सिपला को मॉडर्ना के कोविड-19 टीके के आयात के लिए डीसीजीआई से मिली मंजूरी

By भाषा | Updated: June 29, 2021 18:34 IST2021-06-29T18:34:03+5:302021-06-29T18:34:03+5:30

Cipla gets DCGI approval for import of Moderna's Kovid-19 vaccine | सिपला को मॉडर्ना के कोविड-19 टीके के आयात के लिए डीसीजीआई से मिली मंजूरी

सिपला को मॉडर्ना के कोविड-19 टीके के आयात के लिए डीसीजीआई से मिली मंजूरी

(पायल बनर्जी)

नयी दिल्ली, 29 जून भारत के औषधि महानियंत्रक (डीसीजीआई) ने मुंबई की औषधि कंपनी सिपला को आपात उपयोग के लिए मॉडर्ना के कोविड-19 टीके के आयात की अनुमति दे दी है। अधिकारियों ने मंगलवार को यह जानकारी दी।

कोविशील्ड, कोवैक्सीन और स्पूतनिक के बाद मॉडर्ना का टीका भारत में उपलब्ध होने वाला कोविड-19 का चौथा टीका होगा।

नीति आयोग के सदस्य (स्वास्थ्य) डॉ वी के पॉल ने संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘मॉडर्ना के भारतीय साझेदार सिपला के मार्फत एक आवेदन मिला था, जिसके बाद मॉडेर्ना के कोविड-19 टीके को औषधि नियामक द्वारा सीमित आपात उपयोग की अनुमति दी गई है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘सीमित आपात उपयोग के लिए इस नयी अनुमति ने निकट भविष्य में इस टीके के आयात की स्पष्ट संभावनाओं के द्वार खोल दिये हैं। ’’

उन्होंने कहा कि इस तरह का लाइसेंस पाने वाले चार टीके हैं, जिनमें कोविशील्ड, कोवैक्सीन, स्पूतनिक और मॉडर्ना शामिल हैं।

पॉल ने कहा, ‘‘अंतरराष्ट्रीय स्तर पर विकसित किये गये अन्य टीकों , विशेष रूप से फाइजर और जॉनसन ऐंड जॉनसन को आमंत्रित करने की हमारी कोशिशें भी जारी हैं। हम अपने देश में निर्मित किये जा रहे टीके का उत्पादन बढ़ाने पर भी गौर कर रहे हैं। ’’

मॉडर्ना ने 27 जून को अलग-अलग पत्रों में डीसीजीआई को सूचना दी कि अमेरिकी सरकार यहां (भारत में) उपयोग के लिए कोविड-19 के अपने टीके की एक विशेष संख्या में खुराक ‘कोवैक्स’ के जरिए भारत सरकार को दान में देने के लिए सहमत हो गई है तथा उसने इसके लिए केन्द्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ) से मंजूरी मांगी है।

उल्लेखनीय है कि कोवैक्स कोविड-19 के टीके के न्यायसंगत वितरण के लिए एक वैश्विक पहल है।

सिपला ने सोमवार को अमरिकी फार्मा कंपनी की ओर से इन टीकों के आयात और विपणन का अधिकार देने के लिए औषधि नियामक से अनुरोध किया था।

सिपला ने सोमवार को एक आवेदन देकर इस टीके के आयात की अनुमति मांगी थी। उसने 15 अप्रैल और एक जून के डीसीजीआई नोटिस का हवाला दिया था।

नोटिस में कहा गया था कि यदि टीके को आपात उपयोग अधिकार (ईयूए) के लिए अमेरिकी खाद्य एवं औषधि प्रशासन (यूएसएफडीए) द्वारा अनुमति दी जाती है, तो टीके को बिना ‘ब्रिजिंग ट्रायल’ के विपणन की अनुमति दी जा सकती है।

इसके अलावा, हर खेप को केंद्रीय औषधि प्रयोगशाला (सीडीएल), कसैली से जांच कराने की जरूरत की छूट मिल सकती है।

साथ ही, मॉडर्ना ने एक अलग पत्र के जरिए सूचना दी थी कि अमेरिकी सरकार मॉडर्ना टीके, एमआरएनए-1273, कोवैक्स के जरिए भारत सरकार को एक खास संख्या में खुराक दान में देने के लिए सहमत हो गई है तथा उसने ईमेल के जरिए दस्तावेज भेजे हैं।

उल्लेखनीय है कि टीकाकरण में तेजी लाने के लिए एक जून को डीसीजीआई ने विदेशों में बने उन टीकों के लिए सीडीएल में उनकी खेप की जांच में छूट देने का फैसला किया था, जिन्हें यूएसएफडीए, ब्रिटेन के एमएचआरए या विश्व स्वास्थ्य संगठन जैसे अंतरराष्ट्रीय औषधि नियामकों से मंजूरी मिल गई है।

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Web Title: Cipla gets DCGI approval for import of Moderna's Kovid-19 vaccine

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