यह प्रमाणित करने का कोई प्राधिकार चुनें कि प्रतिभागी कोविड की वजह से परीक्षा नहीं दे सकता: न्यायालय ने आईसीएआई से पूछा

By भाषा | Updated: June 29, 2021 16:58 IST2021-06-29T16:58:17+5:302021-06-29T16:58:17+5:30

Choose any authority to certify that the participant cannot take the exam due to covid: Court asks ICAI | यह प्रमाणित करने का कोई प्राधिकार चुनें कि प्रतिभागी कोविड की वजह से परीक्षा नहीं दे सकता: न्यायालय ने आईसीएआई से पूछा

यह प्रमाणित करने का कोई प्राधिकार चुनें कि प्रतिभागी कोविड की वजह से परीक्षा नहीं दे सकता: न्यायालय ने आईसीएआई से पूछा

नयी दिल्ली, 29 जून उच्चतम न्यायालय ने मंगलवार को भारतीय सनदी लेखाकार संस्थान (आईसीएआई) से कहा कि वह “सभी पहलुओं” को देखे और यह प्रमाणित करने के लिये एक सक्षम प्राधिकार पर विचार करे कि सीए परीक्षा का कोई प्रतिभागी कोविड-19 संबंधी मुद्दों के कारण परीक्षा में शामिल होने में अक्षम हैं। यह परीक्षा जुलाई में आयोजित की जानी है।

न्यायालय ने कहा कि आरटी-पीसीआर निगेटिव रिपोर्ट हो सकता है किसी व्यक्ति की तंदरुस्ती को पुरी तरह परिलक्षित न करे क्योंकि कोरोना वायरस का प्रभाव महीनों तक महसूस किया जा सकता है। न्यायालय ने कहा कि आईसीएआई को सभी पहलुओं पर गौर करना चाहिए क्योंकि यह मामला उन लोगों को परीक्षा छोड़ने का विकल्प देने से संबंधित है जो कोविड-19 से जुड़े मुद्दों की वजह से परीक्षा में शामिल नहीं हो सकते।

आईसीएआई द्वा मई में आयोजित की जाने वाली सीए की परीक्षा को कोविड-19 महामारी के कारण स्थगित कर दिया गया था और अब इन्हें 5 से 20 जुलाई के बीच कराए जाने का कार्यक्रम है।

न्यायमूर्ति ए एम खानविलकर की अध्यक्षता वाली एक पीठ को जब यह बताया गया कि यह पुराने पाठ्यक्रम के तहत प्रतिभागियों के पास आखिरी मौका होगा और परीक्षा छोड़ने का विकल्प का फायदा सिर्फ उन्हीं लोगों को दिया जाएगा जिनकी आरटी-पीसीआर जांच रिपोर्ट में संक्रमण का जिक्र होगा, तब उन्होंने यह टिप्पणी की।

पीठ में न्यायामूर्ति खानविलकर के अलावा न्यायमूर्ति दिनेश माहेश्वरी और न्यायमूर्ति अनिरुद्ध बोस भी शामिल हैं। पीठ ने कहा, “आरटी-पीसीआर जांच में संक्रमित मिलने की जो शर्त बताई गई है, बेहद मुश्किल हो सकती है। जो लोग कोविड से ठीक हो चुके हैं उन्हें अब भी संक्रमित दिखाया जा सकता है। जो लोग ठीक हो चुके हैं उन्हें दीर्घकालिक समस्याएं हो सकती हैं। ये अलग परिस्थितियां हैं।”

शीर्ष न्यायालय परीक्षा से संबंधित याचिकाओं पर सुनवाई कर रहा था जिसमें प्रतिभागियों को परीक्षा छोड़ने का विकल्प देने, परीक्षा को स्थगित करने और इस साल केंद्रों की संख्या बढ़ाए जाने जैसे कई अनुरोध किए गए थे।

वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिये हुई सुनवाई के दौरान पीठ ने कहा कि ऐसे भी मामले सामने आए हैं जहां आरटी-पीसीआर जांच में संक्रमण नहीं मिला लेकिन व्यक्ति में कोविड के लक्षण नजर आते हैं।

पीठ ने आईसीएआई की तरफसे पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता रामजी श्रीनिवासन को बताया, “हम आपसे एक नीति विकसित करने पर विचार करने और एक सक्षम प्राधिकारी की पहचान करने को कह रहे हैं जो यह प्रमाणित कर सके कि कोई प्रतिभागी कोविड संबंधी वजह से परीक्षा में बैठने में असमर्थ है।”

श्रीनिवासन ने कहा कि अदालत द्वारा उठाए गए मुद्दे पर आईसीएआई एक अधिसूचना जारी करेगा।

पीठ ने श्रीनिवासन से कहा कि वह आरटी-पीसीआर टेस्ट सहित विभिन्न मुद्दों के बारे में एक संक्षिप्त नोट तैयार करके शाम तक दाखिल करें।

पीठ ने कहा कि इस मामले को कल सूचीबद्ध किया जाये ताकि संस्था के वकील न्यायालय में आज उठे मुद्दों के बारे में एक संक्षिप्त नोट पेश कर सकें।

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