अरुणाचल प्रदेश से लापता हुए पांच युवकों को चीन ने छोड़ा, भारतीय सेना के हवाले किया

By रामदीप मिश्रा | Published: September 12, 2020 01:51 PM2020-09-12T13:51:28+5:302020-09-12T15:54:23+5:30

यह घटना तब सामने आई थी जब एक समूह के दो सदस्य जंगल में शिकार के लिए गए थे और लौटने पर उन्होंने उक्त पांच युवकों के परिवार वालों को जानकारी दी थी कि युवकों को सेना के गश्ती क्षेत्र सेरा-7 से चीनी सैनिक ले गए हैं।

China: Indian Army took over all five people missing from Arunachal Pradesh at Kibitu today | अरुणाचल प्रदेश से लापता हुए पांच युवकों को चीन ने छोड़ा, भारतीय सेना के हवाले किया

फाइल फोटो।

Highlightsअरुणाचल प्रदेश से लापता हुए पांच युवकों को चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) ने शनिवार को भारतीय अधिकारियों को सौंप दिया है। अब सभी युवकों को कोरोना प्रोटोकॉल के अनुसार 14 दिनों के लिए क्वारंटाइन किया जाएगा।

नई दिल्लीः अरुणाचल प्रदेश से लापता हुए पांच युवकों को चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) ने शनिवार को भारतीय अधिकारियों को सौंप दिया है। पीएलए ने मंगलवार को कहा था कि चार सितंबर को अपर सुबनसिरी जिले में भारत-चीन सीमा से लापता हुए पांच युवक उन्हें सीमापार मिले थे।

समाचार एजेंसी एएनआई की रिपोर्ट के अनुसार, रक्षा विभाग के पीआरओ ने बताया है कि चीन ने लापता हुए पांचों युवकों को औपचारिक तौर पर आज किबिटू में भारतीय सेना के हवाले कर दिया है। अब सभी युवकों को कोरोना प्रोटोकॉल के अनुसार 14 दिनों के लिए क्वारंटाइन किया जाएगा। इसके बाद उन्हें उनके परिवार के सदस्यों को सौंप दिया जाएगा।

अरुणाचल प्रदेश के उच्च सुबनसिरी जिले में मैकमोहन लाइन के निकट से चीन की जनमुक्ति सेना (पीएलए) द्वारा कथित तौर पर अगवा किए गए पांच युवकों को शनिवार को अंजॉ जिले में छोड़ दिया गया। यह स्थान ईटानगर से करीब 1,000 किमी की दूरी पर है।

तेजपुर में रक्षा प्रवक्ता लेफ्टिनेंट कर्नल हर्ष वर्धन पांडे ने बताया कि पीएलए ने आवश्यक औपचारिकताएं पूरी करने के बाद इन युवाओं को भारतीय सेना को सौंप दिया। प्रवक्ता ने कहा, ‘‘कोविड-19 संबंधी प्रोटोकॉल के अनुरूप पांचों युवकों को 14 दिन के लिए पृथक-वास में रखा जाएगा और उसके बाद उन्हें उनके परिजन को सौंप दिया जाएगा।’’

गौरतलब है कि पूर्वी लद्दाख में काफी समय से भारत और चीन के बीच गतिरोध बना हुआ है। जिले के नाचो इलाके के ग्रामीण युवक दो सितंबर को जंगल में शिकार करने गए थे जिन्हें सेरा-7 से चीनी सैनिक कथित तौर पर ले गए। सेरा-7 सेना का गश्ती क्षेत्र है जो नाचो के उत्तर में 12 किमी की दूरी पर स्थित है।

पांडे ने बताया, ‘‘अरुणाचल प्रदेश अपनी समृद्ध प्राकृतिक विरासत के लिए जाना जाता है। यहां लोग रोमांच की तलाश में, औषधियां खोजने और शिकार के लिए भी जंगलों में जाते हैं और कई हफ्तों तक जंगलों, दूर दराज के इलाकों में रहते हैं। इस दौरान वे कई बार अनजाने में वास्तविक नियंत्रण रेखा की दूसरी ओर चले जाते हैं।’’ उन्होंने बताया कि ऐसे सभी लोगों को भारतीय सेना अपने निरंतर प्रयासों तथा समन्वय के जरिए सुरक्षित लौटा लाती है।

बता दें, केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने शुक्रवार को ट्वीट किया था, 'चीन की पीएलए ने भारतीय सेना से इस बात की पुष्टि की है कि वह अरुणाचल प्रदेश के युवकों को हमें सौंप देंगे। उन्हें कल 12 सितंबर को किसी भी समय एक निर्दिष्ट स्थान पर सौंपा जा सकता है।' रिजिजू ने ही पहली बार इसकी सूचना दी थी कि पीएलए ने इस बात की पुष्टि की थी कि युवक सीमा पार चीन में पाए गए हैं। 

यह घटना तब सामने आई थी जब एक समूह के दो सदस्य जंगल में शिकार के लिए गए थे और लौटने पर उन्होंने उक्त पांच युवकों के परिवार वालों को जानकारी दी थी कि युवकों को सेना के गश्ती क्षेत्र सेरा-7 से चीनी सैनिक ले गए हैं। यह स्थान नाचो से 12 किलोमीटर उत्तर में स्थित है। 

मैकमोहन रेखा पर स्थित नाचो अंतिम प्रशासनिक क्षेत्र है और यह दापोरीजो जिला मुख्यालय से 120 किलोमीटर दूर है। चीनी सेना द्वारा कथित तौर पर अगवा किए गए युवकों की पहचान तोच सिंगकम, प्रसात रिंगलिंग, डोंगतु एबिया, तनु बाकर और नगरु दिरी के रूप में की गई है।

Web Title: China: Indian Army took over all five people missing from Arunachal Pradesh at Kibitu today

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