विवादों के बीच भारतीय कुश्ती महासंघ की महापरिषद की अयोध्या में होने वाली आपात बैठक रद्द
By भाषा | Published: January 22, 2023 10:58 AM2023-01-22T10:58:11+5:302023-01-22T11:43:01+5:30
पहलवानों ने बृजभूषण के इस्तीफे की मांग और कुश्ती महासंघ को भंग करने को लेकर तीन दिनों तक दिल्ली के जंतर-मंतर पर धरना प्रदर्शन किया। खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने इसको लेकर मैराथन बैठक की। खेल मंत्री द्वारा आश्वासन मिलने के बाद पहलवानों ने धरना प्रदर्शन खत्म किया।
आगराः भारतीय कुश्ती महासंघ की महापरिषद की अयोध्या में होने वाली आपात बैठक रद्द कर दी गई है। यह बैठक रविवार होने वाली थी जिसे बृजभूषण शरण सिंह ने बुलाई थी। हालांकि विवादों में घिरे होने के बाद इसे चार सप्ताह के लिए टाल दिया गया है। खेल मंत्रालय ने इस खेल संस्था और उसके अध्यक्ष के खिलाफ लगाए गए विभिन्न आरोपों को देखते हुए उसे सभी गतिविधियों को स्थगित करने का निर्देश दिया था। मंत्रालय ने शनिवार को कहा था कि उसने डब्ल्यूएफआई को सभी वर्तमान गतिविधियां तुरंत प्रभाव से स्थगित करने का निर्देश दिया है। इनमें महासंघ के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के गढ़ माने जाने वाले गोंडा में होने वाला रैंकिंग टूर्नामेंट भी शामिल है।
गौरतलब है कि ओलंपिक पदक विजेता बजरंग पुनिया समेत देश के शीर्ष पहलवानों ने WFI अध्यक्ष पर मनमाने नियमों से पहलवानों का उत्पड़ीन करने का आरोप लगाया था। पहलवानों ने बृजभूषण के इस्तीफे की मांग और कुश्ती महासंघ को भंग करने को लेकर तीन दिनों तक दिल्ली के जंतर-मंतर पर धरना प्रदर्शन किया। खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने इसको लेकर मैराथन बैठक की। खेल मंत्री द्वारा आश्वासन मिलने के बाद पहलवानों ने धरना प्रदर्शन खत्म किया। खेल मंत्रालय ने जांच के लिए एक टीम गठित की है। वहीं जांच के दौरान बृजभूषण कुश्ती महासंघ के अध्यध पद की जिम्मेदारियों से दूर रहेंगे।
भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के प्रमुख के खिलाफ भारतीय पहलवानों द्वारा किए गए विरोध के बाद, केंद्रीय खेल मंत्रालय ने शनिवार को डब्ल्यूएफआई के सहायक सचिव विनोद तोमर को निलंबित कर दिया। अपने निलंबन के बाद विनोद तोमर ने कहा कि उन्हें इस तरह के किसी घटनाक्रम की जानकारी नहीं है। यह फैसला खेल मंत्रालय और पहलवानों के बीच कल हुई बैठक का हिस्सा बताया जा रहा है। तोमर ने डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के साथ मिलकर काम किया और डब्ल्यूएफआई के दिन-प्रतिदिन के मामलों को देखा।
प्रमुख पहलवानों से यौन उत्पीड़न और डराने-धमकाने के गंभीर आरोपों का सामना कर रहे 66 साल बृजभूषण ने इन आरोपों को राजनीतिक और कॉर्पोरेट प्रतिद्वंद्वियों का काम करार देते हुए इस्तीफे की मांग को खारिज कर दिया। भाजपा के बड़े नेताओं के दबाव में सिंह हालांकि महासंघ के दैनिक कामकाज के मामले से हटने को सहमत हुए है और और उनके खिलाफ जांच का आदेश दिया गया है। माना जा रहा है कि वह खेल निकाय पर अपनी मजबूत पकड़ बनाए रखने के लिए हर संभव प्रयास करेंगे। इसके साथ ही उत्तर प्रदेश के गोंडा जिले और उसके आसपास के इलाके में अपनी राजनीतिक जागीर को और मजबूत करने की कोशिश करेंगे।