बोलीं रक्षामंत्री सीतारमण, हिन्द महासागर में भारत-चीन की नौसेनाओं के बीच कोई नहीं है तनाव
By भाषा | Published: May 9, 2018 05:13 AM2018-05-09T05:13:52+5:302018-05-09T05:13:52+5:30
भारत के रणनीतिक हितों के लिए हिन्द महासागर काफी अहम है और यह भारतीय नौसेना का बैकयार्ड माना जाता है। पिछले वर्षों में क्षेत्र में चीनी उपस्थिति में बढ़ोतरी देखने को मिली है।
नई दिल्ली, 9 मईः रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को कहा कि रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण हिन्द महासागर क्षेत्र ( आईओआर ) में भारत और चीन की नौसेनाओं के बीच कोई तनाव नहीं है। हिन्द महासागर क्षेत्र में चीन और भारत की नौसेनाओं के बीच 'टकराव' से संबंधित सवाल पर सीतारमण ने मुद्दे को कमतर करना चाहा और कहा कि हिन्द महासागर में कोई तनाव नहीं है।
भारत के रणनीतिक हितों के लिए हिन्द महासागर काफी अहम है और यह भारतीय नौसेना का बैकयार्ड माना जाता है। पिछले वर्षों में क्षेत्र में चीनी उपस्थिति में बढ़ोतरी देखने को मिली है। चीन ने दक्षिणी पाकिस्तान में ग्वादर बंदरगाह और अफ्रीका के जिबूती में एक नौसैन्य अड्डे का निर्माण कर हिन्द महासागर क्षेत्र में अपनी मौजूदगी बढ़ाई है। क्षेत्र में जलदस्यु रोधी अभियानों के लिए चीनी पोत भी तैनात हैं।
भारतीय नौसेना ने गत 16 अप्रैल को हिन्द महासागर क्षेत्र में 'हैप्पी हंटिंग' कहकर चीन की पीएलए का टि्वटर पर स्वागत किया था। पिछले महीने अपनी चीन यात्रा तथा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और विदेश मंत्री सुषमा स्वराज की चीन यात्रा के बारे में पूछे जाने तथा यह पूछे जाने पर कि क्या रणनीति में कोई बदलाव आया है, सीतारमण ने कहा, 'हम बात कर रहे हैं, हम एक - दूसरे से मिल रहे हैं - और यह एक बड़ा बदलाव है।'
दोनों देशों की सेनाओं के बीच पिछले साल सिक्किम के पास डोकलाम में 73 दिन तक गतिरोध चला था। इससे दोनों देशों के बीच तनाव उत्पन्न हो गया था। यह पूछे जाने पर कि क्या सेना को सीमाओं पर आक्रामक न होने का निर्देश दिया गया है, सीतारमण ने कहा कि वह इससे अवगत नहीं हैं।