मध्यप्रदेश में कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण के बीच शिवराज सरकार ने इससे निपटने के लिए बड़ा कदम उठाया है। राज्य सरकार ने मंत्रियों और विधायकों में कटौती करने का फैसला किया है। भोपाल में कोरोना वायरस का इलाज करा रहे मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने शुक्रवार को मंत्रियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के चर्चा करने के बाद यह फैसला किया, जिसको लेकर सभी मंत्रियों ने सहमति जताई।
शिवराज सिंह चौहान ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए राज्य के मंत्रियों से बातचीत में कहा, "यदि आप सभी सहमत हैं, तो हम कोविड-19 से लड़ने के लिए सीएम राहत कोष को हमारे वेतन का 30 प्रतिशत योगदान देंगे। जब तक कि महामारी नियंत्रण में नहीं आती - जुलाई, अगस्त, सितम्बर या अक्टूबर तक।"
शिवराज सिंह चौहान ने कहा, "कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई में सभी विधायकों से 3 महीने के लिए अपने वेतन का 30 प्रतिशत योगदान करने के लिए सीएम रिलीफ फंड में योगदान करने की अपील की। मैं लोगों से फंड में अपना योगदान देने की भी अपील करता हूं।"
भोपाल में कोरोना का इलाज करा रहे हैं शिवराज सिंह
बता दें कि मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान कोरोना वायरस से पॉजिटिव पाए गए हैं और भोपाल के चिरायु अस्पताल में उनका इलाज चल रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि वे स्वस्थ हैं। खांसी लगभग समाप्त हो गई है। बुखार भी नहीं आ रहा है। वे अस्पताल से ही आवश्यक कार्य कर रहे हैं। जनता के कार्य अनवरत जारी रहेंगे, कोई काम रुकेगा नहीं। सरकार पूरी सजगता से कार्य कर रही है।
मध्यप्रदेश में कोरोना वायरस के 8454 एक्टिव केस मौजूद
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार मध्यप्रदेश में अब तक 30968 लोग कोरोना वायरस की चपेट में आ चुके हैं, जिसमें से 857 लोगों की मौत इस महामारी के कारण हो चुकी है। राज्य में अब तक 21657 लोग कोविड-19 से अब तक ठीक हो चुके हैं और 8454 एक्टिव केस मौजूद हैं।