नागपुर: संक्रमित मरीज को मृत घोषित कर सौंपा दूसरे का शव, पत्नी ने किया खुलासा

By लोकमत समाचार ब्यूरो | Published: August 7, 2020 07:24 AM2020-08-07T07:24:02+5:302020-08-07T07:24:02+5:30

संक्रमित मरीज की पत्नी को मेडिकल से कॉल आया कि उनके पति का निधन हो गया है. परिवार में शोक की लहर छा गई.

GMCH mixes up IDs, wrong family informed of patriarch’s death | नागपुर: संक्रमित मरीज को मृत घोषित कर सौंपा दूसरे का शव, पत्नी ने किया खुलासा

मेयो अस्पताल में भी शव सौंपे जाने को लेकर लापरवाही बरती जा रही है.

Highlights परिवार के सदस्यों ने ताजाबाद कब्रिस्तान में दफन विधि के लिए गड्ढा भी खुदवा लिया. पत्नी ने शव को देखते ही कहा कि शव उनके पति का नहीं है.

रियाज अहमद

नागपुर मेडिकल के ट्रॉमा कोविड अस्पताल में भर्ती कोविड संक्रमित मरीज को मृत घोषित कर परिजनों को दूसरे का शव सौंप दिया गया. इस मामले से शासकीय वैद्यकीय महाविद्यालय (मेडिकल) में गंभीर लापरवाही नजर आई है. मेडिकल की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े होने लगे हैं. खुलासा होने पर मृतक के शव को उसके असल परिजनों को सौंपा गया. ताजाबाद बुलंद गेट परिसर निवासी संक्रमित मरीज मेडिकल के कोविड अस्पताल में भर्ती है. उनकी हालत भी गंभीर बताई जा रही है. दो दिन पहले उनकी कोविड रिपोर्ट पॉजीटिव आई है. उन्हें वेंटीलेटर पर रखा गया है.

गुरुवार को सुबह करीब 10 बजे संक्रमित मरीज की पत्नी को मेडिकल से कॉल आया कि उनके पति का निधन हो गया है. परिवार में शोक की लहर छा गई. परिजन तुरंत अस्पताल पहुंचे. सुबह से शाम 4 बजे तक परिवार के लोग अस्पताल परिसर में ही खड़े रहे. इसी दौरान परिवार के सदस्यों ने ताजाबाद कब्रिस्तान में दफन विधि के लिए गड्ढा भी खुदवा लिया.

शाम 4 बजे जब परिजनों को शव सौंपा गया तो मौजूद पत्नी ने शव को देखते ही कहा कि शव उनके पति का नहीं है. इससे अस्पताल परिसर में हड़बड़ी मच गई. संबंधित डॉक्टरों को बुलाया गया. पश्चात ट्रॉमा कोविड हॉस्पिटल में जाकर देखने पर मालूम हुआ कि शव किसी दूसरे का है, संक्रमित मरीज अस्पताल में ही भर्ती है और जिंदा है. इस मामले से जीवित मरीज के परिजनों ने अस्पताल में नाराजगी भी जताई. यदि पत्नी शव को नहीं पहचानती तो अस्पताल प्रशासन की यह गंभीर लापरवाही पकड़ में नहीं आती. इस लापरवाही की वजह से मृतक के परिजन भी काफी परेशान हुए.

चिकित्सा अधीक्षक डॉ. अविनाश गावंडे ने कहा, रोगी की हालत गंभीर होने से हुई गलतफहमी हुई. संक्रमित मरीज कोविड अस्पताल में वेंटीलेटर पर है. गंभीर अवस्था में होने और नाम को लेकर कुछ गलतफहमी की वजह से इस तरह का मामला बन गया. लेकिन ऐसी गंभीर लापरवाही नहीं होनी चाहिए.

मेयो में भी हो रही लापरवाही

मेयो अस्पताल में भी शव सौंपे जाने को लेकर लापरवाही बरती जा रही है. गुरुवार को कामठी के एक मरीज का शव सौंपने को लेकर हो रही लापरवाही पर परिजनों ने हंगामा भी किया. परिजनों का आरोप है कि चिकित्सक शराब के नशे में थे. निजी एंबुलेंस चालक भी कामठी जाने के लिए 10 हजार रुपए तक की मांग कर रहे हैं. परिजनों को मजबूरन 7 हजार रुपए देने पड़े. कुछ दिन पहले भी मेयो में एक संक्रमित युवती का शव लेने के लिए परिवार को दिन भर अस्पताल में खड़ा रहना पड़ा था.

Web Title: GMCH mixes up IDs, wrong family informed of patriarch’s death

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