जदयू ने कहा- केन्द्रीय मंत्री उपेन्द्र कुशवाहा को NDA से जाना है तो जायें
By एस पी सिन्हा | Published: November 16, 2018 05:51 PM2018-11-16T17:51:40+5:302018-11-16T17:51:40+5:30
वशिष्ठ नारायण सिंह के बयान से भाजपा ने किनारा कर लिया है। पार्टी के नेता संजय टाइगर ने कहा है कि उपेन्द्र कुशवाहा एनडीए के महत्वपूर्ण अंग हैं और हमलोग बड़ा लक्ष्य लेकर चल रहे हैं।
बिहार में रालोसपा प्रमुख उपेंद्र कुशवाहा को लेकर राजनीति जारी है। पिछले कई दिनों से कुशवाहा को लेकर चुप्पी साधे जदयू ने भी अब कुशवाहा पर बडा बयान दिया है। जदयू के प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह ने कहा है कि किसी के जाने से कोई फर्क नहीं पड़ता है। एनडीए से जाने वाले को कौन रोक सकता है।
इस बयान के सामने आने के बाद रालोसपा को एनडीए से बाहर किए जाने की तस्वीर साफ हो गई है। प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह ने कहा कि एनडीए मजबूत है और काफी बेहतर स्थिति में है। वहीं, वशिष्ठ नारायण सिंह ने रालोसपा के विधायकों और एक सांसद के जदयू में शामिल होने की अटकलों को और तेज कर दिया है।
उन्होंने कहा कि अगर कोई जदयू की नीतियों के आधार पर आना चाहे तो पार्टी में उनका स्वागत है। उन्होंने कहा कि राजनीति में हर व्यक्ति एक दूसरे के संपर्क में रहता है इसलिए किसी भी संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता है। वशिष्ठ नारायण ने उपेंद्र कुशवाहा को लेकर कहा कि वो उन पर कोई टिप्पणी नहीं करने वाले।
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने ऐसा कोई बयान दिया ही नहीं जिसे तूल दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि कोई खुद दूसरी धारा में जाना चाहता है तो उसे नहीं रोक जा सकता है। कोई किसी भी समाज के ठेकेदार नहीं बन सकता है।
जाहिर है पार्टी के कद्दावर नेता के इस बयान के बाद बिहार में सियासत तेज हो गई है। हालांकि रालोसपा ने उनके बयान को गंभीरता से नहीं लेने की बात कहते हुए पलटवार किया है। रालोसपा के कार्यकारी अध्यक्ष नागमणि ने उनकी पार्टी को तोड़ने की साजिश करने का आरोप लगाते हुए वशिष्ठ नारायण सिंह के लिए आपत्तिजनक शब्द का इस्तेमाल किया।
उन्होंने उन्हें नीतीश कुमार का रबर स्टाम्प बताया और दावा किया कि अगले दो दिन में बिहार में बड़ा धमाका होने वाला है। नागमणि ने कहा कि भाजपा की साख पूरे देश में गिर रही है, इसलिए वह हमारी जान छोड़ दे तो बेहतर रहेगा। उन्होंने कहा कि हमने भाजपा को अंतिम अल्टीमेटम दे दिया है।
उन्होंने कहा कि हम जिधर भी जाएंगे वह गठबंधन मजबूत होगा। वहीं, रालोसपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रदीप मिश्र ने कहा कि उनकी पार्टी वशिष्ठ नारायण सिंह की बातों को गंभीरता से नहीं लेती है। उन्होंने कहा कि उनकी बात भाजपा से हो रही है क्योंकि रालोसपा का गठबंधन भाजपा से ही है। उन्होंने ये भी दावा किया कि मामले को खत्म करने के लिए जरूरत हुई तो पार्टी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से भी बात करेगी।
हालांकि वशिष्ठ नारायण सिंह के बयान से भाजपा ने किनारा कर लिया है। पार्टी के नेता संजय टाइगर ने कहा है कि उपेन्द्र कुशवाहा एनडीए के महत्वपूर्ण अंग हैं और हमलोग बड़ा लक्ष्य लेकर चल रहे हैं। उन्होंने उम्मीद जताई कि कुशवाहा भाजपा के साथ ही रहेंगे। वैसे दूसरी ओर, खबर है कि सीट शेयरिंग को लेकर अमित शाह से मिलने दिल्ली पहुंचे कुशवाहा से अमित शाह ने मिलने से इनकार कर दिया है। कुशवाहा गुरुवार को दिल्ली पहुंचे थे और अमित शाह से मिलने का अपॉन्टमेंट लिया था।
सूत्रों की मानें तो अमित शाह ने चार राज्यों में होने वाले चुनावों में व्यस्त होने का हावाला देते हुए मिलने से मना कर दिया है। वहीं कल पटना में रालसोसपा राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठ होने वाली है जिसमें कयास लगाया जा रहा है कि कुशवाहा अपने पत्ते खोल सकते हैं। बैठक से पूर्व यह कयास लगाया जा रहा है कि बैठक में उपेंद्र कुशवाहा एनडीए को लेकर कोई बड़ा फैसला ले सकते हैं।
उल्लेखनीय है कि सीट शेयरिंग को लकर उछली चर्चा के बाद कुशवाहा पहले भी अमित शाह से मिलने दिल्ली गए थे। लेकिन कुशवाहा की शाह से मुलाकात नहीं हो पाई थी। वहीं, नीतीश कुमार और कुशवाहा के बीच तल्खियां बढ़ने से सियासी महकमें में हलचल हो गई है।