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Panchak: सावधान! लॉकडाउन के बीच कल से लग रहा है पंचक काल, घर बैठे भूलकर भी ना करें ये काम

By मेघना वर्मा | Updated: April 16, 2020 11:27 IST

देश में कोरोना वायरस की स्थिति को देखते हुए लॉकडाउन की तिथि को 3 मई तक बढ़ा दिया गया है। वहीं इसी लॉकडाउन के बीच पंचक तिथि कल यानी 17 अप्रैल से लग रही है।

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ठळक मुद्देजब चन्द्रमा कुंभ और मीन राशि पर रहता है उसी समय को पंचक कहते हैं।इस दिन कुछ विशेष प्रकार के कार्य नहीं किए जाते हैं। 

सनातन धर्म में कोई भी कार्य करने से पहले शुभ ग्रह और किसी भी काम को करने से पहले ग्रह, नक्षत्र का खास ध्यान रखा जाता है। वहीं इस बात का भी ध्यान रखा जाता है कि कोई भी शुभ कार्य पंचक वाले दिनों में ना किया जाए। हर मीहने आने वाली पंचक तिथी के दिन बहुत सी चीजों का ध्यान रखा जाता है।

अप्रैल के महीने में पंचक की शुरुआत 17 अप्रैल से हो रही है 22 अप्रैल तक चलने वाली है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार महीने में पड़ने वाले पंचक यानी इस पांच दिनों को अशुभ बताया जाता है। इसीलिए इस दिन कुछ विशेष प्रकार के कार्य नहीं किए जाते हैं। 

क्या होता है पंचक? (What is Panchak?)

बताया जाता है कि जब चन्द्रमा कुंभ और मीन राशि पर रहता है उसी समय को पंचक कहते हैं। कहा जाता है कि इस दौरान कोई भी शुभ काम नहीं करना चाहिए। पंचक के दौरन जिस समय घनिष्ठा नक्षत्र हो उस समय घास, लकड़ी आदि ईंधन को भी एकत्रित नहीं करना चाहिए।

कब है पंचक

पंचक तिथि प्रारंभ - 17 अप्रैल, 12:18 PMपंचक तिथि समाप्त - 22 अप्रैल, 01:18 PM

पंचक पर ना करें ये काम

1. हिंदू धर्म में मान्यता है कि पंचक के दिनों में चारपाई बनाना अच्छा नहीं होता है। अगर आपने इन दिनों में चारपाई बनाई या बनवाई तो आप पर बड़ा संकट आ सकता है।2. पंचक काल में जिस समय घनिष्ठा नक्षत्र हो उस समय घर या कही पर लकड़ी, घास या फिर जलाने वाली वस्तुएं नही एकत्र करनी चाहिए। ऐसा करने से आग लगने का भय रहता है। माना जाता है कि अग्नि पंचक वाला दिन आग का होता है।

3. ऐसी भी मान्यता है कि जब पंचक शुरू हो तब किसी यात्रा से बचना चाहिए। खासकर दक्षिण दिशा की ओर बिल्कुल भी न जाएं। दरअसल, दक्षिण दिशा को यम की दिशा माना जाता है। जिसके कारण आपका यात्रा करना दुर्घटना या कोई विपत्ति ला सकता है।4. घर के निर्माण के समय पंचक काल में छत नहीं डाला जाना चाहिए। इससे नुकसान और घर में क्लेश का वातावरण रहता है। इस दौरान गृह प्रवेश भी नही करना चाहिए।5. किसी भी तरह का शुभ कार्य जैसे कोई विशेष पूजा या समारोह को भी पंचक तिथि में टाल देना ही बेहतर है। 

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