1988 Road Rage Case: सुप्रीम कोर्ट ने नवजोत सिंह सिद्धू को दिया 1 साल की सजा, 34 साल पुराने रोड-रेज मामले न्यायालय ने बदला अपना फैसला
By आजाद खान | Published: May 19, 2022 02:37 PM2022-05-19T14:37:27+5:302022-05-19T15:57:29+5:30
1988 Road Rage Case: आपको बता दें कि उन पर 1988 में रोडरेज को लेकर केस चल रहा था। इसी केस में उन्हें यह सजा सुनाई गई है।
Navjot Singh Sidhu 1988 Road Rage Case:सुप्रीम कोर्ट ने आज पंजाब कांग्रेस के पूर्व प्रेसिडेंट नवजोत सिंह सिद्धू को एक साल की जेल की सजा सुनाई है। आपको बता दें कि जिस मामले में यह सजा सुनाई गई है वह मामला 34 साल पुराना है। उन पर 1988 में रोडरेज को लेकर केस चल रहा था। इसी केस में उन्हें यह सजा सुनाई गई है। गौरतलब है कि इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें 1 हजार रुपए का जुर्माना देकर छोड़ दिया था। अब नवजोत सिंह सिद्धू के पास दो विकल्प है, एक की वह खुद सरेंडर कर दें या फिर पुलिस उन्हें गिरफ्तार करे।
SC allows review application, imposes one-year rigorous imprisonment on Congress leader Navjot Singh Sidhu in a three-decade-old road rage case pic.twitter.com/cyYfsXh92o
— ANI (@ANI) May 19, 2022
क्या था मामला
आपको बता दें कि यह मामला 34 साल पुराना है। 1988 में पंजाब कांग्रेस के नेता नवजोत सिंह सिद्धू पर रोड रेज का एक मामला दर्ज हुआ था। इस केस में सिद्धू पर आरोप था कि उन्होंने एक बुजुर्ग के साथ मारपीट की थी। दरअसल, कथिच तौर पर सिद्धू ने पटियाला में पार्किंग को लेकर एक 65 साल के बुजुर्ग को मुक्का मार दिया था जिसके बाद उस बुजुर्ग की मौत हो गई थी। इसके बाद पुलिस ने नवजोत सिंह सिद्धू और उनके दोस्त रुपिंदर सिंह सिद्धू के खिलाफ गैर-इरादतन हत्या का मामला दर्ज किया था।
हाईकोर्ट ने पहले सुनाई थी सजा
आपको बता दें कि इसके बाद मामला अदालत तक पहुंचा था जहां पर सेशन कोर्ट ने नवजोत सिंह सिद्धू को सबूतों में अभाव में 1999 में बरी कर दिया था। वहीं इस फैसले के बाद बुजुर्ग के घर वालों ने हाईकोर्ट का रूख किया था जिसने सिद्धू को तीन साल की कैद और एक लाख रुपए जुर्माना सुनाया था।
इसके बाद सिद्धू ने इस फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी जहां पर कोर्ट ने कांग्रेस नेता को दोषी तो ठहराया था लेकिन केवल एक हजार रुपए के जुर्माने पर उन्हें बरी कर दिया था। वहीं अब से कुछ महीने पहले बुजुर्ग के घर वालों ने फिर से सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी जिस पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने सिद्धू को एक साल की सजा सुनाई है।