गोरखपुर के भाजपा विधायक को पार्टी ने दिया नोटिस, जानें क्या है वजह
By भाषा | Published: August 28, 2020 05:10 AM2020-08-28T05:10:33+5:302020-08-28T05:10:33+5:30
प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह के निर्देश पर प्रदेश महामंत्री जेपीएस राठौर ने डॉ. राधा मोहन दास अग्रवाल को कारण बताओ नोटिस जारी करते हुए कहा कि पार्टी आचरण विरुद्ध आपके द्वारा सरकार व संगठन की छवि को धूमिल करने वाली पोस्ट सोश़ल मीडिया पर की जा रही है।
लखनऊ: भाजपा की रीति-नीति व सिद्धांतों के विरुद्ध आचरण करने के आरोप में गोरखपुर शहर के विधायक डॉ. राधा मोहन दास अग्रवाल को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है। भाजपा कार्यालय द्वारा बृहस्पतिवार को जारी बयान के मुताबिक पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह के निर्देश पर प्रदेश महामंत्री जेपीएस राठौर ने डॉ. राधा मोहन दास अग्रवाल को कारण बताओ नोटिस जारी करते हुए कहा कि पार्टी आचरण विरुद्ध आपके द्वारा सरकार व संगठन की छवि को धूमिल करने वाली पोस्ट सोश़ल मीडिया पर की जा रही है।
बयान में विधायक से कहा गया कि'' आपका यह कृत्य अनुशासनहीनता की श्रेणी में आता है। उक्त के संदर्भ में आप अपना स्पष्टीकरण एक सप्ताह के भीतर पार्टी कार्यालय भेजने का कष्ट करें।'' गौरतलब है कि गोरखपुर की सदर सीट से विधायक दास अग्रवाल ने 21 अगस्त को बताया था कि गोरखपुर के एक पार्टी कार्यकर्ता के रिश्तेदार के हत्यारोपी को पकड़ने में लखीमपुर खीरी पुलिस नाकाम साबित हुई है तब उन्होंने टिवटर का सहारा लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को इसकी जानकारी दी।
विधायक ने कहा था कि उन्होंने इस संबंध में कई बार अधिकारियों से बात करने का प्रयास किया लेकिन जब उन्हें कोई उचित समाधान नही मिला तब उन्होंने बृहस्पतिवार को मुख्यमंत्री को ट्वीट किये और जब उनकी समस्या का समाधान हो गया तब उन्होंने देर रात ट्वीट हटा दिया।
दास अग्रवाल ने बताया था कि 17 अगस्त को मैने अपर मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेशक हितेश चंद्र अवस्थी को पांच बार फोन किया लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। तब मैंने टिवटर का सहारा लिया इसके बाद अधिकारियों ने फोन कर कार्रवाई का आश्वासन दिया। उन्होंने कहा था कि जब लखीमपुर खीरी पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया तब मैंने ट्वीट हटा दिया।
भाजपा कार्यकर्ता मरेंद्र प्रताप के रिश्तेदार अजीत प्रताप की लखीमपुर खीरी में 25 जून की गोली लगने से मौत हो गयी थी। विधायक अग्रवाल ने कहा था कि ''यह एक विधायक का काम है कि वह अपनी पार्टी के कार्यकर्ताओं के काम को गंभीरता से लें। मुख्यमंत्री योगी का भी निर्देश है कि पार्टी के विधायक और सांसद अपने क्षेत्र के कार्यकर्ताओं के साथ खड़े हों और उन्हें इंसाफ दिलायें।