वाल्मीकि जयंती 2019: 'हमेशा सुख ही मिले ऐसा कदापि सम्भव नहीं', पढ़िए वाल्मीकि के 15 अनमोल वचन
By मेघना वर्मा | Published: October 12, 2019 05:03 PM2019-10-12T17:03:53+5:302019-10-12T17:03:53+5:30
Valmiki Quotes in Hindi(वाल्मीकि जयंती अनमोल वचन): एक मान्यता ये भी प्रचलित है कि जब भगवान राम ने मां सीता को त्याग दिया था तो महर्षि वाल्मीकि ने ही उन्हें शरण दी थी।
हिन्दू धर्म में रामायण की काफी मान्यता है। रामायण की कहानियों को सुनकर सभी बड़े भी होते हैं। इस प्राचीन ग्रंथ की रचना महर्षि वाल्मिकी ने की थी। हिन्दू धर्म में संतों में सबसे अव्वल दर्जा महर्षि वाल्मीकि को ही दिया गया है। बताया जाता है कि संस्कृत भाषा के सबसे पहले कवि वाल्मीकि ही थे जिन्होंने रामायण की रचना की थी।
रामायण के रचयिता महर्षि वाल्मिकी की याद में हर साल उनकी जयंती मनायी जाती है। हिंदी तिथि के अनुसार हर साल अश्विन मास की पूर्णिमा को ये जंयती मनाई जाती है। इस साल वाल्मिकी जयंती 13 अक्टूबर को मनाया जाएगा। वाल्मीकि ने ना सिर्फ रामायण की रचना की बल्कि अपने अनुस्वरों से जीवन जीने का सलीका बताया है।
नीचे दिए है उनके वचनों को आप भी जरूर पढ़ें।
1. सत्य ही सबका मूल है और सत्य से बढकर कुछ भी नहीं है।
2. माता पिता की सेवा और उनकी आज्ञा पालन जैसा धर्म कोई नहीं है।
3. जन्म देने वाली मां और जन्मभूमि स्वर्ग से भी बढकर होती है।
4. सहयोग करने वाले और सबसे मिलकर रहने वाले की सदैव जीत होती है।
5. यदि आप का संकल्प दृढ़ है तो कोई भी काम आसान बना सकते है।
6. हमेशा सुख ही मिले ऐसा कदापि सम्भव नहीं है।
7. जो लोग गलत रास्ते पर चलते है उन्हें कभी भी सच्चा ज्ञान नहीं प्राप्त होता है।
8. यदि आपका चरित्र उत्तम नहीं है तो आप कभी भी महान नहीं बन सकते हैं।
9. दुःख और संकट की घड़ी हमेशा बिना बताये और बिना बुलाये ही आते है।
10. क्रोध से व्यक्ति के गुणों का नाश हो जाता है इसलिए हमेसा क्रोध करने से बचना चाहिए।
11. माता पिता की सेवा करना सदैव कल्याणकारी होता है।
12. दुखी लोग कौन सा पाप नहीं करते है।
13. संसार में ऐसे बहुत कम लोग होते है जो भले ही कठोर हो लेकिन हित की बात कहते है।
14. इस दुनिया में दुर्लभ नाम की कोई चीज नही है लेकिन अगर उत्साह का साथ न छोड़ा जाय।
15. घमंड और अहंकार मनुष्य का सबसे बड़े दुश्मन है जो सोने के हार को भी मिट्टी का बना देते हैं।