Ram Mandir Consecration: अपने भाषण में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भगवान राम से क्यों मांगी क्षमा?

By रुस्तम राणा | Published: January 22, 2024 02:55 PM2024-01-22T14:55:25+5:302024-01-22T14:56:52+5:30

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, "मैं आज प्रभु श्री राम से क्षमा याचना भी करता हूं। हमारे पुरुषार्थ, त्याग, तपस्या में कुछ तो कमी रह गई होगी कि हम इतनी सदियों तक यह कार्य कर नहीं पाए। आज वह कमी पूरी हुई है। मुझे विश्वास है कि प्रभु श्री राम आज हमें अवश्य क्षमा करेंगे।"

Ram Mandir Consecration Why did Prime Minister Narendra Modi apologize to Lord Ram in his speech? | Ram Mandir Consecration: अपने भाषण में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भगवान राम से क्यों मांगी क्षमा?

Ram Mandir Consecration: अपने भाषण में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भगवान राम से क्यों मांगी क्षमा?

अयोध्या: अयोध्या मंदिर में रामलला की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा के पश्चात पीएम मोदी ने अपने संबोधन में देशवासियों को बधाई दी। अपने भाषण में पीएम मोदी ने कहा, "इस शुभ घड़ी की आप सभी और समस्त देशवासियों को बहुत-बहुत बधाई। मैं अभी गर्भगृह में ऐश्वर्य चेतना का साक्षी बनकर आप सबके सामने उपस्थित हुआ हूं। कितना कुछ कहने को है लेकिन कंठ अवरुद्ध है।"

उन्होंने कहा, "हमारे राम लला अब टेंट में नहीं रहेंगे, वे अब दिव्य मंदिर में रहेंगे। मेरा पक्का विश्वास है कि जो घटित हुआ है उसकी अनुभूति देश और दुनिया के कोने-कोने में रामभक्तों को हो रही होगी। यह क्षण अलौकिक है... यह माहौल, यह घड़ी हम सब पर प्रभु श्री राम का आशीर्वाद है।" प्राण प्रतिष्ठा के मुख्य यजमान ने कहा, "आज से हजार साल बाद भी लोग आज की इस तारीख की, आज के इस पल की चर्चा करेंगे। ये कितनी बड़ी राम कृपा है कि हम सब इस पल को जी रहे हैं और इसे साक्षात घटित होते देख रहे हैं।" इस दौरान उन्होंने प्रभुश्रीराम से क्षमा याचना भी की। 

उन्होंने कहा, "मैं आज प्रभु श्री राम से क्षमा याचना भी करता हूं। हमारे पुरुषार्थ, त्याग, तपस्या में कुछ तो कमी रह गई होगी कि हम इतनी सदियों तक यह कार्य कर नहीं पाए। आज वह कमी पूरी हुई है। मुझे विश्वास है कि प्रभु श्री राम आज हमें अवश्य क्षमा करेंगे।" उन्होंने कहा, "उस कालखंड में तो वियोग सिर्फ 14 वर्षों का था... इस युग में तो अयोध्या और देशवासियों ने सैकड़ो वर्षों का वियोग सहा है। हमारी कई पीढ़ियों ने वियोग सहा है।"

भगवान राम की महिमा का गुणगान करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा, "हर युग में लोगों ने राम को जीया है। हर युग में लोगों ने अपने-अपने शब्दों में, अपनी तरह से राम को अभिव्यक्त किया है। यह राम रस जीवन प्रवाह की तरह निरंतर बहता रहता है।" उन्होंने कहा, "राम भारत की आस्था हैं, राम भारत का आधार हैं, राम भारत का विचार हैं, राम भारत का विधान हैं, राम भारत की चेतना हैं, राम भारत का चिंतन हैं, राम भारत की प्रतिष्ठा हैं, राम भारत का प्रताप हैं, राम प्रभाव हैं, राम प्रवाह हैं, राम नेति भी हैं, राम नीति भी हैं, राम नित्यता भी हैं, राम निरंतरता भी हैं, राम व्यापक हैं, विश्व हैं, विश्वात्मा हैं इसलिए जब राम की प्रतिष्ठा होती है तो उसका प्रभाव शताब्दियों तक नहीं होता उसका प्रभाव हज़ारों वर्षों तक होता है।"

Web Title: Ram Mandir Consecration Why did Prime Minister Narendra Modi apologize to Lord Ram in his speech?

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