मोदी कैबिनेट में शामिल होने को लेकर बोले नीतीश- 'जदयू और भाजपा के बीच न कोई विवाद और न भ्रम'

By एस पी सिन्हा | Published: June 10, 2019 05:23 PM2019-06-10T17:23:25+5:302019-06-10T17:23:25+5:30

नीतीश कुमार ने कहा कि हम बुनियादी सिद्धांतों से कोई समझौता नहीं करते हैं और जदयू विवादित मुद्दों पर अपना विरोध जताती रहेगी. धारा 370, राम मंदिर निर्माण को लेकर हमार स्टैंड क्लियर है, इसमें कोई कन्फ्यूजन नहीं है.

nitish kumar comments joining on Modi cabinet, confusion between JDU and BJP | मोदी कैबिनेट में शामिल होने को लेकर बोले नीतीश- 'जदयू और भाजपा के बीच न कोई विवाद और न भ्रम'

मोदी कैबिनेट में शामिल होने को लेकर बोले नीतीश- 'जदयू और भाजपा के बीच न कोई विवाद और न भ्रम'

Highlightsनीतीश कुमार ने कहा कि जब हम बिहार में एनडीए के साथ हुए तो भी सरकार में शामिल होने का प्रस्ताव हमें आया था.नीतीश कुमार ने कहा कि विधानसभा चुनाव में सिर्फ डेढ़ साल बचे है, ऐसे में वह सिर्फ काम पर ध्यान देना चाहते हैं. 

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने यह साफ किया है केंद्र सरकार में शामिल होने को लेकर जदयू और भाजपा के बीच न तो कोई विवाद है और न ही भ्रम. लोक संवाद में लोगों की बातें सुनने के बाद पत्रकारों से बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि भाजपा के साथ हमारा कोई मतभेद नहीं है. हमारा जैसा पहले संबंध था वैसा ही मजबूत संबंध आज भी है. बिहार में एनडीए में सबकुछ ठीक है. 

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने चुनाव की तैयारी के दौरान मीडिया या कहीं भी कोई राजनीतिक बात नहीं करने का आग्रह किया है. उन्होंने चुनाव प्रचार के दौरान गिरिराज के बयानों पर कहा कि चुनाव में जनता अपना फैसला सुना चुकी है. हमने बुनियाद और विचार से ना कभी समझौता किया है और ना ही करेंगे. साथ ही नीतीश कुमार ने कहा कि विधानसभा चुनाव में सिर्फ डेढ़ साल बचे है, ऐसे में वह सिर्फ काम पर ध्यान देना चाहते हैं. 

उन्होंने कहा कि चुनाव के तीन महीने पहले तक मुझे काम करने में दिलचस्पी है. केन्द्र के मंत्रिमंडल में जदयू के नहीं शामिल होने पर बिहार के विकास पर प्रभाव पड़ने की किसी भी संभावना से इंकार करते हुए उन्होंने कहा कि अगले पांच साल तक ऐसे सभी पिछडे राज्यों के विकास के लिए पहल की जानी चाहिए, जिससे ऐसे पिछडे राज्यों को विकसित राज्यों की श्रेणी में लाया जा सके. मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मेरे जो संबंध पहले थे आज भी वैसे ही हैं. हम दोनों के आपसी संबंध काफी बेहतर हैं. उन्होंने कहा कि चुनाव के दौरान मेरे खिलाफ क्या-क्या नहीं बोला गया? लेकिन मैं चुप रहा और मेरी चुप्पी के बाद जनता ने इसका करारा जवाब दिया. मैंने चुनाव में ज्यादा नहीं बोलने का प्रयोग किया था, जो सफल रहा है.

नीतीश कुमार ने कहा कि हम बुनियादी सिद्धांतों से कोई समझौता नहीं करते हैं और जदयू विवादित मुद्दों पर अपना विरोध जताती रहेगी. धारा 370, राम मंदिर निर्माण को लेकर हमार स्टैंड क्लियर है, इसमें कोई कन्फ्यूजन नहीं है. बिहार के लोगों ने एनडीए को जबर्दस्त समर्थन दिया है काम के आधार पर. उन्होंने कहा कि मंत्रिमंडल में शामिल होने और न होने को लेकर भ्रम फैलाने की जरूरत नहीं है और इस मामले में हमारी कोई नाराजगी नहीं है. उन लोगों ने कई बार बात की, लेकिन हमने मना किया और हमें अब मंत्रिमंडल में शामिल होने की कोई अपेक्षा भी नहीं है.

नीतीश कुमार ने कहा कि जब हम बिहार में एनडीए के साथ हुए तो भी सरकार में शामिल होने का प्रस्ताव हमें आया था. मुख्यमंत्री ने कहा कि बिहार के लोगों ने हमें भरपूर समर्थन दिया है और सारा काम अब अच्छे से हो रहा है. नीतीश कुमर ने केंद्र की योजानाओं का जिक्र करते हुए कहा कि केंद्र सरकार जो योजना चलाती है तो वो योजना पूरी तरह से केंद्र की योजना रहे और राज्यों के लिए अलग-अलग स्कीम होनी चाहिए. कभी-कभी नीतिगत फैसलों के कारण सेंट्रल बेस्ड स्कीम से काम करने में दिक्कते आती हैं. ये वैचारिक विषय है और इसके बारे में सभी राज्य सोचते हैं कि विकास के लिए कैसे प्लानिंग हो.


मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि सूबे में सूखे और लॉ एंड ऑर्डर की हमें चिंता है और 25 जून को हम दोबारा इस मुद्दे को देखेंगे. बिहार में सूखे की समस्या का जिक्र करते हुए नीतीश कुमार ने कहा कि हर साल बिहार में जलस्तर गिर रहा है, जो कि गंभीर समस्या है. बिहार में अब पानी की समस्या को दूर करना चुनौती है. राज्य में पिछली बार भी कम वर्षा हुई और इस बार भी कम बारिश की आशंका है, लेकिन पानी की कमी दूर करने के लिए हमने अपने अधिकारियों और संबंधित मंत्रियों को स्पष्ट दिशा निर्देश जारी किया है. 

उन्होंने कहा कि नीति आयोग की बैठक में हम शामिल होंगे. विशेष राज्य के दर्जे की मांग पर हम आज भी कायम हैं और इस मुद्दे को फिर से उठाएंगे. प्रशांत किशोर मामले पर नीतीश कुमार ने कहा कि इसकी कोई जरूरत नहीं है. वहीं, एईएस से मुजफ्फरपुर जिले में हो रही बच्चों की मौत पर मुख्यमंत्री ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग इस पूरे मामले पर नजर रख रहा है. बरसात से पहले ये बीमारी हर साल बिहार में कहर बरपा रही है. इसकी पूरी जांच की जा रही है. लोगों को इस बीमारी को लेकर जागरूक कराना होगा. हर साल बच्चे काल की गाल में समा जा रहे हैं. ये चिंता का विषय है. 

जब पत्रकारों ने पूछा कि नालंदा पर आप विशेष ध्यान क्यों देते हैं? इसपर मुख्यमंत्री ने काफी नाराजगी जाहिर की. उन्होंने कहा कि हम प्रार्थना करते हैं कि हमारे नाम से नालंदा जाना जाता है, ऐसा मत बोलिए. मेरा जन्म नालंदा में नहीं बल्कि बख्तियारपुर में हुआ है. मेरे पूर्वज का स्थान नालंदा है. सभी को नालंदा से प्रेम है. भगवान गौतम बुद्ध की धरती है. सिर्फ नालंदा का नाम मत लीजिए. ऐसा कहके लोगों को भडकाइएगा कि हम नालंदा के हैं. बताइए ना मेरा जन्म वहां हुआ है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि हर जगह को मैं स्नेह करता हूं'. 

मुख्यमंत्री ने कहा कि जितना नालंदा के प्रति मेरा स्नेह है उतना ही कोशी के प्रति स्नेह है, पूर्णिया के प्रति, चंपारण के प्रति. हम कभी भी काम की शुरुआत करते हैं तो कहां से करते हैं, चंपारण से ही तो करते हैं. गया और बोधगया के लिए क्या फिलिंग है? सासाराम और भभुआ में क्या हम नहीं जाते हैं? हम खासियत के हिसाब से काम करते हैं. मिथिला से क्या हमें कम स्नेह है क्या? आप जरा पटना में देखिए तो. बिहार के बाहर जहां पेंटिंग हो रही है. कहां की हो रही है? मिथिला पेंटिंग ही तो हो रही है. तो ऐसा मत समझिए. नालंदा कहकर लोगों को भड़काए मत. 

आज मुख्यमंत्री ने राजस्व एवं भूमि सुधार, मद्य निषेध, उत्पाद और निबंधन शिक्षा, गृह विभाग, समाज कल्याण, सामान्य प्रशासन विभाग से संबंधित सुझाव लिया. कार्यक्रम में मुख्यमंत्री के साथ कई विभाग के मंत्री और आलाधिकारी मौजूद रहे. यहां बता दें कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का लोकसंवाद कार्यक्रम चुनाव के कारण पिछले तीन महीनों से स्थगित था.

Web Title: nitish kumar comments joining on Modi cabinet, confusion between JDU and BJP

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