#MeToo केंद्रीय मंत्री एमजे अकबर ने एक महिला के खिलाफ उतारे 97 वकील, सोशल मीडिया पर हो रहे हैं ट्रॉल
By पल्लवी कुमारी | Published: October 16, 2018 10:01 AM2018-10-16T10:01:14+5:302018-10-16T11:06:41+5:30
MJ Akbar trolled on social media: केन्द्रीय मंत्री एम जे अकबर ग्यारह महिला पत्रकारों ने #Metoo के तहत यौन शोषण के आरोप लगाए हैं। जिनमें से पांच महिला पत्रकारों ने अकबर के आरोप को खारिज करने के बाद कहा था कि वह अपनी कही हुई बात से पीछे नहीं हटेंगी।
केन्द्रीय मंत्री एम जे अकबर ने अपने ऊपर लगे यौन शोषण के सारे आरापों को खारिज करते हुए आरोप लगाने वाली महिलाओं को इसी तरह की कानूनी कार्रवाई की चेतावनी दी थी। जिसके बाद उन्होंने आरोपी लगाने वाली महिला पत्रकार प्रिया रमानी के खिलाफ मानहानी का केस दर्ज किया है। लेकिन केस दर्ज करते ही वह सोशल मीडिया पर ट्रोल हो गए, वजह है- एक महिला पत्रकार के खिलाफ एमजे अकबर ने 97 वकीलों की टीम रखी है।
दिल्ली के पटियाला हाउस कोर्ट में 15 अक्टूबर को दिए 'आपराधिक मानहानि केस' के वकालतनामे में एमजे अकबर के वकील ने लिखा है कि "इस केस में एमजे अकबर की तरफ से 97 वकील रखे गए हैं।' इस वकालतनामे की तस्वीर सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रही है।
इस केस के लिए एमजे अकबर की जो तैयारी है, ट्विटर पर लोगों उसकी आलोचना कर रहे है। सोशल मीडिया पर ये एक बहस का भी मुद्दा बन गया है कि क्या एक महिला पत्रकार के यौन शोषण के केस से निपटने के लिए इतनी बड़ी वकीलों की टीम रखी जाए...।
एमजे अकबर के इस ट्वीट के बाद महिला पत्रकार, निधि राजदान ने ट्वीट किया, " पढ़ा मैंने, एम जे अकबर के लीगल टीम का वकालतनाम, जिसमें पूरे 97 वकील हैं। हैरानी की बात ये है कि सिर्फ एक महिला के खिलाफ।''
MJ Akbar’s legal team says not all 97 lawyers will be appearing in the criminal defamation case
— Nidhi Razdan (@Nidhi) October 15, 2018
महिला पत्रकार मृणाल पांडे ने भी ट्वीट किया है, 97 वकीलों की टीम में 56 भी जोड़ दीजिए , तब भी सवा करोड़ देश की जनता से तो बहुत ही कम होगा।
Usmein 56 bhi jod deejiye tau bhi sava sau karod se bahut kum hai !! https://t.co/knrjRZr7gM
— Mrinal Pande (@MrinalPande1) October 15, 2018
वहीं, कार्तिक नाम के एक वेरिफाइड अकाउंट से लिखा गया है, ''प्रिया रमानी और देश की जनता VS एम जे अकबर और 97 वकील साथ में देश की सरकार।"
Priya Ramani + The people of India
— Karthik (@beastoftraal) October 15, 2018
vs.
M.J.Akbar + 97 lawyers + the Government of India. https://t.co/7ZhdDUlmP5
वहीं जानी-मानी वकील इंदिरा ने लिखा है, 'कोई हैरानी की बात नहीं है, जब स्वतंत्र कुमार ने हाई कोर्ट में मानहानी का केस फाइल किया था तो 21 वकीलों की टीम थी, यहां बस संख्या बढ़ गई है। टीम तो वही है।'
No surprises , when Swatantra Kumar filed for defamation in high court he had 21, numbers increase , team remains the same https://t.co/Wx0DTL7oea
— indira jaising (@IJaising) October 15, 2018
आप देखें कुछ ऐसे सोशल मीडिया के रिएक्शन
In a sexual harassment case (in this case 14 testimonies ) against a member of the Council of Ministers, is everything about legality? Is propriety dead? What about value systems? #MJAkbar
— navika kumar (@navikakumar) October 16, 2018
97 against one @priyaramani .let's consider it as a billion v/s 97..#MJAkbar#MeToopic.twitter.com/nXCMQEF99m
— Harshil Shah (@harshilshah0089) October 16, 2018
Msg from mother of two young women: "He is clinging to the words "didn't do" ... what is his definition of "didn't do"???? #MJAkbar#MeToo#MeTooIndia This 👇 is the legal definition that he clearly believes does not apply to powerful me pic.twitter.com/z8SN7offXO
— anjali mody (@AnjaliMody1) October 16, 2018
The fact that #MJAkbar had to hire 97 advocates to defend him against a single woman should say it all.#MeTooIndia
— Mayuri⭐ (@Mayuri6) October 16, 2018
1 woman against 97 lawyers. I don’t want my tax payer money going into protecting a predator dear GOI. It’s high time you understood that #MJAkbar will go down and so will you, for supporting him. https://t.co/wJJhJM47IV
— Ritu (@ritz_harish) October 16, 2018
67 साल के एमजे अकबर ने अफ्रीका की यात्रा से लौटने के कुछ घंटे बाद ही बयान दिया था, ''मेरे खिलाफ लगाए गये दुर्व्यवहार के आरोप झूठे और मनगढंत है। इन झूठे और बेबुनियाद आरोपों से मेरी छवि को अपूर्णीय क्षति पहुंची है।''
पत्रकार प्रिया रमानी ने कहा- अकबर डरा धमकाकर और प्रताड़ित करके उन्हें चुप कराना चाहते हैं।
पत्रकार प्रिया रमानी ने सोमवार (15 अक्टूबर) को कहा कि वह केंद्रीय मंत्री एम जे अकबर द्वारा उनके खिलाफ अदालत में दायर मानहानि की शिकायत का सामना करने के लिए तैयार हैं और उन्होंने अकबर के बयान पर निराशा जताते हुए कहा कि इसमें ‘‘पीड़ित जिस सदमे और भय से गुजरे हैं’’ उसका कोई ख्याल नहीं रखा गया।
My statement pic.twitter.com/1W7M2lDqPN
— Priya Ramani (@priyaramani) October 15, 2018
उन्होंने यह भी कहा कि अकबर ‘‘डरा धमकाकर और उत्पीड़न’’ करके पीड़ितों को ‘‘चुप’’ कराना चाहते हैं। अफ्रीका से लौटने के बाद विदेश राज्यमंत्री ने कई महिलाओं द्वारा उनके खिलाफ लगाए यौन उत्पीड़न के आरोपों को रविवार को खारिज करते हुए इन्हें ‘‘झूठा, मनगढ़ंत और बेहद दुखद’’ बताया।
रमानी ने कहा, ‘‘यह कहने की जरुरत नहीं है कि मैं अपने खिलाफ लगे मानहानि के आरोपों के खिलाफ लड़ने के लिए तैयार हूं क्योंकि सच ही मेरा बचाव है।’’
प्रिया रमानी का क्या है आरोप
प्रिया रमानी का कहना है, जह वह एमजे अकबर के साथ काम करती थी तो अकबर उन्हें बेवजह होटल के कमरे में मिलने के लिए बुलाया करते थे। वहां जाने के बाद वह गाने बजाकर शराब पीने के लिए ऑफर करते थे। ऐसा कई बार हो चुका है।
ये हैं वो ग्यारह महिला पत्रकार, जिन्होंने अकबर के उपर यौन शोषण के आरोप लगाए हैं
पत्रकार प्रिया रमानी के अलावा यूके बेस्ड पत्रकार रुथ डेविड, यूएस बेस्ड पत्रकार डीपी कांप , सबा नकवी, संपादक गज़ाला वहाब, सुतापा पॉल, शुमा राहा, फ्रीलांस जर्नलिस्ट कनिका गहलोत, प्रेरणा सिंह बिंद्रा, कादंबरी वेड, सुपर्णा शर्मा ने अकबर पर यौन उत्पीड़न के आरोप लगाए हैं।