डीकेजी में 4 जवानों की जान लेने वाले आतंकियों का अब तक कोई सुराग नहीं, हजारों सैनिक उतरे हैं मैदान में
By सुरेश एस डुग्गर | Published: December 28, 2023 03:44 PM2023-12-28T15:44:01+5:302023-12-28T15:45:24+5:30
सुरक्षाबलों ने गांवों के अलावा जंगलों, पहाड़ों व नालों की छानबीन की, परंतु शाम तक किसी संदिग्ध वस्तु अथवा व्यक्ति के बारे में कोई जानकारी नहीं मिल सकी। तीन नागरिकों की कथित टार्चर से हुई मौतों के उपरांत राजौरी तथा पुंछ में इंटरनेट भी बंद है।
जम्मू: आठ दिन पहले आतंकियों ने एलओसी से सटे राजौरी और पुंछ के बीच पड़ते डेरा की गली के इलाके में चार सैनिकों की जान ले ली थी। हमलावर आतंकियों की संख्या 8 बताई जाती रही है। उनकी तलाश में हजारों सैनिक जुटे हुए हैं। पर कोई हाथ नहीं आया है।
सेना ने इसकी पुष्टि की है कि राजौरी तथा पुंछ जिलों में आतंकी हमलों, आतंकियों की संख्या तथा उनकी गतिविधियों में आई तेजी से निपटने को सेना की एक और ब्रिगेड को कूच करने का आदेश दिया जा चुका है। आठ दिन पहले ही सैनिकों ने अन्य क्षेत्रों से मूव करना आरंभ किया था और अतिरिक्त सैनिकों के साथ मिलकर उन आतंकियों की तलाश अभी भी जारी है जिनके प्रति दावा किया जा रहा है वे इन दोनों जिलों के जंगलों में बनी प्राकृतिक गुफाओं में डेरा जमाए हुए हैं।
यही नहीं आतंकी हमले के 24 घंटे के भीतर तीन नागरिकों की कथित टार्चर से हुई मौतों के उपरांत राजौरी तथा पुंछ में इंटरनेट भी बंद है। वह कब तक चालू होगा कोई नहीं जानता क्योंकि अधिकारी कहते हैं कि दोनों जिलों में अभी भी आतंकी खतरा मंडरा रहा है। इसी खतरे के चलते पुंछ के शाहपुर सेक्टर में एलओसी के पास तीन से चार संदिग्ध देखे जाने के बाद सुरक्षाबलों ने इलाके को दिनभर खंगाला।
सुरक्षाबलों ने गांवों के अलावा जंगलों, पहाड़ों व नालों की छानबीन की, परंतु शाम तक किसी संदिग्ध वस्तु अथवा व्यक्ति के बारे में कोई जानकारी नहीं मिल सकी। जानकारी के अनुसार, सुरक्षाबलों को शाहपुर सेक्टर में संदिग्ध देखे जाने की सूचना के बाद एसओजी पुंछ, सीआरपीएफ और सेना ने क्षेत्र की घेराबंदी कर संदिग्धों की तलाश शुरू कर दी तथा संदिग्धों को लेकर लोगों से पूछताछ की। दरअसल एलओसी से सटे उक्त क्षेत्र आतंकियों की ओर से सुरक्षित घुसपैठ के बाद आगे बढ़ने के रूट के तौर पर प्रयोग किए जाते रहे हैं।
इसके चलते सुरक्षाबलों ने दिन भर इलाके को खंगाला। वहीं, बर्फबारी न होने के चलते आतंकियों की घुसपैठ के संभावित क्षेत्र अभी बंद नहीं हो पाए हैं। इसे ध्यान में रखते हुए दोनों जिलों में सेना की ओर से पहले से चौकसी बढ़ाई हुई है।