मोदी सरकार ने अतिरिक्त हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन के निर्यात का लिया निर्णय, कहा-भारत के लिये है 'बफर स्टॉक'

By भाषा | Published: April 10, 2020 09:11 PM2020-04-10T21:11:45+5:302020-04-10T21:11:45+5:30

स्वास्थ्य मंत्रालय में संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने कहा कि भारत के पास हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन की 3.28 करोड़ टैबलेट का स्टॉक है जो आने वाले सप्ताह में देश के लिये 1 करोड़ टैबलेट की अनुमानित जरूरत से तीन गुना अधिक है।

Narendra Modi government decides to export additional hydroxychloroquine, says buffer stock is for India | मोदी सरकार ने अतिरिक्त हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन के निर्यात का लिया निर्णय, कहा-भारत के लिये है 'बफर स्टॉक'

हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन दवा

Highlightsभारत ने कुछ ही दिन पहले पैरासीटामोल और मलेरिया के उपचार के लिए उपयोग में आने वाली दवा हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन के निर्यात पर लगाये।भारत ने 25 मार्च को हाइड्राक्सीक्लोरोक्विन के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया था जब कुछ वर्गो से यह बात सामने आई थी कि कोविड-19 के खिलाफ इस दवा का उपयोग किया जा सकता है।

नयी दिल्ली: कोरोना वायरस से संक्रमित मरीजों के आराम के लिए हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन दवा का इस्तेमाल किया जाता है। हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन दवा  के निर्यात संबंधी चिंताओं को दूर करते हुए नरेंद्र मोदी सरकार ने शुक्रवार को कहा कि भारत को कई देशों से दवा के लिये आग्रह प्राप्त हुए हैं और देश के लिये पर्याप्त बफर स्टॉक बनाये रखते हुए अतिरिक्त दवा के निर्यात का निर्णय किया गया है । हाईड्रोक्सीक्लोरोक्विन को कोरोना वायरस के उपचार के लिए संभावित विकल्प के रूप में देखा जा रहा है।

विदेश मंत्रालय में अतिरिक्त सचिव एवं कोविड-19 के संयोजक सचिव दामू ने मीडिया ब्रीफिंग में कहा कि हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन की वैश्विक स्तर पर काफी मांग है और पहली सूची के देशों को दवा के निर्यात को मंजूरी दी गई है जिनके संबंध में आग्रह आया था । रवि ने कहा, ‘‘ कई देशों ने इस दवा के लिए आग्रह किया था।

घरेलू स्टाक की उपलब्धता और अपनी जरूरत के लिये पर्याप्त बफर स्टॉक को ध्यान में रखते हुए मंत्रियों के समूह (जीओएम) ने निर्यात के उद्देश्य से कुछ अतिरिक्त दवा के निर्यात का निर्णय किया है । देशों की सूची में पहले बैच को मंजूरी दी गई है और उत्पाद भेजना शुरू हुआ है। ’’ उन्होंने कहा, ‘‘ मैं इस बात पर जोर देना चाहता हूं कि घरेलू जरूरत सरकार की प्राथमिकता होगी। ’’

वहीं, स्वास्थ्य मंत्रालय में संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने कहा कि भारत के पास हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन की 3.28 करोड़ टैबलेट का स्टॉक है जो आने वाले सप्ताह में देश के लिये 1 करोड़ टैबलेट की अनुमानित जरूरत से तीन गुना अधिक है । इसके अलावा भविष्य की जरूरतों के लिये अतिरिक्त 2 से 3 करोड़ टैबलेट की आपूर्ति की व्यवस्था की गई है । उन्होंने कहा, ‘‘ अनुमानित जरूरत के आधार पर हमें आने वाले सप्ताह में 1 करोड़ टैबलेट की जरूरत है । जबकि आज हमारे पास 3.28 करोड़ टैबलेट है । इसलिये हमारे पर घरेलू जरूरत से तीन गुना अधिक दवा आपूर्ति के लिये है। ’’

अग्रवाल ने कहा, ‘‘ घरेलू जरूरत और हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन का उत्पादन शत प्रतिशत सुनिश्चित किया गया है और यह आज के लिये नहीं बल्कि आने वाले दिनों के लिये भी है । दो करोड़ टैबलेट राज्यों को भेजी गयी है ताकि निजी क्षेत्र में इनकी उपलब्धता रहे । ’’ उन्होंने कहा कि देश में दवा की कोई कमी नहीं है । आईसीएमआर ने स्वास्थ्य कर्मियों आदि के लिये इस दवा का उपयोग रोकथाम के उपायों के तहत करने का सुझाव दिया है।

इसके अलावा केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन के साथ एजिथ्रोमाइसिन के युग्म का कोविड-19 से गंभीर रूप से पीड़ितों पर करने की सिफारिश की है जिन्हें आईसीयू प्रबंधन की जरूरत है। भारत ने कुछ ही दिन पहले पैरासीटामोल और मलेरिया के उपचार के लिए उपयोग में आने वाली दवा हाइड्रोक्सीक्लोरोक्विन के निर्यात पर लगाये गए प्रतिबंध में आंशिक छूट देने का निर्णय किया था जिससे इस दवा के, अमेरिका सहित कुछ देशों को निर्यात का मार्ग प्रशस्त हो गया था।

भारत ने 25 मार्च को हाइड्राक्सीक्लोरोक्विन के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया था जब कुछ वर्गो से यह बात सामने आई थी कि कोविड-19 के खिलाफ इस दवा का उपयोग किया जा सकता है । भारत इस दवा का बड़ा उत्पादक देश है। 

Web Title: Narendra Modi government decides to export additional hydroxychloroquine, says buffer stock is for India

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