जबकि धरती की सतह पर यह 600 किलोमीटर दूर तक की लक्ष्य भेदने की धमता रखती है।
7. इसमें दुश्मनों के कई लड़ाकू विमान, क्रूज मिसाइल, ड्रोन आदि का एक साथ खात्मा कर सकती है।
भारत के पास फिलहाल इतनी क्षमता वाली कोई सुरक्षा प्रणाली नहीं है। भारत अभी स्पाइडर, आकाश और बराक से अपनी सुरक्षा करता है। लेकिन हाल के दिनों कई सेना के वरिष्ठ अधिकारियों ने सेना के पास हथियारों की कमी को लेकर बातें की थीं। राफेल विमानों को भी उसके लिए नाकाफी बताया था। एस-400 उनको ताकत देंगी।