भोपाल, 28 फरवरीः मध्य प्रदेश विधानसभा में राज्य के वित्तमंत्री जयंत मलैया ने बुधवार को वर्ष 2018-19 का दो लाख करोड़ रुपये से अधिक का बजट पेश किया। इस बजट में खेती, कर्मचारियों, स्वास्थ्य, शिक्षा, गरीबी पर खास जोर दिया गया है। राज्य की वर्तमान विधानसभा का यह अंतिम बजट है। यह बजट 2 लाख, चार हजार, 642 करोड़ रुपये का है। भारतीय जनता पार्टी बीजेपी सरकार का यह 14वां और मलैया का पांचवां बजट है। इस बजट में 26,780 करोड़ रुपये का घाटा दर्शाया गया है।
सदन में बजट पेश होने से पहले कैबिनेट ने दी मंजूरी
मलैया ने बजट पेश किए जाने के दौरान वर्ष 2003 में कांग्रेस के कार्यकाल की स्थिति और 2018 की स्थिति की भी तुलना की। सिंचाई, स्वास्थ्य, शिक्षा, अधोसंरचना सहित अन्य क्षेत्रों में कितना बदलाव आया है, मलैया ने इसका भी ब्यौरा दिया। बजट को सदन में पेश किए जाने से पहले कैबिनेट की बैठक में रखा गया, जिसे कैबिनेट ने मंजूरी दे दी। मलैया ने कैबिनेट में बजट की खूबियों का भी जिक्र किया।
14 सालों की उपलब्धियों का जिक्र
सदन में बजट पेश करने से पहले मलैया ने घर से निकलते समय संवाददाताओं से चर्चा करते हुए कहा था कि इस बजट में बीते 14 सालों की उपलब्धियों का जिक्र भी होगा। इस बजट में सेवा, विकास आदि पर विशेष जोर होगा। सरकार द्वारा किसानों को उपज का बेहतर दाम देने की कोशिश होगी।
बीजेपी ने बताया ऐतिहासिक बजट
इस बजट को सत्ताधारी दल भारतीय जनता पार्टी ने ऐतिहासिक बताया तो वहीं विपक्षी दल कांग्रेस ने बजट को निराशाजनक करार दिया। बजट को लेकर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा, "यह ऐतिहासिक बजट है, जो दो लाख करोड़ से ऊपर निकल गया। इस बजट में विशेष रूप से किसानों, सिंचाई, अधोसंरचना, बिजली पर विशेष जोर दिया गया है। कृषि, बिजली और सड़क का विकास में अहम हिस्सा होता है, बजट में इसका विशेष प्रावधान किया गया है। किसानों, गरीबों के लिए रोटी, कपड़ा और मकान के साथ पढ़ाई, दवाई पर बजट में जोर दिया गया है।"
विपक्ष ने बताया निराशाजनक
वहीं नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह ने इस बजट को निराशाजनक करार दिया है। उन्होंने कहा कि सरकार को सत्ता संभाले 14 वर्ष पूरे हो चुके हैं और सरकार इस चुनावी साल में हर घर को बिजली देने का वादा कर रही है। हर साल बजट में राशि का प्रावधान किया जाता है, मगर वह राशि खर्च ही नहीं होती। वर्तमान सरकार कृषि कर्मण अवॉर्ड की चर्चा कर अपनी पीठ थपथपाती है, मगर दूसरी ओर किसान आत्महत्या कर रहा है। भावांतर योजना का लाभ किसानों के साथ किसी और को भी नहीं हुआ है।
'हर वर्ग के लिए है बजट'
सरकार के सामान्य प्रशासन मंत्री लाल सिंह आर्य का दावा है कि यह बजट हर वर्ग के लिए है। इसमें कल्याणकारी योजनाओं का प्रावधान है। यह बजट विकास के लिए व जनकल्याणकारी बजट है। मंत्री संजय पाठक ने इसे जनता का बजट बताया। कांग्रेस के वरिष्ठ विधायक डॉ. गोविंद सिंह ने बजट को निराशाजनक करार देते हुए कहा कि इस बजट से पता चलता है कि राज्य की आर्थिक व्यवस्था चौपट हो चुकी है। दो लाख करोड़ का बजट हैं और कर्ज तेजी से बढ़ रहा है। यह सरकार पूरी तरह सिर्फ घोषणाओं पर निर्भर है। यह उन पर अमल नहीं करती।