लंदन से MBA पढ़ा ये लड़का होगा मायावती का राजनीतिक उत्तराधिकारी?
By विकास कुमार | Published: January 17, 2019 10:23 AM2019-01-17T10:23:24+5:302019-01-17T10:23:24+5:30
आकाश आनंद ने लंदन से एमबीए की पढाई की है और इन दिनों मायावती के साथ हर राजनीतिक मंच पर दिख रहे हैं।
आजकल मायावती जहां भी जाती हैं उनके पीछे एक लड़का परछाई की तरह खड़ा दिखता है. बार-बार मीडिया कैमरों में दिखने के बाद लोगों को यह जानने की रूचि हो रही है कि यह लड़का आखिर है कौन. दरअसल उनका नाम आकाश है और वो मायावती के भाई आनंद के भतीजे हैं. आकाश ने लंदन से एमबीए की पढाई की है और इन दिनों मायावती के साथ हर राजनीतिक मंच पर दिख रहे हैं.
मायावती जब अखिलेश यादव के साथ प्रेस कांफ्रेंस में सीटों के बंटवारे का एलान कर रही थी या उसके बाद तेजस्वी यादव से मुलाकात, आकाश हर जगह उनकी छाया की तरह खड़े दिख रहे थे, तब से ही कयास लगाये जा रहे थे कि मायावती ने अपना राजनीतिक उतराधिकारी तय कर लिया है. ऐसा कहा जा रहा है कि आकाश अभी मायावती के साथ राजनीतिक बारीकियां सिख रहे हैं.
आनंद कुमार पर लग चुके हैं भ्रष्टाचार के आरोप
मायावती के भाई पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लग चुके हैं. आनंद कुमार की संपति 2007 में 7.5 करोड़ रुपये थी जो 2014 में 1300 करोड़ रुपये हो गई. अंगेजी न्यूज़ चैनल टाइम्स नाउ ने अपनी एक रिपोर्ट में दावा किया था कि आनंद कुमार ने कई फर्जी कंपनियां बनाकर करोड़ों का लोन हासिल किया था जिसे बड़े पैमाने पर रियल एस्टेट में निवेश किया. आकृति होटल प्राइवेट लिमिटेड नाम की एक कंपनी में डिबेंचर शेयर होल्डिंग के जरिये बड़े पैमाने पर उनकी हिस्सेदारी का दावा किया गया था.
मायावती पर इसलिए भी सवाल उठते हैं क्योंकि इस दौरान वो उत्तर प्रदेश की मुख्यमंत्री थीं. आनंद कुमार उस वक्त भी चर्चा में आये थे जब नोटबंदी के बाद उनके अकाउंट में 1.83 करोड़ और बसपा से जुड़े एक खाते में 104 करोड़ रुपये जमा होने का खुलासा ईडी ने किया था, जिसकी जांच अभी भी जारी है. आकाश आनंद उन्हीं आनंद कुमार के बेटे हैं.
युवा दलित वोटों पर है नजर
आकाश को पार्टी में शामिल करने का एक कारण युवा दलित वोटों को आकर्षित करने का भी एक प्रयास है. क्योंकि जिस तरह से सहारनपुर दंगे के बाद भीम आर्मी के चंद्रशेखर रावण का उदय उत्तर प्रदेश की दलित राजनीति में हुआ है उससे कहीं न कहीं बसपा सुप्रीमो चिंतित दिख रही हैं. दलित युवाओं की एक पूरी खेप भीम आर्मी के साथ जुड़ी है. आकाश आनंद को पार्टी से जोड़ना मायावती के राजनीतिक दूरदर्शिता से भी जोड़कर देखा जा रहा है.
लंदन से पढ़कर आया लड़का उत्तर प्रदेश जैसी जटिल दलित राजनीति को कितना समझ पता है, यह अभी भविष्य के गर्भ में है. लेकिन इतना तो तय है कि मायावती ने अपनी पार्टी के राजनीतिक भविष्य को आगे बढ़ाने के लिए अपना राजनीतिक वारिस चुन लिया है.
मायावती ने अपने पार्टी के तमाम बड़े पदाधिकारियों से आकाश का परिचय करवा दिया है ताकि उन्हें पार्टी की विचारधारा और कार्यशैली को समझने में आसानी हो और वो जल्द से जल्द खुद को प्रदेश की राजनीति में स्थापित कर सके.